चंडीगढ़: हरियाणा विधानसभा बजट सत्र के छठें दिन सदन के उपरांत मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने निंदा प्रस्ताव को लेकर कहा कि आज लोकतंत्र की रक्षा के नाते सदन को विचार करना चाहिए था. इस पर कांग्रेस ने सभी हदें पार कर दी. एक तरफ कहा आंदोलन में राजनीतिक लोगों का विरोध करना और बायकॉट करने का समर्थन नहीं करते और आंदोलन का स्वरूप ये नहीं होना चाहिए, इसका विरोध करते हैं, ये हुड्डा ने कहा है.
सीएम ने कहा कि निंदा प्रस्ताव जब रखा गया तो भाग खड़े हुए, ऐसे हालत बन गए, आंदोलन गले की फांस बन गया, हड्डी फंस गई जो न निगलते बनती है न निकलते बनती है. मुख्यमंत्री ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा न खुदा मिला न विसाले सनम ऐसा हाल है. बता दें कि, सोमवार को सीएम सदन में नेताओं के बहिष्कार पर निंदा प्रस्ताव लेकर आए थे जो कि ध्वनि मत से हुआ पास. इश दौरान कांग्रेस ने जोरदार विरोध किया.
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सीएम ने आगे कहा कि कांग्रेस का दोहरा चरित्र है. असीम गोयल के आवास के यहां आकर गोली से उड़ाने, 302 लगने जैसी बात कही गई. विधायक ने अपनी बात रखी इसमें गलत कुछ नहीं था. विधानसभा के बाहर कोई घटना होती है तो उस पर विधानसभा में चर्चा होती है, विधानसभा एक्शन प्रपोज भी कर सकती है.
सीएम ने कहा कि सरकारी और प्राइवेट प्रॉपर्टी के नुकसान का बिल प्रस्तुत हुआ. इस पर चर्चा करने की जगह ये बिल क्यों रखा गया इसका विरोध करते नजर आए. सीएम ने कहा कि सम्पति के नुकसान का किसी को अधिकार नहीं दिया जा सकता.
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उन्होंने हुड्डा और रघुबीर कादियान पर निशाना साधते हुए कहा कि दोनों एक दूसरे को समझ नहीं पा थे. रघुबीर कादियान जिस तरह से इसका समर्थन करते हैं उनके अंतर्मन में द्वंद होगा जबकि हुड्डा कभी विरोध करते हैं, इससे लगता है दोनों की आपस में अंडरस्टेंडिंग है. एक विरोध करता है दूसरा समर्थन करता है.
वहीं हरियाणा में कोविड-19 के बढ़ते मामलों पर सीएम मनोहर लाल ने कहा कि बुधवार को प्रधानमंत्री ने मुख्यमंत्रियों की बैठक बुलाई है. इस मामले में पीएम से जो निर्देश मिलेगा उसके अनुसार चलेंगे.
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