चंडीगढ़: हरियाणा सिविल सर्विस की परीक्षा में बड़े स्तर पर धांधली का आरोप लगा है. इस मामले में एक खिलाड़ी ने हाई कोर्ट में याचिका दायर कर आरोप लगाया है कि एचपीएससी ने बिना दस्तावेज की जांच किए कुछ लोगों को हरियाणा सिविल सर्विस की परीक्षा में पास किया है.
जबकि उनके पास सही दस्तावेज उपलब्ध नहीं थे. इस मामले में हिसार निवासी अनमोल ने हाई कोर्ट में याचिका दायर की थी. जिस पर पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने हरियाणा पब्लिक सर्विस कमिशन व हरियाणा सरकार को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है.
बता दें कि अनमोल ने कॉमनवेल्थ खेल में मेडल हासिल किया था. अनमोल ने हाई कोर्ट में याचिका दायर कर बताया कि उसने एचसीएस की परीक्षा के लिए आवेदन किया था, जिसमें स्पोर्ट्स कोटे के तहत 3 फीसदी सीटें आरक्षित हैं.
इस कोटे का लाभ उन स्पोर्टस के खिलाड़ियों को दिया जाता है जिनके पास सरकार की ओर से जारी A ग्रेड सर्टिफिकेट है. उसके बाद उसने आरटीआई के माध्यम से पता किया कि पूरे हरियाणा में A ग्रेड प्रमाण पत्र कितने लोगों के पास है?
आरटीआई के माध्यम से खुलासा हुआ की प्रदेश में कुल 54 खिलाड़ियों के पास ये सर्टिफिकेट मौजूद है. लेकिन इन खिलाड़ियों में से आधे से ज्यादा ने ग्रेजुएशन नहीं की है, जिसके चलते वो लोग एचसीएस की परीक्षा के लिए आवेदन नहीं कर सकते हैं.
बाद में पता चला कि पूरे हरियाणा में HCS के लिए केवल A ग्रेड के 13 स्पोर्ट्स पर्सन आवेदन कर सकते हैं लेकिन परिणाम घोषित किया गया तो लोक सेवा आयोग ने 60 उम्मीदवारों को पास कर दिया.
याचिकाकर्ता के वकील भरत जुल्का ने कोर्ट को बताया कि जब हरियाणा में स्पोर्ट्स कोटे के केवल 13 उम्मीदवार ही HCS के लिए आवेदन करने की योग्यता रखते हैं तो 60 उम्मीदवारों को कैसे पास कर दिया गया?
जिसके बाद इस भर्ती परीक्षा में एक बड़ा घोटाला सामने आया था. हाई कोर्ट में मामला आने के बाद एचपीएससी ने अधिसूचना जारी कर नए सिरे से सभी दस्तावेजों की जांच करने की प्रक्रिया शुरू की.
हाई कोर्ट ने हरियाणा पब्लिक सर्विस कमिशन व हरियाणा सरकार को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है. याचिकाकर्ता वकील ने हाई कोर्ट को बताया कि ये एक बहुत बड़ा घोटाला है इसकी जांच होना जरूरी है.