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फरीदाबाद में झुग्गी झोपड़ी पर चला पीला पंजा, लोग बोले- बिना कोई नोटिस दिए उजाड़ दिए आशियाने - नगर निगम फरीदाबाद

फरीदाबाद में सालों से रह रहे झुग्गी झोपड़ी के लोगों के आशियाने तोड़ दिए (poor houses destroyed in Faridabad) गए. लोगों ने आरोप लगाया है कि पुलिस शराब माफियाओं का साथ दे रही है.

poor houses destroyed in Faridabad
बिना किसी नोटिस के पुलिस संरक्षण में उजाड़े गये गरीबों के आशियाने
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Published : Jul 31, 2022, 9:17 PM IST

फरीदाबाद: सालों से झुग्गी झोपड़ी में रहने वाले लोगों का आशियाना अचानक से छीन लिया गया. आश्चर्य की बात तो यह है कि पुलिस की संरक्षण में झुग्गी में रहने वाले लोगों की छत उजाड़ दी गई साथ ही उनके खोकों को भी तोड़ दिया (poor houses destroyed in Faridabad) गया. जिसके चलते न सिर्फ सैकड़ों परिवार बेघर हो गए बल्कि कुछ लोग जो किसी तरह से गुजर-बसर कर रहे थे वो भी बेरोजगार हो गए.

लोगों ने किया विरोध प्रदर्शन: झुग्गियों में रहने वाले गरीब लोगों ने इसका विरोध करते हुए सोहना रोड को जाम कर दिया और सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी करने लगे. प्रदर्शन कर रहे लोगों ने आरोप लगाते हुए कहा कि शराब माफिया के इशारे पर यहां तोड़फोड़ की जा रही है जिससे शराब माफिया ठेके के साथ गुरुग्राम की तर्ज पर ठेका और अहाता बना सके. प्रदर्शन कर रहे लोगों ने मांग की है कि उनकी झुग्गियों और खोकों को वहीं रहने दिया जाए.

बिना किसी नोटिस के पुलिस संरक्षण में उजाड़े गये गरीबों के आशियाने

पुलिस संरक्षण में तोड़े गए झुग्गी और खोके: फरीदाबाद के सोहना रोड (Sohna Road Faridabad) स्थिति संजय कॉलोनी पुलिस चौकी (Police Outpost Sanjay Colony Faridabad) के सामने की ये घटना है. पुलिस के संरक्षण में लोगों के आशियाने देखते ही देखते धरासायी हो गए. लगभग 15 से 20 साल झुग्गियों में रह रहे लोगों की झुग्गियों को बीते शनिवार को अचानक से पुलिस के संरक्षण में तोड़ दी गई. यही नहीं बरसात के मौसम में अचानक से सैकड़ों लोगों के सिर से छत छिन जाने की वजह से लोग खुले आसमान के नीचे ही रहने को मजबूर हो गए हैं.

बिना नोटिस के उजाड़ा आशियाना: सैकड़ों लोगों ने सोहना रोड में एकत्र होकर सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और शराब माफिया और पुलिस की मिलीभगत का आरोप लगाते हुए झुग्गियों को तोड़ने का आरोप लगाया. पीड़ितों ने आरोप लगाते हुए कहा कि शराब माफिया गुड़गांव की तर्ज पर यहां ठेका और अहाता बनाना चाहता हैं इसी लिए प्रशासन से मिलकर शराब माफियाओं ने तोड़फोड़ की जबकि उन्हें नगर निगम (Municipal Corporation Faridabad) से कोई भी नोटिस नहीं दिया गया. वह चाहते हैं कि उनकी झुग्गियों और खोकों को वहीं रहने दिया जाए वह यहां से किसी भी कीमत पर जाने वाले नहीं हैं उन्हें यहीं जीना और यहीं मरना है.

फरीदाबाद: सालों से झुग्गी झोपड़ी में रहने वाले लोगों का आशियाना अचानक से छीन लिया गया. आश्चर्य की बात तो यह है कि पुलिस की संरक्षण में झुग्गी में रहने वाले लोगों की छत उजाड़ दी गई साथ ही उनके खोकों को भी तोड़ दिया (poor houses destroyed in Faridabad) गया. जिसके चलते न सिर्फ सैकड़ों परिवार बेघर हो गए बल्कि कुछ लोग जो किसी तरह से गुजर-बसर कर रहे थे वो भी बेरोजगार हो गए.

लोगों ने किया विरोध प्रदर्शन: झुग्गियों में रहने वाले गरीब लोगों ने इसका विरोध करते हुए सोहना रोड को जाम कर दिया और सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी करने लगे. प्रदर्शन कर रहे लोगों ने आरोप लगाते हुए कहा कि शराब माफिया के इशारे पर यहां तोड़फोड़ की जा रही है जिससे शराब माफिया ठेके के साथ गुरुग्राम की तर्ज पर ठेका और अहाता बना सके. प्रदर्शन कर रहे लोगों ने मांग की है कि उनकी झुग्गियों और खोकों को वहीं रहने दिया जाए.

बिना किसी नोटिस के पुलिस संरक्षण में उजाड़े गये गरीबों के आशियाने

पुलिस संरक्षण में तोड़े गए झुग्गी और खोके: फरीदाबाद के सोहना रोड (Sohna Road Faridabad) स्थिति संजय कॉलोनी पुलिस चौकी (Police Outpost Sanjay Colony Faridabad) के सामने की ये घटना है. पुलिस के संरक्षण में लोगों के आशियाने देखते ही देखते धरासायी हो गए. लगभग 15 से 20 साल झुग्गियों में रह रहे लोगों की झुग्गियों को बीते शनिवार को अचानक से पुलिस के संरक्षण में तोड़ दी गई. यही नहीं बरसात के मौसम में अचानक से सैकड़ों लोगों के सिर से छत छिन जाने की वजह से लोग खुले आसमान के नीचे ही रहने को मजबूर हो गए हैं.

बिना नोटिस के उजाड़ा आशियाना: सैकड़ों लोगों ने सोहना रोड में एकत्र होकर सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और शराब माफिया और पुलिस की मिलीभगत का आरोप लगाते हुए झुग्गियों को तोड़ने का आरोप लगाया. पीड़ितों ने आरोप लगाते हुए कहा कि शराब माफिया गुड़गांव की तर्ज पर यहां ठेका और अहाता बनाना चाहता हैं इसी लिए प्रशासन से मिलकर शराब माफियाओं ने तोड़फोड़ की जबकि उन्हें नगर निगम (Municipal Corporation Faridabad) से कोई भी नोटिस नहीं दिया गया. वह चाहते हैं कि उनकी झुग्गियों और खोकों को वहीं रहने दिया जाए वह यहां से किसी भी कीमत पर जाने वाले नहीं हैं उन्हें यहीं जीना और यहीं मरना है.

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