चंडीगढ़: हरियाणा वक्फ बोर्ड का मामला एक बार फिर से चर्चा में आ गया है. दरअसल, 12 मार्च 2020 को हरियाणा वक्फ बोर्ड के चेयरमैन के चुनावों पर पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट ने रोक लगा दी थी. अब उसी के साथ एक और याचिका को भी जोड़ा गया है जहां वक्फ बोर्ड की बिना चेयरमैन की नियुक्ति के सदस्यों की बैठक को चुनौती दी गई है.
बिना चेयरमैन की नियुक्ति के बैठक कैसे?
इस याचिका में कहा गया है कि जब चेयरमैन की नियुक्ति ही नहीं हुई है तो यह बैठक कैसे हो सकती है जबकि हरियाणा के एडवोकेट जनरल 12 मार्च की सुनवाई में पहले ही यह कह चुके थे कि किसी भी तरह के चेयरमैन की नियुक्ति नहीं होगी. मामले की जानकारी देते हुए वकील गुरदीपिन्दर सिंह ढिल्लो ने कहा कि आज सिंगल बेंच के समक्ष सुनवाई हुई, हरियाणा वक्फ बोर्ड के चेयरमैन के चुनावों पर पहले ही स्टे लगाया हुआ है.
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वकील ने बताया कि मामले की अगली तारीख 16 अप्रैल 2020 के लिए मुल्तवी भी की गई थी पर इसी बीच कोरोना महामारी के चलते कोर्ट बंद हो गए थे और बाद में सिर्फ जरूरी मामलों की सुनवाई हो रही थी. इस मामले में वक्फ बोर्ड के सदस्यों की मीटिंग बुलाई गई वह सेक्शन-14 के खिलाफ है पर हरियाणा वक्फ बोर्ड ने उन नियमों के खिलाफ सदस्यों की बैठक बुलाई. साथ ही अगली मीटिंग के लिए भी निर्देश दे दिए जो कि आज थी.
कोर्ट ने दिया ये आदेश
इसी को लेकर पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट में एक रिट पिटिशन दाखिल की गई जिसमें इस बैठक को चैलेंज किया गया, जहां आज सिंगल बेंच ने इस मामले को वक्फ बोर्ड की पहली याचिका के साथ जोड़कर पहले जिस डबल बेंच ने इस मामले की सुनवाई करी थी उनके समक्ष सुनवाई के आदेश दिए हैं.
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