चंडीगढ़: स्कूलों के बाद अब शिक्षा विभाग विश्वविद्यालय और कॉलेजों को भी खोलने की तैयारी कर रहा है. बताया जा रहा है कि इसके लिए शिक्षकों से उनकी सलाह ली जा रही है कि कॉलेज और विश्वविद्यालय को खोलने के लिए किस तरह का पैटर्न प्रयोग किया जाए. फिलहाल कॉलेजों और विश्वविद्यालय में दाखिला प्रक्रिया चल रही है. बताया जा रहा है कि अब स्कूलों की तर्ज पर विश्वविद्यालय और कॉलेज को खोलने की तैयारी की जा रही है.
कॉलेजों को खोलने के लिए ली जा रही सलाह
इसके लिए 25 सितंबर तक सभी विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार, कॉलेजों के प्रिंसीपल और निजी विश्वविद्यालयों से भी सलाह मांगी ली जा रही है. इसी के आधार पर अब आगामी शेड्यूल तैयार किया जाएगा. बताया जा रहा है कि 26 सितंबर को सुझाव के मुताबिक ट्रायल भी करवाया जा सकता है.
स्कूल की तर्ज पर खुल सकते हैं कॉलेज और यूनिवर्सिटी
फिलहाल उच्चतर शिक्षा निदेशालय ने अपनी ओर से एक शेड्यूल बनाकर सभी विश्वविद्यालय और कॉलेजों के मुखियाओं को भेजा है कि यदि सप्ताह में दो कक्षा को सिर्फ दो ही दिन लगाया जाए तो इसका किस तरह का असर रहेगा. विश्वविद्यालय और कॉलेजों में विद्यार्थियों को सिर्फ सवालों के समाधान के लिए ही बुलाया जाएगा. जबकि पढ़ाई ऑनलाइन तरीके से ही चलती रहेगी.
1 नवंबर से लग सकती हैं फ्रेश बैच के लिए कक्षाएं
केंद्रीय गृह मंत्रालय की गाइडलाइन के मुताबिक 30 सितंबर तक सभी शैक्षिक संस्थान में पढ़ाई संबंधी गतिविधियों को बंद किया गया है. राज्य सरकार ने तय किया कि UG के पहले और दूसरे वर्ष की कक्षाओं के अलावा PG पहले वर्ष की कक्षाओं को निर्धारित टाइम टेबल पर लगाया जाए. फ्रेश बैच के लिए 1 नवंबर से कक्षाएं लगाने की सलाह दी है.
डिपार्टमेंट ऑफ हायर एजुकेशन ने तैयार किया शेड्यूल
कक्षा समय दिन बीए प्रथम वर्ष सुबह 9 से दोपहर 12 बजे तक सोमवार-मंगलवार, बीकॉम और बीएससी प्रथम वर्ष दोपहर 12:30 बजे से 3:30 बजे तक सोमवार-मंगलवार, बीएड वर्ष सुबह 9 बजे से दोपहर 12 बजे तक बुधवार-वीरवार, बीकॉम द्वितीय और बीएससी द्वितीय वर्ष दोपहर 12.30 बजे से 3.30 बजे तक बुधवार-गुरुवार, बीए द्वितीय वर्ष और पीजी प्रथम वर्ष सुबह 9 बजे से दोपहर 12:00 बजे तक शुक्रवार शनिवार, बीकॉम तृतीय, बीएससी तृतीय और पीजी दोपहर 12.30 बजे से 3.30 बजे तक शुक्रवार- शनिवार.
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प्रदेश सरकार को विश्वविद्यालय-कॉलेजों को खोलने से पहले सभी तैयारी पूरी कर लेनी चाहिए. क्योंकि इस समय कोरोना का कहर पूरे प्रदेश में देखने को मिल रहा है. ऐसा ना हो की जल्दबाजी का हर्जाना विद्यार्थियों को चुकाना पड़े.