चंडीगढ़: हरियाणा के कृषि मंत्री जयप्रकाश दलाल ने न्यूनतम समर्थन मूल्य के लिए केंद्र सरकार की तरफ से गठित की गई समिति (JP Dalal statement on MSP committee) का स्वागत किया है. चंडीगढ़ में उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार का यह फैसला किसानों की आय बढ़ाने वाला साबित होगा. सरकार ने कमेटी में बड़े-बड़े विद्वान, प्रोफेसर और किसान यूनियन के सदस्यों को जगह दी है. साथ ही जीरो बजट कृषि को भी शामिल किया गया है.
संयुक्त किसान मोर्चा की तरफ से एमएसपी कमेटी के लिए अपने सदस्यों का नाम नहीं दिए जाने के सवाल पर कृषि मंत्री ने कहा कि आंदोलन करने वाले लोग अलग होते हैं लेकिन सरकार उम्मीद करती है कि जल्द ही किसान मोर्चा अपने सदस्यों के नाम सरकार को दे देगा. कृषि मंत्री ने कहा कि लोकतंत्र में जनता के प्रतिनिधियों को ही सरकार चलाने और कानून बनाने का अधिकार है. इसके अलावा किसी दूसरे तरीके से काम नहीं हो सकता. आंदोलन से देश में कोई भी फैसला नहीं किया जा सकता है. सोनीपत से कांग्रेस विधायक सुरेंद्र पवार के इस्तीफे देने के सवाल पर कृषि मंत्री ने कहा कि यदि उनको धमकियां मिल रही थी, तो इस्तीफा इसका समाधान नहीं है. उन्हें सरकार से अपनी समस्या बता कर सुरक्षा मांगनी चाहिए.
केंद्र सरकार ने न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) और किसानों की अन्य मांगों को लेकर एक कमेटी का गठन किया है. केंद्र सरकार ने न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) को अधिक प्रभावी तथा पारदर्शी बनाने, जीरो बजट आधारित खेती को बढ़ावा देने तथा देश की बदलती आवश्यकताओं को ध्यान में रखकर फसल चक्र में सुधार जैसे महत्वपूर्ण बिंदुओं पर सुझाव देने के लिए पूर्व कृषि सचिव संजय अग्रवाल की अध्यक्षता में एक वृहद समिति का गठन किया है.
समिति में केंद्र सरकार एवं राज्य सरकारों के प्रतिनिधि, किसान, कृषि वैज्ञानिक और कृषि अर्थशास्त्री शामिल किए गए हैं. इस समिति में तीन कृषि कानूनों का विरोध का नेतृत्व करने वाले संयुक्त किसान मोर्चा के तीन सदस्यों को शामिल करने का प्रावधान किया गया है जिनके नाम अभी प्राप्त नहीं हुए हैं.