चंडीगढ़/जयपुर: अलवर में पहलू खान मॉब लिंचिंग पर कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने ट्वीट के बाद गहलोत सरकार पूरी तरीके से एक्शन में आ गई है. पहले तो मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने एसीएस होम, डीजीपी, एडीजी क्राइम और विधि विभाग के अधिकारियों के साथ में समीक्षा बैठक की. उसके बाद पूरे मामले की जांच के लिए एसआईटी का गठन कर दिया है.
पहलू खान मामले में कोर्ट के फैसले के बाद गहलोत सरकार इस फैसले के एग्जाम इन में लगी है. यही वजह है कि शुक्रवार को दिनभर पहले इससे जुड़े मामले पर मुख्यमंत्री अलग-अलग चरणों में समीक्षा बैठक करते रहे. पहले गहलोत ने एसीएस होम राजीव स्वरूप, डीजी भूपेंद्र सिंह , एडीजी क्राइम बीएल सोनी, विधि विभाग के अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक कर केस से जुड़े मामलों पर परीक्षण किया. लेकिन उसके बाद शाम होते-होते सरकार ने एसआईटी का गठन कर दिया. एसओजी में उपमहानिरीक्षक नितिनदीप बलग्न की अध्यक्षता में एसआईटी का गठन किया है.
इस एसआईटी में नितिनदीप बलग्न के साथ सीआईडी सीबी के एसपी रणधीर सिंह और एएसपी सुनील कुमार शामिल है. यह एसआईटी पहलू खान से जुड़े पूरे मामले की नए सिरे से जांच करेगी, मामले की खामियों के हर एंगल की जांच करेगी, प्रकरण में जिम्मेदारों की भूमिका चेक करेगी और अपनी रिपोर्ट तैयार करके सरकार को सौंपेंगी.
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दरअसल, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने शुक्रवार दोपहर को ही ट्वीट के जरिए पहलू खान मामले पर अपनी बात रखी थी. उसके बाद से मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पूरे मामले को लेकर समीक्षा कर रहे हैं. बता दें कि 2017 में पहलू खान की भीड़ ने पिटाई कर दी थी. जिसके बाद उसकी मौत हो गई थी. इस पूरे मामले में मॉब लिंचिंग का मानते हुए आरोपियों को गिरफ्तार भी किया गया था. लेकिन कोर्ट ने आरोपियों को संदेह का लाभ देते हुए बरी कर दिया था. इसके बाद प्रदेश की कांग्रेस सरकार ने इस पूरे मामले को ऊपरी अदालत में चुनौती देने की पहल कर दी है.