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10 नगर निगम और 16 परिषदों से शहरी निकाय विभाग होगा अलग? विज बोले मुझे जानकारी नहीं

सरकार ने सभी 10 नगर निगमों और 16 नगर परिषदों को शहरी निकाय विभाग से अलग करने की तैयारी शुरू कर दी है जिसके लिए मुख्यमंत्री ने 18 जनवरी को एक बैठक बुलाई है.

anil vij
अनिल विज,कैबिनेट मंत्री
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Published : Jan 17, 2020, 11:35 PM IST

चंडीगढ़: प्रदेश की मनोहर सरकार गृह व शहरी निकाय मंत्री अनिल विज के एक और महकमे में बदलाव की तैयारी में है. सरकार ने सभी 10 नगर निगमों और 16 नगर परिषदों को शहरी निकाय विभाग से अलग करने की तैयारी शुरू कर दी है जिसके लिए मुख्यमंत्री ने 18 जनवरी को एक बैठक बुलाई है.

बैठक में शमिल होंगे अनिल विज

बैठक में सभी मेयर आयुक्त के साथ-साथ मंत्री अनिल विज को भी न्योता दिया गया है. यदि ऐसा हुआ तो शहरी निकाय विभाग के पास सिर्फ नगर पालिका ने रह जाएंगी और नगर निगम और नगर परिषदों का अलग अस्तित्व कायम हो जाएगा. ऐसे में मुख्यमंत्री और विज के बीच एक नया विवाद पैदा हो सकता है.

शहरी निकायों के बंटावारे पर क्या बोले अनिल विज, देखिए वीडियो

बता दें कि अनिल विज सभी शहरी निकायों का स्पेशल ऑडिट कराने की रूपरेखा तैयार कर रहे हैं. पिछले दिनों शहरी स्थानीय निकाय विभाग के एक बड़े अधिकारी ने बैठक में निगम और परिषद आयुक्त को स्पष्ट संकेत दिया कि वो अब खुद ही अपना खर्चा उठाने की तैयारी कर लें आगे से उन्हें सरकार की ओर से किसी भी तरह की कोई ग्रांट नहीं दी जाएगी.

हरियाणा में 83 शहरी स्थानीय निकाय

हरियाणा में 83 शहरी स्थानीय निकाय हैं, जिसमें 57 नगर पालिका शामिल है. यदि ऐसा कोई प्रस्ताव सिरे चढ़ता है तो पहले कैबिनेट की मुहर जरूरी है. लेकिन कई विधायक नगर निगमों और परिषदों को शहरी स्थानीय निकाय विभाग से अलग करने के हक में नहीं है. शहरी निकायों की अपनी खुद की भी आए हैं और सरकार भी सालाना बजट उन्हें देती है.

मुझे जानकारी नहीं-विज
इस विषय पर बोलते हुए गृह एवं शहरी निकाय मंत्री अनिल विज ने कहा कि मेरे लेवल पर इस बारे में कोई चर्चा नहीं हुई ना मंत्री समूह में और ना ही पार्टी लेवल पर इस बारे में चर्चा हुई. उन्होंने कहा कि मुझे इसकी जानकारी नहीं है कि इस तरह की बात कहां से जनरेट हो रही है मुझे नहीं लगता कि आज की तारीख में मुंसिपल कमेटियां अपना खर्चा उठा सकती हैं मैं बैठक में जाऊंगा वहां जाकर देखते हैं कि इस विषय में क्या बात होती है.

ये भी पढ़ें- IAS अशोक खेमका ने फिर लिखा सीएम को पत्र, जांच कमेटी पर उठाए सवाल

चंडीगढ़: प्रदेश की मनोहर सरकार गृह व शहरी निकाय मंत्री अनिल विज के एक और महकमे में बदलाव की तैयारी में है. सरकार ने सभी 10 नगर निगमों और 16 नगर परिषदों को शहरी निकाय विभाग से अलग करने की तैयारी शुरू कर दी है जिसके लिए मुख्यमंत्री ने 18 जनवरी को एक बैठक बुलाई है.

बैठक में शमिल होंगे अनिल विज

बैठक में सभी मेयर आयुक्त के साथ-साथ मंत्री अनिल विज को भी न्योता दिया गया है. यदि ऐसा हुआ तो शहरी निकाय विभाग के पास सिर्फ नगर पालिका ने रह जाएंगी और नगर निगम और नगर परिषदों का अलग अस्तित्व कायम हो जाएगा. ऐसे में मुख्यमंत्री और विज के बीच एक नया विवाद पैदा हो सकता है.

शहरी निकायों के बंटावारे पर क्या बोले अनिल विज, देखिए वीडियो

बता दें कि अनिल विज सभी शहरी निकायों का स्पेशल ऑडिट कराने की रूपरेखा तैयार कर रहे हैं. पिछले दिनों शहरी स्थानीय निकाय विभाग के एक बड़े अधिकारी ने बैठक में निगम और परिषद आयुक्त को स्पष्ट संकेत दिया कि वो अब खुद ही अपना खर्चा उठाने की तैयारी कर लें आगे से उन्हें सरकार की ओर से किसी भी तरह की कोई ग्रांट नहीं दी जाएगी.

हरियाणा में 83 शहरी स्थानीय निकाय

हरियाणा में 83 शहरी स्थानीय निकाय हैं, जिसमें 57 नगर पालिका शामिल है. यदि ऐसा कोई प्रस्ताव सिरे चढ़ता है तो पहले कैबिनेट की मुहर जरूरी है. लेकिन कई विधायक नगर निगमों और परिषदों को शहरी स्थानीय निकाय विभाग से अलग करने के हक में नहीं है. शहरी निकायों की अपनी खुद की भी आए हैं और सरकार भी सालाना बजट उन्हें देती है.

मुझे जानकारी नहीं-विज
इस विषय पर बोलते हुए गृह एवं शहरी निकाय मंत्री अनिल विज ने कहा कि मेरे लेवल पर इस बारे में कोई चर्चा नहीं हुई ना मंत्री समूह में और ना ही पार्टी लेवल पर इस बारे में चर्चा हुई. उन्होंने कहा कि मुझे इसकी जानकारी नहीं है कि इस तरह की बात कहां से जनरेट हो रही है मुझे नहीं लगता कि आज की तारीख में मुंसिपल कमेटियां अपना खर्चा उठा सकती हैं मैं बैठक में जाऊंगा वहां जाकर देखते हैं कि इस विषय में क्या बात होती है.

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Intro:चंडीगढ, प्रदेश की मनोहर सरकार गृह व शहरी निकाय मंत्री अनिल विज के एक और महकमे में बदलाव की तैयारी में है । सरकार ने सभी 10 नगर निगमों और 16 नगर परिषदों को शहरी निकाय विभाग से अलग करने की तैयारी शुरू कर दी है जिसके लिए मुख्यमंत्री ने 18 जनवरी को एक बैठक बुलाई है बैठक में सभी मेयर आयुक्त के साथ-साथ मंत्री अनिल विज को भी न्योता दिया गया है यदि ऐसा हुआ तो शहरी निकाय विभाग के पास सिर्फ नगर पालिका ने रह जाएंगी, और नगर निगम व नगर परिषदों का अलग अस्तित्व कायम हो जाएगा ऐसे में मुख्यमंत्री और विज के बीच एक नया विवाद पैदा हो सकता है ।


Body:बता दें कि अनिल विज सभी शहरी निकायों का स्पेशल ऑडिट कराने की रूपरेखा तैयार कर रहे हैं पिछले दिनों शहरी स्थानीय निकाय विभाग के एक बड़े अधिकारी ने बैठक में निगम और परिषद आयुक्त को स्पष्ट संकेत दिया कि वह अब खुद ही अपना खर्चा उठाने की तैयारी कर ले आगे से उन्हें सरकार की ओर से किसी भी तरह की कोई ग्रांट नहीं दी जाएगी ।

हरियाणा में 83 शहरी स्थानीय निकाय हैं जिसमें 57 नगरपालिका में शामिल है यदि ऐसा कोई प्रस्ताव सिरे चढ़ता है तो पहले कैबिनेट की मुहर जरूरी है लेकिन कई विधायक नगर निगमों व परिषदों को शहरी स्थानीय निकाय विभाग से अलग करने के हक में नहीं है शहरी निकायों की अपनी खुद की भी आए हैं और सरकार भी सालाना बजट उन्हें देती है ।


Conclusion:इस विषय पर बोलते हुए गृह एवं शहरी निकाय मंत्री अनिल विज ने कहा कि मेरे लेवल पर इस बारे में कोई चर्चा नहीं हुई ना मंत्री समूह में और ना ही पार्टी लेवल पर इस बारे में चर्चा हुई उन्होंने कहा कि मुझे इसकी जानकारी नहीं है कि इस तरह की बात कहां से जनरेट हो रही है मुझे नहीं लगता कि आज की तारीख में मंसीपल कमेटियां अपना खर्चा सुबह उठा सकती हैं मैं बैठक में जाऊंगा वहां जाकर देखते हैं कि इस विषय में क्या बात होती है ।
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