नई दिल्ली : कांग्रेस के लोकसभा सांसद और सचेतक मनिकम टैगोर (Manickam Tagore) ने आरोप लगाया कि प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने संसद के केंद्रीय हॉल को जहां संविधान दिवस का जश्न मनाया जा रहा था उसे भाजपा की एक सार्वजनिक रैली में बदल दिया था.
यह प्रधान मंत्री नरेंद्र के बाद आता है मोदी ने संविधान दिवस समारोह का बहिष्कार करने के लिए विपक्षी दलों पर हमला करते हुए कहा कि जब राजनीतिक दल अपना लोकतांत्रिक चरित्र खो देते हैं तो संविधान की भावना आहत होती है.
यह टिप्पणी उस वक्त की गई है जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा संविधान दिवस समारोह का बहिष्कार करने का आराेप लगाते हुए विपक्षी दलों पर हमला करते हुए कहा गया कि संविधान की भावना आहत होती है जब राजनीतिक दल अपना लोकतांत्रिक चरित्र खो देते हैं.
ईटीवी भारत से बात करते हुए मनिकम टैगोर ने कहा, "स्वतंत्रता संग्राम और संविधान बनाने में आरएसएस और बीजेपी की कोई भूमिका नहीं थी. वे इतिहास के साथ-साथ संविधान की सामग्री को भी नहीं जानते हैं. वे इसे केवल एक किताब के रूप में देखते हैं. उन्हें कांग्रेस के बारे में बोलने का कोई अधिकार नहीं है क्योंकि यह वह पार्टी है जिसने भारत का निर्माण किया है और भारत के लिए भी खड़ी है.
पीएम मोदी ने अपनी टिप्पणी में कांग्रेस पार्टी पर भी निशाना साधा, जहां उन्होंने कहा कि भारत परिवार-आधारित पार्टियों के रूप में "संकट" की ओर बढ़ रहा है.
मनिकम टैगोर ने पीएम की टिप्पणियों पर जवाब दिया, श्री मोदी ने संसद के सेंट्रल हॉल को बीजेपी की जनसभा में बदल दिया है. उन्होंने इस तरह की राजनीति की बात करके सेंट्रल हॉल की गरिमा का ही अपमान किया है.
कांग्रेस सांसद ने तीन विवादास्पद कृषि कानूनों को निरस्त करने के केंद्र के वादे में विश्वास की कमी का उल्लेख करते हुए किसानों के विरोध के 1 साल पूरे होने पर भी बात की.
उन्होंने कहा, यह मोदी सरकार का एक और अहंकार है. 1.5 साल से पहले वे इन विधेयकों को सभी असंसदीय प्रथाओं को करके एक कानून में धकेल दिया, जिसे अब उन्हें निरस्त करना होगा. हालांकि, लोगों ने प्रधान मंत्री पर कोई भरोसा नहीं छोड़ा है और इसलिए वे अभी भी सीमाओं पर बैठे हैं.
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