नई दिल्ली: रघुवीर नगर इलाके में कॉलोनी के आस-पास पैदल चलने के रास्तों पर नाले और सीवर खुले हुए हैं. जिससे कभी भी कोई हादसा हो सकता है. यहां से लोगों का आना-जाना रहता है और रेहड़ी लगाकर कुछ लोग अपनी आजीविका चलाते हैं, लेकिन संबंधित एजेंसी बिल्कुल लापरवाह है.
पैदल चलने के रास्तों पर नाले खुले हुए आधे दर्जन से अधिक जगहों पर सीवर के ढक्कन गायब एजेंसियों की लापरवाही से आम लोगों को परेशानी उठानी पड़ती है जबकि इन्हीं एजेंसियों पर आम लोगों की दिक्कतें दूर करने की जिम्मेदारी होती है. लेकिन रघुवीर नगर इलाके में पेडेस्ट्रेन (मुख्य सड़क के साथ में लोगों के पैदल चलने का रास्ता) की हालत देखिए. पैदल चलने वालों के लिए बने इन रास्तों पर ही जगह-जगह नाले खुले हुए हैं और सीवर के ढक्कन गायब हैं. यहां पर कोई एक ढक्कन नहीं बल्कि आधे दर्जन से अधिक जगह पर सीवर के ढक्कन गायब हैं और और नाले खुले हैं. जिससे कभी भी हादसों के होने की आशंका बनी रहती है, क्योंकि अक्सर लोग इन्हीं रास्तों से आते जाते हैं. दोनों तरफ कॉलोनियां हैं और यह मुख्य रास्ता है जो रघुवीर नगर से टैगोर गार्डन और रजौरी गार्डन को जोड़ता है. लेकिन एजेंसियों को इस बात की जरा भी परवाह नहीं कि यह पैदल चलने वालों के लिए कितना खतरनाक है. इसी के एक छोर पर एक महिला रेहड़ी लगाती है और पास में ही नाले का ढक्कन गायब है और उसकी छोटी सी बच्ची पास में खेलती रहती है. लोगों का कहना है काफी समय से यही हाल है. स्थानीय लोगों ने कई बार इसकी शिकायत भी की. बावजूद इसके इस समस्या का समाधान नहीं हुआ है.
इलाके की सफाई व्यवस्था भी बदहालदरअसल इस इलाके में जगह-जगह इस तरह से नाले और सीवर के ढक्कन तो खुले हैं ही साथ ही कई जगहों पर मुख्य सड़क के साथ कूड़ा और मलबा भी पड़ा हुआ है. इसकी खबर भी ईटीवी भारत में पहले दिखाई थी. बावजूद इसके न तो इस इलाके में सही तरीके से साफ-सफाई होती है और ऊपर से इस तरह की लापरवाही जिसमें लोगों के गिरने का अंदेशा हमेशा बना रहता है. लेकिन एजेंसियों को लगता है कि जब तक कोई हादसा ना हो तब तक वह नींद से जागती नहीं हैं.