नई दिल्ली: इंडियन पॉल्यूशन कंट्रोल एसोसिएशन (Indian Pollution Control Association) और TERI स्कूल ऑफ एडवांस्ड स्टडीज (TERI School of Advanced Studies) ने पर्यावरण, कचरा प्रबंधन के सतत विकास हेतु आपसी साझेदारी करते हुए IPCA सेंटर फॉर वेस्ट मैनेजमेंट एंड रिसर्च (ICWMR) की स्थापना की. यह केंद्र साक्ष्य-आधारित अनुसंधान करने, प्रौद्योगिकी विकसित करने, नवाचार लाने, क्षमता निर्माण कार्यक्रम आयोजित करने और कचरे की स्थायी आपूर्ति श्रृंखला विकसित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा. यह समूह सत्रों, सम्मेलनों के माध्यम से इनपुट प्राप्त करके अंतर्दृष्टि प्रकाशित करने के साथ-साथ राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय संस्थानों के साथ सहयोग करेगा. साथ ही यह रिसर्च स्कॉलरों को उनकी पीएचडी डिग्री के लिए भी नामांकित करेगा.
केंद्र का उद्घाटन करते हुए केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (central pollution control board) के सदस्य सचिव डॉ. प्रशांत भार्गव ने अपने उद्बोधन में कहा कि 'ICWMR का विकास ऐसे समय में अनिवार्य है जब अपशिष्ट प्रबंधन के क्षेत्र में भारी डेटा अंतर है और यह केंद्र नीतियों को विकसित करने के लिए ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के क्षेत्र में नवाचार और अनुसंधान के लिए विश्वसनीय डेटासेट तैयार करने पर ध्यान केंद्रित करेगा. साथ ही पर्यावरणीय स्थिरता के लिए चुनौतीपूर्ण मुद्दों का मजबूत समाधान प्रदान करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा. इस केंद्र से भारत सरकार के स्वच्छ भारत अभियान (Clean India Movement) के उद्देश्यों को बढ़ाने की उम्मीद है. उद्घाटन समारोह में सरकार, बहुपक्षीय संगठन, कॉर्पोरेट्स और शिक्षा जगत के प्रतिनिधियों ने भाग लिया. समारोह में उपस्थित गणमान्य लोगों ने आईपीसीए और टेरी एसएएस को इस पहल के लिए बधाई दी.
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संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम के कार्यक्रम अधिकारी डॉ. सुमित शर्मा ने संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम ने नीति निर्माण को मजबूत करने में इस केंद्र की क्षमता के बारे में अपने विचार साझा किए. उन्होंने बताया कि ICWMR कैसे साक्ष्य आधारित अनुसंधान परिणाम प्रदान करके वर्तमान कार्यान्वयन अंतराल को पाट सकता है. साथ ही डॉ. समीर प्रसाद, ऑपरेशंस मैनेजमेंट कॉलेज ऑफ बिजनेस, यूनिवर्सिटी ऑफ कोलोराडो, कोलोराडो स्प्रिंग्स के एसोसिएट प्रोफेसर ने ठोस अपशिष्ट प्रबंधन क्षेत्र में कार्रवाई अनुसंधान की भूमिका के बारे में बात की.
प्रोफेसर प्रतीक शर्मा, कुलपति, टेरी एसएएस ने केंद्र के बारे में अपना दृष्टिकोण साझा करते हुये उन्होंने कहा कि 'यह केंद्र शिक्षाविदों और नीति निष्पादकों के दशकों के अनुभवों का एक सम्मेलन है और इसका उद्देश्य ठोस अपशिष्ट प्रबंधन से संबंधित मौलिक और उन्नत अनुसंधान पर विशेष ध्यान देने के साथ पर्यावरणीय स्थिरता के सभी पहलुओं को शामिल करना है.' इसके अलावा, IPCA के संस्थापक निदेशक, श्री आशीष जैन ने कहा कि 'ठोस अपशिष्ट प्रबंधन क्षेत्र में आगामी भविष्य में असीम संभावनाएं हैं और इसे आने वाले समय में रोजगार, संसाधन वसूली और सर्कुलर इकॉनमी के लिए एक आगामी उद्योग के रूप में देखना चाहिए. लेकिन यह तभी संभव होगा जब इस क्षेत्र के प्रति पेशेवर दृष्टिकोण के साथ यह केंद्र ठोस अपशिष्ट प्रबंधन को सभी उद्योगों में सबसे प्रतिष्ठित क्षेत्र बनाने के लिए अधिक पेशेवर और कुशल जनशक्ति तैयार करने के लिए काम करेगा.'
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