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ऑनलाइन फ्रॉड से सावधान ! 9 लाख से ज्यादा की ठगी कर चुके 2 आरोपी अरेस्ट

दिल्ली पुलिस ने ऑनलाइन ठगी करने वाले 2 लोगों को राजस्थान से अरेस्ट किया है. ये आरोपी ओएलएक्स पर सेकंड हैंड सामान बेचने के नाम पर ठगी करते थे. सेना के जवान के फर्जी आईकार्ड पर बैंक अकाउंट का इस्तेमाल करते थे.

ऑनलाइन ठगी के 2 आरोपियों के साथ दिल्ली पुलिस
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Published : Jul 1, 2019, 10:45 AM IST

नई दिल्ली: दक्षिणी दिल्ली के मैदान गढ़ी थाने की पुलिस टीम ने ऑनलाइन ठगी करने वाले 2 लोगों को राजस्थान से अरेस्ट किया है. दोनों गिरफ्तार आरोपियों की पहचान राजबीर और हरीश के रूप में हुई है.

delhi police arrested two cheater for online fraud
ऑनलाइन ठगी के 2 आरोपियों के साथ दिल्ली पुलिस
ये आरोपी ओएलएक्स पर सेकंड हैंड सामान बेचने के नाम पर ठगी करते थे. अभी तक की पुलिस जांच में पता चला है कि ये 9 लाख से ज्यादा की ठगी कर चुके हैं.

इन ठगों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस को काफी मशक्कत करनी पड़ी. 5 दिनों तक पुलिस टीम को राजस्थान में ही डेरा डालना पड़ा, जिसके बाद टेक्निकल सर्विलांस और राजस्थान पुलिस की मदद से इन्हें गिरफ्तार कर लिया गया.

मैदानगढी थाने में 25 मई को एक शख्स ने शिकायत दर्ज कराई थी कि उसके पास ओएलएक्स पर सेकेंड हैंड एसी का ऐड आया था और उसने बेचने वाले शख्स पर विश्वास कर, उसके पेटीएम में 22 हजार 500 रुपए डाल दिए थे, लेकिन उसके बाद से उसका फोन नॉट रिचेबल बता रहा है.

फर्जी आईकार्ड का इस्तेमाल
पुलिस ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए ने वरिष्ठ अधिकारियों की देखरेख में एक टीम बनाई थी. जिसकी जांच में पता चला कि जिस पेटीएम एकाउंट में पैसे मंगवाए गए थे वो अकाउंट सेना के जवान के फर्जी आईकार्ड पर बनाया था अकाउंट.

अकाउंट ट्रैक करने पर पता चला कि अकाउंट में डाले गए रुपये पेटीएम डेबिट कार्ड का उपयोग कर एटीएम से निकाल लिए गए हैं. इस एटीएम को भरतपुर, कोमन, सिकरी, सोंखर और खेरली में इस्तेमाल किए गया था.

कई खातों की जानकारी मिली
गिरफ्तार आरोपियों के पास से 2 और पेटीएम खातों की जानकारी मिली है. तीनों खातों की केवाईसी हरियाणा के पानीपत, रोहतक और कालानौर से करवाई गई थी.
ठगों का लोकेशन ज्यादातर समय भरतपुर आ रहा था, जिसके बाद जांच टीम के पांच सदस्य उन्हें पकड़ने भरतपुर पहुंच गए.

इस दौरान टीम 5 दिन और 6 रातों तक लगातार तीनों नंबरों को ट्रैक करने के साथ सभी एटीएम में लगे सीसीटीवी खंगालती रही और फिर शुक्रवार को टीम ने दोनों आरोपियों को धर दबोचा.

पुलिस कर रही है जांच
फिलहाल इस मामले में पुलिस आगे की जांच कर रही है और पता लगाने की कोशिश कर रही है कि इन ऑनलाइन ठगों के तार कहां-कहां से जुड़े हैं और कौन लोग इसमें शामिल हैं.

नई दिल्ली: दक्षिणी दिल्ली के मैदान गढ़ी थाने की पुलिस टीम ने ऑनलाइन ठगी करने वाले 2 लोगों को राजस्थान से अरेस्ट किया है. दोनों गिरफ्तार आरोपियों की पहचान राजबीर और हरीश के रूप में हुई है.

delhi police arrested two cheater for online fraud
ऑनलाइन ठगी के 2 आरोपियों के साथ दिल्ली पुलिस
ये आरोपी ओएलएक्स पर सेकंड हैंड सामान बेचने के नाम पर ठगी करते थे. अभी तक की पुलिस जांच में पता चला है कि ये 9 लाख से ज्यादा की ठगी कर चुके हैं.

इन ठगों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस को काफी मशक्कत करनी पड़ी. 5 दिनों तक पुलिस टीम को राजस्थान में ही डेरा डालना पड़ा, जिसके बाद टेक्निकल सर्विलांस और राजस्थान पुलिस की मदद से इन्हें गिरफ्तार कर लिया गया.

मैदानगढी थाने में 25 मई को एक शख्स ने शिकायत दर्ज कराई थी कि उसके पास ओएलएक्स पर सेकेंड हैंड एसी का ऐड आया था और उसने बेचने वाले शख्स पर विश्वास कर, उसके पेटीएम में 22 हजार 500 रुपए डाल दिए थे, लेकिन उसके बाद से उसका फोन नॉट रिचेबल बता रहा है.

फर्जी आईकार्ड का इस्तेमाल
पुलिस ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए ने वरिष्ठ अधिकारियों की देखरेख में एक टीम बनाई थी. जिसकी जांच में पता चला कि जिस पेटीएम एकाउंट में पैसे मंगवाए गए थे वो अकाउंट सेना के जवान के फर्जी आईकार्ड पर बनाया था अकाउंट.

अकाउंट ट्रैक करने पर पता चला कि अकाउंट में डाले गए रुपये पेटीएम डेबिट कार्ड का उपयोग कर एटीएम से निकाल लिए गए हैं. इस एटीएम को भरतपुर, कोमन, सिकरी, सोंखर और खेरली में इस्तेमाल किए गया था.

कई खातों की जानकारी मिली
गिरफ्तार आरोपियों के पास से 2 और पेटीएम खातों की जानकारी मिली है. तीनों खातों की केवाईसी हरियाणा के पानीपत, रोहतक और कालानौर से करवाई गई थी.
ठगों का लोकेशन ज्यादातर समय भरतपुर आ रहा था, जिसके बाद जांच टीम के पांच सदस्य उन्हें पकड़ने भरतपुर पहुंच गए.

इस दौरान टीम 5 दिन और 6 रातों तक लगातार तीनों नंबरों को ट्रैक करने के साथ सभी एटीएम में लगे सीसीटीवी खंगालती रही और फिर शुक्रवार को टीम ने दोनों आरोपियों को धर दबोचा.

पुलिस कर रही है जांच
फिलहाल इस मामले में पुलिस आगे की जांच कर रही है और पता लगाने की कोशिश कर रही है कि इन ऑनलाइन ठगों के तार कहां-कहां से जुड़े हैं और कौन लोग इसमें शामिल हैं.

Intro:डेडलाइन - साउथ दिल्ली (मैदान गढ़ी)

साउथ दिल्ली की मैदान गढ़ी थाने की पुलिस टीम ने ऑनलाइन ठगी करने वाले दो ठगों को राजस्थान से गिरफ्तार किया है इनकी गिरफ्तारी टेक्निकल सर्विलांस की मदद से की की गई है इनकी गिरफ्तारी के किए थाने की पुलिस टीम को काफी मस्कत करनी पड़ी हैं 5 दिन टीम को राजस्थान में डेरा डालना पड़ा बरहाल इनको पुलिस टीम ने गिरफ्तार कर लिया हैं दोनों गिरफ्तार आरोपियों की पहचान राजबीर और हरीश के रूप में हुई है दोनों मूल रूप से राजस्थान के रहने वाले हैं ओएलएक्स पर सेकंड हैंड सामान बेचने के नाम पर ठगी करते थे अभी तक के जांच में पता चला हैं कि ये 9 लाख से अधिक की ठगी कर चुके हैं फिलहाल इस पूरे मामले में पुलिस जांच कर रही है ।


सहायता से दबोचा है। गिरफ्तार आरोपी राजबीर और हरीश मूल रूप से राजस्थान के रहने वाले हैं। दोनों लोगों से ओएलएक्स पर सेकेंड हैंस सामानों की बिक्री के नाम पर ठगी करते थे। प्राथमिक जांच में जानकारी मली है कि दोनों 9 लाख रुपये से अधिक की ठगी कर चुके हैं। Body:

मैदानगढी थाना में 25 मई को एक शख्स ने शिखायत दर्ज कराई थी। जिसमें बताया था कि ओएलएक्स पर सेकेंड हैंड एसी का एड आया था। उन्होंने बेचने वाले पर विश्वास कर उसके पेटीएम में 22 हजार 500 डाल दिए थे, पर उसके बाद उस शख्स का फोन नॉट रिचेबल हो
गया था। शिकायत को गंभीरता से लेते हुए ने वरीय अधिकारियों के देखरेख में एक टीम बनाई गई। जांच में पता चला कि जिस पेटीएम एकाउंट में पैसे मंगवाए गए थे, वह एकाउंट सेना के जवान के फर्जी आईकार्ड पर बनाया गया है। एकाउंट ट्रैक करने पर पता चला कि ठग ने एकाउंट में डाले गए रुपये पेटीएम डेबिट कार्ड का उपयोग कर एटीएम से निकाल लिए गए हैं। यह एटीएम भरतपुर, कोमन, सिकरी, सोंखर और खेरली में इस्तेमाल किए गए थे। साथ ही दो और पेटीएम खातों की जानकारी मिली। तीनों खातों का केवाईसी हरियाणा के पानीपत, रोहतक और कालानौर से करवाया गया था। ठगों का लोकशन ज्यादातर समय भरतपुर आने के बाद जांच टीम के पांच सदस्य उन्हें पकड़े भरतपुर पहुंच गई। इस दौरान टीम पांच दिन और छह रातों तक लगातार तीनों नंबरों को ट्रैक करने के साथ ही सभी एटीएम में लगे सीसीटीवी खंगालती रही। अंतत: शुक्रवार को टीम ने दोनों आरोपी को दबोच लिया।

फिलहाल इस पूरे मामले में पुलिस आगे की जांच कर रही है और पता लगाने की कोशिश कर रही हैं कि इन ऑनलाइन ठगों के तार किन-किन से जुड़े हुए हैं और कौन इसमें शामिल हैConclusion: आज के दौर में जब हर काम ऑनलाइन होता जा रहा है तो अब बदमाश भी शातिर हो गए हैं और वह ऑनलाइन चैटिंग कर रहे हैं बरहाल लोगों को ऑनलाइन साइटों का इस्तेमाल करते वक्त थोड़ा सावधान और सतर्क रहने की जरूरत हैं ।
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