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फर्जी डॉक्टरों के मामले में खुलासा, शादियों में बुकिंग लेकर किराए पर बीएमडब्ल्यू चलाता था नीरज, पूजा निकली दसवीं पास

दिल्ली में मरीजों की जान के साथ खिलवाड़ करने वाले फर्जी डॉक्टर गिरफ्तारी के बाद रिमांड पर हैं. पूछताछ में लगातार नई बातें निकलकर सामने आ रही है. मामले में अब यह सामने आया है कि आरोपियों में से एक पूजा, महज दसवीं पास है. accused used to drive BMW on rent, fake doctors case

accused used to drive BMW on rent
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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Nov 18, 2023, 11:03 AM IST

नई दिल्ली: दिल्ली के ग्रेटर कैलाश इलाके में स्थित मेडिकल सेंटर के फर्जी डॉक्टरों की गिरफ्तारी के बाद लगातार नई बातें सामने आ रहे हैं. मामले में अब खुलासा हुआ है कि आरोपी नीरज अग्रवाल कई तरह के काम करता था. पुलिस सूत्रों के अनुसार, वह अपनी बीएमडब्ल्यू व अन्य कारों की शादियों के लिए बुकिंग लेता था. इतना ही नहीं, वह खुद ड्राइवर बनकर कार ले जाता था.

यह भी सामने आया है कि मरीजों का ऑपरेशन करने वाली आरोपी पूजा दसवीं पास है, जबकि लैब टेक्नीशियन महेंद्र 12वीं पास है. दोनों ही मरीजों को इंजेक्शन लगाया करते थे. दक्षिणी जिला पुलिस अधिकारियों के अनुसार, दिल्ली के संगम विहार में रहने वाले असगर की मौत के बाद उसके परिजनों की शिकायत के बाद इन फर्जी डॉक्टरों का सच उजागर हुआ और पुलिस ने रैकेट का भंडाफोड़ किया. बता दें कि आरोपियों को पुलिस ने पांच दिन की रिमांड पर लिया था.

यह भी पढ़ें-Fake Doctors Case: मेडिकल सेंटर के खिलाफ दिल्ली मेडिकल काउंसिल में शिकायतें दर्ज, हुए कई खुलासे

इससे पहले मामले में सामने आया था कि डॉक्टर नीरज अग्रवाल ने अपने कई एजेंट दिल्ली के बड़े अस्पतालों में लगा रखे थे जहां से वे मरीजों को डॉक्टर अग्रवाल मेडिकल सेंटर का पता देते थे. उन मरीजों को सस्ते दामों पर सर्जरी कराने की बात कही जाती थी, जिसके बाद गरीब मरीज मेडिकल सेंटर के चंगुल में फंस जाया करते थे. जानकारी के मुताबिक आरोपियों ने सफदरजंग और एम्स जैसे बड़े अस्पतालों की ओपीडी तक में एजेंट बिठा रखे थे.

यह भी पढ़ें-दिल्ली पुलिस का खुलासा, डॉक्टर ने सरकारी अस्पतालों में रखा था अपना एजेंट

नई दिल्ली: दिल्ली के ग्रेटर कैलाश इलाके में स्थित मेडिकल सेंटर के फर्जी डॉक्टरों की गिरफ्तारी के बाद लगातार नई बातें सामने आ रहे हैं. मामले में अब खुलासा हुआ है कि आरोपी नीरज अग्रवाल कई तरह के काम करता था. पुलिस सूत्रों के अनुसार, वह अपनी बीएमडब्ल्यू व अन्य कारों की शादियों के लिए बुकिंग लेता था. इतना ही नहीं, वह खुद ड्राइवर बनकर कार ले जाता था.

यह भी सामने आया है कि मरीजों का ऑपरेशन करने वाली आरोपी पूजा दसवीं पास है, जबकि लैब टेक्नीशियन महेंद्र 12वीं पास है. दोनों ही मरीजों को इंजेक्शन लगाया करते थे. दक्षिणी जिला पुलिस अधिकारियों के अनुसार, दिल्ली के संगम विहार में रहने वाले असगर की मौत के बाद उसके परिजनों की शिकायत के बाद इन फर्जी डॉक्टरों का सच उजागर हुआ और पुलिस ने रैकेट का भंडाफोड़ किया. बता दें कि आरोपियों को पुलिस ने पांच दिन की रिमांड पर लिया था.

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इससे पहले मामले में सामने आया था कि डॉक्टर नीरज अग्रवाल ने अपने कई एजेंट दिल्ली के बड़े अस्पतालों में लगा रखे थे जहां से वे मरीजों को डॉक्टर अग्रवाल मेडिकल सेंटर का पता देते थे. उन मरीजों को सस्ते दामों पर सर्जरी कराने की बात कही जाती थी, जिसके बाद गरीब मरीज मेडिकल सेंटर के चंगुल में फंस जाया करते थे. जानकारी के मुताबिक आरोपियों ने सफदरजंग और एम्स जैसे बड़े अस्पतालों की ओपीडी तक में एजेंट बिठा रखे थे.

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