नई दिल्ली: शाहदरा जिला की साइबर सेल ने रेमेडेसीवर इंजेक्शन दिलाने के नाम पर ठगी करने वाले गैंग का भंडाफोड़ किया है. पुलिस ने दो आरोपियों को गिरफ्तार कर उनके अकाउंट को सीज कर दिया है.
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रेमेडेसीवर के नाम पर ठगी करने वाली गैंग का खुलासा
डीसीपी आर साथिया सुंदरम ने बताया कि गिरफ्तार आरोपियों की पहचान निखिल मल्होत्रा और विक्रांत चौहान के तौर पर हुई है. दोनों दिल्ली के मुखर्जी नगर इलाके के रहने वाला हैं. अप्रैल को आशीष नाम के युवक ने जगतपुरी थाना में शिकायत दर्ज कराई थी कि उसके कोरोना संक्रमित पिता के लिए डॉक्टर ने रेमेडेसीवर इंजेक्शन लाने के लिए कहा था. कई दुकानों में जब इंजेक्शन नहीं मिला तो उन्होंने सोशल मीडिया पर एक एडवर्टाइज देखा जिसमें इंजेक्शन की होम डिलीवरी का दावा किया जा रहा था.
चार इंजेक्शन की डिमांड एक लाख 60 हजार रुपये
विज्ञापनदाता ने चार इंजेक्शन की एक लाख 60 हजार रुपये की डिमांड की और 70 हजार रुपये एडवांस ऑनलाइन ट्रांसफर करने के लिए कहा. जिसके बाद उसने 70 हजार रुपये ऑनलाइन ट्रांसफर कर दिया लेकिन उन्हें इंजेक्शन नहीं मिली.
शिकायत के बाद साइबर सेल के इंस्पेक्टर हीरालाल के नेतृत्व में एसआई राहुल, हेड कॉन्स्टेबल दीपक, कॉन्स्टेबल राजदीप और कॉन्स्टेबल दीपक की टीम को जांच के लिए लगाया गया.
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कमीशन पर खेल करते हैं आरोपी
इस जांच में बैंक डिटेल और टेक्निकल सर्विलांस के आधार पर निखिल मल्होत्रा की पहचान कर उसे गिरफ्तार कर लिया. पूछताछ में बताया कि उसके दोस्त विक्रांत ने उसका अकाउंट नंबर लिया था और पैसे ट्रांसफर करने की आवाज में कमीशन देने की बात कही. इसके बाद पुलिस ने विक्रांत को गिरफ्तार कर लिया. विक्रांत ने पूछताछ में बताया कि वह विदित गोयल नाम के शख्स के कहने पर अकाउंट में पैसा मंगवा देता और उसमें अपना 20% कमीशन रख कर पैसा विदित गोयल के अकाउंट में कर देता है. विजय गोयल को चीटिंग के मामले में पहले ही लक्ष्मीनगर पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है.