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यात्रीगण ध्यान देंः दिल्ली मेट्रो रेल में यात्रा के दौरान नुकसान हाेता है ताे आप उपभाेक्ता फाेरम में कर सकते हैं केस

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Published : Oct 20, 2021, 6:31 PM IST

Updated : Oct 20, 2021, 6:52 PM IST

अगर आप दिल्ली मेट्राे रेल में यात्रा करते हैं ताे आपके लिए एक अच्छी खबर है. दिल्ली मेट्रो ने आपकाे उपभोक्ता मान लिया है. इसका मतलब यह हुआ कि सफर के दौरान अगर किसी प्रकार का नुकसान हाेता है या फिर आपकाे ऐसा लगता है कि आपके किसी अधिकार का हनन हुआ है ताे आप सीधे उपभोक्ता फोरम का दरवाजा खटखटा सकते हैं.

दिल्ली मेट्राे
दिल्ली मेट्राे

नई दिल्लीः दिल्ली मेट्रो रेल का परिचालन करीब 20 साल से हाे रहा है, लेकिन दिल्ली मेट्रो रेल कॉरपोरेशन ने अपने यात्रियाें काे उपभोक्ता की श्रेणी में शामिल नहीं किया था. अब दिल्ली मेट्रो ने यात्रियों को उपभोक्ता मान लिया है. अधिनियम 1986 की धारा 2(D) और 2019 के तहत दिल्ली मेट्रो को उपभोक्ता श्रेणी के दायरे में लाया गया है. मेट्रो में यात्रा करने वाले लाेग किसी प्रकार के नुकसान व अधिकार से वंचित होने की स्थिति में उपभोक्ता फोरम में मामले काे ले जा सकते हैं.

RTI एक्टिविस्ट और समाजसेवी (RTI activist and socialist) हरपाल राणा लंबे समय से सरकार और विभाग से दिल्ली मेट्रो रेल सेवा को उपभोक्ता श्रेणी में शामिल करने के लिए लड़ाई लड़ रहे थे. ईटीवी भारत (ETV India) से बात करते हुए RTI एक्टिविस्ट (RTI activist ) हरपाल राणा ने बताया कि वह साल 2010 से दिल्ली मेट्रो को उपभोक्ता श्रेणी में लाने के लिए कानूनी प्रक्रिया के तहत मांग कर रहे थे. उन्हाेंने बताया कि मुम्बई, काेलकाता, लखनऊ आदि शहरों में मेट्रो रेल सेवा बाकी परिवहन सेवाओं की तरह उपभोक्ता श्रेणी में आती है, लेकिन दिल्ली मेट्रो रेल सेवा को इस कैटेगरी से बाहर रखा गया था. हरपाल राणा ने इस मुद्दे को प्रमुखता से उठाने के लिए ईटीवी भारत का भी धन्यवाद किया है.

यात्रियाें काे उपभोक्ता की श्रेणी में शामिल करने के बारे में जानकारी देते हरपाल राणा.



RTI एक्टिविस्ट (RTI activist ) हरपाल राणा ने बताया कि उन्होंने मेट्रो को उपभोक्ता श्रेणी के अंतर्गत लाने के लिए कई पत्र लिखे. हर बार दिल्ली मेट्रो रेल कारपोरेशन (Delhi Metro Rail Corporation) का बदल-बदलकर जवाब आया. 2015 में कहा गया कि मेट्रो सेवा उपभोक्ता श्रेणी में नहीं आती, लेकिन उसके बाद एक पत्र के जवाब में कहा गया कि उपभोक्ता श्रेणी के अंतर्गत दिल्ली मेट्रो आती है. कई बार इसी तरह के गोलमोल जवाब देकर मामले को टालने की कोशिश की गई. हरपाल राणा ने बताया कि उपभोक्ता श्रेणी के तहत दिल्ली मेट्रो को लाने के लिए उन्हें लंबी लड़ाई लड़नी पड़ी. कानूनी प्रक्रिया का भी सहारा लेना पड़ा. उन्होंने प्रधानमंत्री कार्यालय से लेकर मेट्रो विभाग को पत्र लिखे.

हरपाल राणा के लिखे पत्र.
हरपाल राणा के लिखे पत्र.

ये खबर भी पढ़ेंः ढाका मेट्रो के कर्मचारियों को DMRC दे रही प्रशिक्षण

हरपाल राणा ने बताया कि अब उपभोक्ता श्रेणी के तहत मूलभूत सुविधाओं से सवारियों को वंचित नहीं रहना पड़ेगा. पानी और शौचालय की सुविधा हर मेट्रो स्टेशन पर होगी, अभी तक ग्राहक मेट्रो स्टेशन पर पानी खरीदकर पीते थे लेकिन अब उन्हें पानी और शौचालयों की व्यवस्था फ्री मिलेगी. वहीं मेट्रो रेल में सफर करने के दौरान यदि कोई हादसा होता है तो उसकी जिम्मेदारी दिल्ली मेट्रो रेल कारपोरेशन (Delhi Metro Rail Corporation) की होगी. मेट्रो में सफर के दौरान यदि कोई हादसा होता है तो प्राथमिक उपचार देना पड़ेगा.

हरपाल राणा के लिखे पत्र.
हरपाल राणा के लिखे पत्र.

ये खबर भी पढ़ेंः दिल्ली के येलो लाइन मेट्रो स्टेशनों पर शुरू हुआ Free Wi-Fi

उन्हाेंने बताया कि उत्तर प्रदेश में एक यात्री लखनऊ मेट्रो रेल से एयरपोर्ट जा रहा था, मेट्रो की वजह से वह लेट हो गया और उसकी फ्लाइट छूट गई. जिसका हर्जाना लखनऊ मेट्रो रेल कॉरपोरेशन को देना पड़ा था. इसी तरह उपभोक्ता श्रेणी के अंतर्गत आने के बाद अब दिल्ली मेट्रो में सफर करने वाले यात्रियों को भी लाभ मिलेगा.

आवेदक द्वारा दिल्ली मेट्रो को उपभोक्ता श्रेणी के अंतर्गत सेवाएं प्रदान करने के लिए मांगी गई जानकारी के जवाब में दिल्ली मेट्रो के केंद्रीय लोक सूचना अधिकारी महाप्रबंधक संजय वी कुटे का कहना है कि दिल्ली मेट्रो की यात्री सेवाएं उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 2019 के दायरे में आती हैं, जिनकी सुविधाओं का लाभ यात्रियों को लाभ मिलेगा.

ऐसी ही जरूरी और विश्वसनीय खबरों के लिये डाउनलोड करें ईटीवी भारत एप

नई दिल्लीः दिल्ली मेट्रो रेल का परिचालन करीब 20 साल से हाे रहा है, लेकिन दिल्ली मेट्रो रेल कॉरपोरेशन ने अपने यात्रियाें काे उपभोक्ता की श्रेणी में शामिल नहीं किया था. अब दिल्ली मेट्रो ने यात्रियों को उपभोक्ता मान लिया है. अधिनियम 1986 की धारा 2(D) और 2019 के तहत दिल्ली मेट्रो को उपभोक्ता श्रेणी के दायरे में लाया गया है. मेट्रो में यात्रा करने वाले लाेग किसी प्रकार के नुकसान व अधिकार से वंचित होने की स्थिति में उपभोक्ता फोरम में मामले काे ले जा सकते हैं.

RTI एक्टिविस्ट और समाजसेवी (RTI activist and socialist) हरपाल राणा लंबे समय से सरकार और विभाग से दिल्ली मेट्रो रेल सेवा को उपभोक्ता श्रेणी में शामिल करने के लिए लड़ाई लड़ रहे थे. ईटीवी भारत (ETV India) से बात करते हुए RTI एक्टिविस्ट (RTI activist ) हरपाल राणा ने बताया कि वह साल 2010 से दिल्ली मेट्रो को उपभोक्ता श्रेणी में लाने के लिए कानूनी प्रक्रिया के तहत मांग कर रहे थे. उन्हाेंने बताया कि मुम्बई, काेलकाता, लखनऊ आदि शहरों में मेट्रो रेल सेवा बाकी परिवहन सेवाओं की तरह उपभोक्ता श्रेणी में आती है, लेकिन दिल्ली मेट्रो रेल सेवा को इस कैटेगरी से बाहर रखा गया था. हरपाल राणा ने इस मुद्दे को प्रमुखता से उठाने के लिए ईटीवी भारत का भी धन्यवाद किया है.

यात्रियाें काे उपभोक्ता की श्रेणी में शामिल करने के बारे में जानकारी देते हरपाल राणा.



RTI एक्टिविस्ट (RTI activist ) हरपाल राणा ने बताया कि उन्होंने मेट्रो को उपभोक्ता श्रेणी के अंतर्गत लाने के लिए कई पत्र लिखे. हर बार दिल्ली मेट्रो रेल कारपोरेशन (Delhi Metro Rail Corporation) का बदल-बदलकर जवाब आया. 2015 में कहा गया कि मेट्रो सेवा उपभोक्ता श्रेणी में नहीं आती, लेकिन उसके बाद एक पत्र के जवाब में कहा गया कि उपभोक्ता श्रेणी के अंतर्गत दिल्ली मेट्रो आती है. कई बार इसी तरह के गोलमोल जवाब देकर मामले को टालने की कोशिश की गई. हरपाल राणा ने बताया कि उपभोक्ता श्रेणी के तहत दिल्ली मेट्रो को लाने के लिए उन्हें लंबी लड़ाई लड़नी पड़ी. कानूनी प्रक्रिया का भी सहारा लेना पड़ा. उन्होंने प्रधानमंत्री कार्यालय से लेकर मेट्रो विभाग को पत्र लिखे.

हरपाल राणा के लिखे पत्र.
हरपाल राणा के लिखे पत्र.

ये खबर भी पढ़ेंः ढाका मेट्रो के कर्मचारियों को DMRC दे रही प्रशिक्षण

हरपाल राणा ने बताया कि अब उपभोक्ता श्रेणी के तहत मूलभूत सुविधाओं से सवारियों को वंचित नहीं रहना पड़ेगा. पानी और शौचालय की सुविधा हर मेट्रो स्टेशन पर होगी, अभी तक ग्राहक मेट्रो स्टेशन पर पानी खरीदकर पीते थे लेकिन अब उन्हें पानी और शौचालयों की व्यवस्था फ्री मिलेगी. वहीं मेट्रो रेल में सफर करने के दौरान यदि कोई हादसा होता है तो उसकी जिम्मेदारी दिल्ली मेट्रो रेल कारपोरेशन (Delhi Metro Rail Corporation) की होगी. मेट्रो में सफर के दौरान यदि कोई हादसा होता है तो प्राथमिक उपचार देना पड़ेगा.

हरपाल राणा के लिखे पत्र.
हरपाल राणा के लिखे पत्र.

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उन्हाेंने बताया कि उत्तर प्रदेश में एक यात्री लखनऊ मेट्रो रेल से एयरपोर्ट जा रहा था, मेट्रो की वजह से वह लेट हो गया और उसकी फ्लाइट छूट गई. जिसका हर्जाना लखनऊ मेट्रो रेल कॉरपोरेशन को देना पड़ा था. इसी तरह उपभोक्ता श्रेणी के अंतर्गत आने के बाद अब दिल्ली मेट्रो में सफर करने वाले यात्रियों को भी लाभ मिलेगा.

आवेदक द्वारा दिल्ली मेट्रो को उपभोक्ता श्रेणी के अंतर्गत सेवाएं प्रदान करने के लिए मांगी गई जानकारी के जवाब में दिल्ली मेट्रो के केंद्रीय लोक सूचना अधिकारी महाप्रबंधक संजय वी कुटे का कहना है कि दिल्ली मेट्रो की यात्री सेवाएं उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम 2019 के दायरे में आती हैं, जिनकी सुविधाओं का लाभ यात्रियों को लाभ मिलेगा.

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Last Updated : Oct 20, 2021, 6:52 PM IST
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