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Show Cause Notice to Ashish More: कारण बताओ नोटिस के बाद सचिवालय लौटे आशीष मोरे

दिल्ली सरकार में मंत्री सौरभ भारद्वाज ने सचिव (सेवा) आशीष मोरे को कारण बताओ नोटिस जारी किया है. सरकार ने आशीष पर अवैध तरीके से पद पर बने रहने का आरोप लगाया है. दिल्ली सरकार ने सोमवार को उन्हें कारण बताओ नोटिस जारी कर इस मामले में जवाब मांगा है. इसके बाद वह शाम में सचिवालय लौट आए.

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Published : May 15, 2023, 2:05 PM IST

Updated : May 15, 2023, 10:53 PM IST

नई दिल्ली: दिल्ली के सर्विसेज सेक्रेटरी आखिरकार आज सामने आ गए और सुप्रीम कोर्ट के आदेशों का पालन करने पर सहमत हो गए. सोमवार को सर्विसेज मंत्री सौरभ भारद्वाज ने उनकी अनाधिकृत अनुपस्थिति के लिए स्पष्टीकरण की मांग करते हुए कारण बताओ नोटिस जारी किया था. इसके बाद उनके व्यवहार में अचानक यह बदलाव आया.

मंत्री द्वारा आशीष मोरे की जगह नए सर्विसेज सेक्रेटरी की नियुक्ति के आदेश जारी किए गए हैं, जिसका उन्होंने अवहेलना की थी. निर्देश दिए जाने पर अपने सहयोगियों और परिवार के सदस्यों को छोड़कर आशीष मोरे रहस्यमय तरीके से दिल्ली सचिवालय से गायब हो गए थे. संबंधित अधिकारियों द्वारा संपर्क किए जाने पर उनकी पत्नी ने कहा था कि उन्हें उनके बारे में कोई जानकारी नहीं है.

सुप्रीम कोर्ट के ऐतिहासिक फैसले के बाद संपर्क से कट गए आशीष मोरे आखिरकार शाम को अचानक सचिवालय स्थिति अपने दफ्तर में आए और कारण बताओ नोटिस मिलने की बात स्वीकार की. साथ ही उन्होंने सुप्रीम अदालत के निर्णय को मानने और नए सर्विसेज सेक्रेटरी की तैनाती को औपचारिक रूप से आगे बढ़ाने की बात कही.

मंत्री ने लगाए आरोपः मंत्री सौरभ भारद्वाज ने आरोप लगाते हुए कहा है कि आशीष मोरे सरकार का फोन नहीं उठा रहे हैं, उनका फोन बंद है. यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि केंद्र सरकार और उपराज्यपाल देश की सर्वोच्च अदालत के निर्देशों का पालन करने को तैयार नहीं दिख रहे हैं. दिल्ली सरकार पारदर्शिता, दक्षता और सुशासन के प्रति अपनी प्रतिबद्धता पर अडिग है. यह सुनिश्चित करने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाएगी.

क्या है नोटिस मेंः नोटिस में कहा गया है कि सर्वोच्च न्यायालय की संविधान पीठ द्वारा दिनांक 11 मई को दिल्ली सरकार के पक्ष में निर्णय सुनाया गया था. उस फैसले में कहा गया था कि लेफ्टिनेंट गवर्नर दिल्ली सरकार के ट्रांसफर, पोस्टिंग के फैसले में दखल नहीं देंगे. उनके जिम्मे सार्वजनिक व्यवस्था', 'पुलिस' और 'भूमि' से संबंधित मामले ही आते हैं. यह स्पष्ट है कि आशीष माधवराव मोरे, सेवा सचिव उपरोक्त फैसले और इसकी सामग्री से अवगत थे और यह भी स्पष्ट है कि एक वरिष्ठ आईएएस अधिकारी होने के नाते वे 11 मई 2023 के फैसले के परिणामों को पूरी तरह से समझने में सक्षम थे.

सचिव आशीष मोरे को दिल्ली सरकार ने भेजा कारण बताओ नोटिस
सचिव आशीष मोरे को दिल्ली सरकार ने भेजा कारण बताओ नोटिस

11 मई को आशीष माधवराव मोरे को उपरोक्त निर्णय के बारे में सूचित किया गया, और उन्हें निर्देश दिया गया कि वह सचिव सेवा के वर्तमान पदाधिकारी के स्थानांतरण और अन्य पोस्टिंग के लिए एक फ़ाइल प्रस्तुत करें. उन्होंने आश्वासन दिया था कि दोपहर तीन बजे ट्रांसफर से संबंधित फाइल उनके द्वारा प्रस्तुत की जाएगी. लेकिन फाइल प्रस्तुत करने से पहले उन्होंने अपने कार्यालय को सूचित किए बिना सचिवालय छोड़ दिया. उनके कार्यालय के नंबर और उनके पर्सनल नंबर पर फोन किया गया. लेकिन उनका फोन बंद आ रहा है. व्हाट्सएप संदेश देखकर भी उन्होंने अनदेखा कर दिया. इसलिए अब उन्हें कारण बताओ नोटिस भेजने के अलावा दूसरा कोई रास्ता नहीं बचा है.

बिना बताए गए छुट्टी परः नोटिस में कहा गया है कि वह बिना बताए छुट्टी पर चले गए हैं. सौरभ ने अपने नोटिस में कहा कि मेरे पास किसी भी छुट्टी के लिए आवेदन नहीं किया और न ही उन्होंने मेरे कार्यालय को सूचित किया कि वह किसी भी प्रकार की छुट्टी ले रहे हैं. 13 मई को सभी सचिवों को बुलाया गया था, वह इस बैठक में भी नही आए.

ये भी पढ़ें- Indigo Flight में महिला क्रू मेंबर से दुर्व्यवहार करने वाला शराबी पैसेंजर गिरफ्तार

नई दिल्ली: दिल्ली के सर्विसेज सेक्रेटरी आखिरकार आज सामने आ गए और सुप्रीम कोर्ट के आदेशों का पालन करने पर सहमत हो गए. सोमवार को सर्विसेज मंत्री सौरभ भारद्वाज ने उनकी अनाधिकृत अनुपस्थिति के लिए स्पष्टीकरण की मांग करते हुए कारण बताओ नोटिस जारी किया था. इसके बाद उनके व्यवहार में अचानक यह बदलाव आया.

मंत्री द्वारा आशीष मोरे की जगह नए सर्विसेज सेक्रेटरी की नियुक्ति के आदेश जारी किए गए हैं, जिसका उन्होंने अवहेलना की थी. निर्देश दिए जाने पर अपने सहयोगियों और परिवार के सदस्यों को छोड़कर आशीष मोरे रहस्यमय तरीके से दिल्ली सचिवालय से गायब हो गए थे. संबंधित अधिकारियों द्वारा संपर्क किए जाने पर उनकी पत्नी ने कहा था कि उन्हें उनके बारे में कोई जानकारी नहीं है.

सुप्रीम कोर्ट के ऐतिहासिक फैसले के बाद संपर्क से कट गए आशीष मोरे आखिरकार शाम को अचानक सचिवालय स्थिति अपने दफ्तर में आए और कारण बताओ नोटिस मिलने की बात स्वीकार की. साथ ही उन्होंने सुप्रीम अदालत के निर्णय को मानने और नए सर्विसेज सेक्रेटरी की तैनाती को औपचारिक रूप से आगे बढ़ाने की बात कही.

मंत्री ने लगाए आरोपः मंत्री सौरभ भारद्वाज ने आरोप लगाते हुए कहा है कि आशीष मोरे सरकार का फोन नहीं उठा रहे हैं, उनका फोन बंद है. यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि केंद्र सरकार और उपराज्यपाल देश की सर्वोच्च अदालत के निर्देशों का पालन करने को तैयार नहीं दिख रहे हैं. दिल्ली सरकार पारदर्शिता, दक्षता और सुशासन के प्रति अपनी प्रतिबद्धता पर अडिग है. यह सुनिश्चित करने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाएगी.

क्या है नोटिस मेंः नोटिस में कहा गया है कि सर्वोच्च न्यायालय की संविधान पीठ द्वारा दिनांक 11 मई को दिल्ली सरकार के पक्ष में निर्णय सुनाया गया था. उस फैसले में कहा गया था कि लेफ्टिनेंट गवर्नर दिल्ली सरकार के ट्रांसफर, पोस्टिंग के फैसले में दखल नहीं देंगे. उनके जिम्मे सार्वजनिक व्यवस्था', 'पुलिस' और 'भूमि' से संबंधित मामले ही आते हैं. यह स्पष्ट है कि आशीष माधवराव मोरे, सेवा सचिव उपरोक्त फैसले और इसकी सामग्री से अवगत थे और यह भी स्पष्ट है कि एक वरिष्ठ आईएएस अधिकारी होने के नाते वे 11 मई 2023 के फैसले के परिणामों को पूरी तरह से समझने में सक्षम थे.

सचिव आशीष मोरे को दिल्ली सरकार ने भेजा कारण बताओ नोटिस
सचिव आशीष मोरे को दिल्ली सरकार ने भेजा कारण बताओ नोटिस

11 मई को आशीष माधवराव मोरे को उपरोक्त निर्णय के बारे में सूचित किया गया, और उन्हें निर्देश दिया गया कि वह सचिव सेवा के वर्तमान पदाधिकारी के स्थानांतरण और अन्य पोस्टिंग के लिए एक फ़ाइल प्रस्तुत करें. उन्होंने आश्वासन दिया था कि दोपहर तीन बजे ट्रांसफर से संबंधित फाइल उनके द्वारा प्रस्तुत की जाएगी. लेकिन फाइल प्रस्तुत करने से पहले उन्होंने अपने कार्यालय को सूचित किए बिना सचिवालय छोड़ दिया. उनके कार्यालय के नंबर और उनके पर्सनल नंबर पर फोन किया गया. लेकिन उनका फोन बंद आ रहा है. व्हाट्सएप संदेश देखकर भी उन्होंने अनदेखा कर दिया. इसलिए अब उन्हें कारण बताओ नोटिस भेजने के अलावा दूसरा कोई रास्ता नहीं बचा है.

बिना बताए गए छुट्टी परः नोटिस में कहा गया है कि वह बिना बताए छुट्टी पर चले गए हैं. सौरभ ने अपने नोटिस में कहा कि मेरे पास किसी भी छुट्टी के लिए आवेदन नहीं किया और न ही उन्होंने मेरे कार्यालय को सूचित किया कि वह किसी भी प्रकार की छुट्टी ले रहे हैं. 13 मई को सभी सचिवों को बुलाया गया था, वह इस बैठक में भी नही आए.

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Last Updated : May 15, 2023, 10:53 PM IST
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