नई दिल्ली: कांग्रेस के अध्यक्ष राहुल गांधी द्वारा दिए गए बयान रेप इन इंडिया को लेकर राजनीतिक सरगर्मियां तेज हो गई हैं. इसी सिलसिले में आज आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने कहा कि आम आदमी पार्टी राहुल गांधी के इस बयान का बिल्कुल समर्थन नहीं करती है.
राज्यसभा में उठाई मांग
आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने कहा कि मैंने राज्यसभा में यह मुद्दा उठाया था कि बलात्कार को लेकर देश के अंदर एक सख्त कानून बने और उस पर अमल किया जाए. जिससे अपराधियों के मन में डर पैदा हो सके. बलात्कार के मामले में कार्रवाई हो. इसको लेकर मैंने राजसभा में अपनी बात रखी थी और पूरे देश में इस तरह की मांग हो रही है. लेकिन बड़े अफसोस की बात है कि ऐसे समय जबकि देश की करोड़ों महिलाएं उम्मीद से सरकार की तरफ देख रही हैं कि उनके लिए सरकार कुछ करेगी. ऐसे समय में राहुल गांधी का एक बयान आता है और उस बयान को लेकर आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो जाता है. मैं राहुल गांधी के बयान का बिल्कुल समर्थन नहीं करता.
राहुल गांधी समेत सभी नेताओं से की अपील
प्रेस कांफ्रेंस के दौरान आप नेता संजय सिंह ने कहा कि मैं सभी नेताओं से अपील करता हूं कि इस प्रकार का बयान देकर आप ऐसे मामले को हल्का करने की कोशिश मत कीजिए. पूर्व में ऐसा ही गुनाह भाजपाइयों ने भी किया है और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का भी एक बयान सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. जिसमें उन्होंने दिल्ली को रेप कैपिटल कहा था. मैं मानता हूं कि इस प्रकार के बयानबाजी से हमारे नेताओं को बचना चाहिए और इस समय देश में बलात्कार के खिलाफ एक सख्त कानून कैसे बनेगा इसके बारे में चिंता करनी चाहिए.
संविधान की आत्मा नष्ट करने वाला है एनआरसी बिल
नागरिकता संशोधन बिल से जुड़े सवाल पर आप नेता संजय सिंह ने कहा कि नागरिकता संशोधन बिल मूल रूप से बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर द्वारा बनाए गए संविधान की आत्मा को नष्ट करने वाला बिल है. यह भाजपाइयों की दिमाग की सनक वाला बिल है. मैं ऐसा इसलिए कह रहा हूं कि आपने कह दिया कि बांग्लादेश पाकिस्तान अफगानिस्तान से आने वाले अल्पसंख्यकों को आप देश की नागरिकता देंगे. लेकिन जो असम के अंदर एनआरसी रजिस्टर से लाखों की संख्या में यूपी-बिहार पूर्वांचल के लोगों के नाम रजिस्टर से बाहर हो गए हैं. उनको कहां की नागरिकता देंगे. यह ऐसे लोग हैं जो 30 साल 40 साल पहले असम गए थे. जिनके पास ना बिहार का रिकॉर्ड है ना यूपी का रिकॉर्ड है. ऐसे लोग कहां जाएंगे.