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स्कूलों की मनमानी से अभिभावक परेशान! अब फीस के साथ ही भरना होगा एरियर

दक्षिणी दिल्ली के शेख सराय में स्थित एपीजे स्कूल ने कोर्ट के एक आदेश का हवाला दे कर फीस के साथ एरियर जमा करने के लिए अभिभावकों को एक सूचना पत्र जारी किया है. इस निर्णय से अभिभावकों पर फीस का बोझ बढ़ गया है.

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Published : Mar 29, 2019, 7:41 PM IST

Updated : Mar 29, 2019, 11:09 PM IST

स्कूलों की मनमानी से अभिभावक परेशान

नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली के निजी स्कूलों में फीस बढ़ाने का सिलसिला लगातार जारी है. ताजा मामला दक्षिणी दिल्ली के शेख सराय में स्थित एपीजे स्कूल का है जहां पर स्कूल प्रशासन की तरफ से अभिभावकों के लिए एक सूचना पत्र जारी किया गया है. जिसमें उन्हें इस बात से अवगत कराया है कि नए सत्र 2019-20 से अभिभावकों को 2016 से 2019 तक का एरियर भी फीस के साथ ही चुकाना होगा.

स्कूल के इस निर्णय से अभिभावकों पर फीस का बोझ बढ़ गया है. बता दें कि स्कूलों ने जो एरियर कैलकुलेट किया है उसके हिसाब से अभिभावकों को फीस के अलावा 3407 से लेकर 33215 रुपए तक अतिरिक्त राशि जमा करनी पड़ सकती है.

तीन किश्तों में जमा कर सकते हैं बड़ी हुई राशि
अचानक बढ़ी इस राशि से अभिभावकों में किसी तरह का रोष ना हो इसको लेकर स्कूल प्रशासन ने अभिभावकों को पूरी राशि को एक साथ जमा करने के बजाए तीन किश्तों में देने की सहूलियत दी है. साथ ही अभिभावकों को दिए गए सूचना पत्र में येसाफ किया है कि यदि किसी अभिभावक को किसी भी तरह की परेशानी होती है तो लिखित में वेअपनी परेशानी स्कूल प्रशासन को दे सकते हैं जिसे संज्ञान में लेकर उचित कार्यवाही की जाएगी.

कोर्ट में की थी अपील
दिल्ली के निजी स्कूलों में कार्यरत शिक्षकों के वेतन को बढ़ाने के लिए दिल्ली शिक्षा निदेशालय द्वारा 2017 में आदेश जारी किया गया था. जिसके तहत निजी स्कूलों के सभी शिक्षकों को सातवें वेतन आयोग के अनुसार ही वेतन दिया जाना निश्चित हुआ था. जिसको लेकर निजी स्कूलों ने फीस बढ़ाने की मांग सामने रखी थी. वहीं अभिभावकों द्वारा फीस बढाने को लेकर मिली शिकायत के बाद शिक्षा निदेशालय ने फीस बढ़ाने के आदेश पर रोक लगा दी थी और कोर्ट में अपील फाइल कर दी थी. 15 मार्च को हुई सुनवाई में कोर्ट ने फीस बढ़ाने की मांग पर लगी रोक के आदेश को अमान्य कर स्कूलों को फीस में इजाफा करने की छूट दे दी है.

कोर्ट के आदेश का दिया हवाला
कोर्ट के इसी आदेश का हवाला देते हुए दक्षिणी दिल्ली के शेख सराय में स्थित एपीजे स्कूल के प्रशासन ने सभी अभिभावकों के नाम एक पत्र जारी किया है जिसमें उनसे कहा गया है कि 1 जनवरी 2016 से 31 मार्च 2019 तक का एरियर ट्यूशन फीस में जोड़कर जो अमाउंट कैलकुलेट हुआ है. वह मैनजमेंट की मीटिंग में पास कर दिया गया है और नए सत्र से अभिभावकों को येएरियर अमाउंट फीस के साथ ही जमा कराना होगा. स्कूल प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि किसी भी अभिभावक को यह पूरी राशि एक बार में देने के लिए बाध्य नहीं किया है बल्कि तीन किस्तों में यह राशि अभिभावक चुका सकेंगे.

बात यहीं खत्म नहीं होती स्कूल प्रशासन ने यह भी कहा है कि अप्रैल 2019 के बाद तिमाही जमा होने वाली ट्यूशन फीस बिल में एरियर के साथ साथ 575 रुपए का अतिरिक्त शुल्क भी अभिभावकों को देना होगा जिसे मैनेजमेंट कमिटी ने पारित कर दिया है.

दबाव बनाने पर होगी सख्त कार्रवाई
निजी स्कूलों के मनमाने ढंग से बढ़ाए जाने वाली फीस को लेकर अभिभावकों में खासी नाराजगी है. एकदम से फीस का इतना बोझ अभिभावकों के लिए वहन करना बहुत ही मुश्किल हो रहा है. इसको लेकर दिल्ली पेरेंट्स एसोसिएशन की अध्यक्ष अपराजिता गौतम ने शिक्षा निदेशालय के अधिकारियों से बात की है और उनसे अपील की है कि निजी स्कूलों की मनमानी पर रोक लगाने के लिए कोई रास्ता निकाला जाए. शिक्षा निदेशालय ने आश्वासन दिया है कि जल्द ही कोई उपाय करेंगे.

साथ ही स्पष्ट किया है कि यदि कोई स्कूल किसी भी तरीके से अभिभावकों को किसी भी तरह से परेशान करते हैं या फीस को लेकर उन पर दबाव बनाते हैं तो उनपर सख्त कार्रवाई करने से शिक्षा निदेशालय नहीं चूकेगा.

नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली के निजी स्कूलों में फीस बढ़ाने का सिलसिला लगातार जारी है. ताजा मामला दक्षिणी दिल्ली के शेख सराय में स्थित एपीजे स्कूल का है जहां पर स्कूल प्रशासन की तरफ से अभिभावकों के लिए एक सूचना पत्र जारी किया गया है. जिसमें उन्हें इस बात से अवगत कराया है कि नए सत्र 2019-20 से अभिभावकों को 2016 से 2019 तक का एरियर भी फीस के साथ ही चुकाना होगा.

स्कूल के इस निर्णय से अभिभावकों पर फीस का बोझ बढ़ गया है. बता दें कि स्कूलों ने जो एरियर कैलकुलेट किया है उसके हिसाब से अभिभावकों को फीस के अलावा 3407 से लेकर 33215 रुपए तक अतिरिक्त राशि जमा करनी पड़ सकती है.

तीन किश्तों में जमा कर सकते हैं बड़ी हुई राशि
अचानक बढ़ी इस राशि से अभिभावकों में किसी तरह का रोष ना हो इसको लेकर स्कूल प्रशासन ने अभिभावकों को पूरी राशि को एक साथ जमा करने के बजाए तीन किश्तों में देने की सहूलियत दी है. साथ ही अभिभावकों को दिए गए सूचना पत्र में येसाफ किया है कि यदि किसी अभिभावक को किसी भी तरह की परेशानी होती है तो लिखित में वेअपनी परेशानी स्कूल प्रशासन को दे सकते हैं जिसे संज्ञान में लेकर उचित कार्यवाही की जाएगी.

कोर्ट में की थी अपील
दिल्ली के निजी स्कूलों में कार्यरत शिक्षकों के वेतन को बढ़ाने के लिए दिल्ली शिक्षा निदेशालय द्वारा 2017 में आदेश जारी किया गया था. जिसके तहत निजी स्कूलों के सभी शिक्षकों को सातवें वेतन आयोग के अनुसार ही वेतन दिया जाना निश्चित हुआ था. जिसको लेकर निजी स्कूलों ने फीस बढ़ाने की मांग सामने रखी थी. वहीं अभिभावकों द्वारा फीस बढाने को लेकर मिली शिकायत के बाद शिक्षा निदेशालय ने फीस बढ़ाने के आदेश पर रोक लगा दी थी और कोर्ट में अपील फाइल कर दी थी. 15 मार्च को हुई सुनवाई में कोर्ट ने फीस बढ़ाने की मांग पर लगी रोक के आदेश को अमान्य कर स्कूलों को फीस में इजाफा करने की छूट दे दी है.

कोर्ट के आदेश का दिया हवाला
कोर्ट के इसी आदेश का हवाला देते हुए दक्षिणी दिल्ली के शेख सराय में स्थित एपीजे स्कूल के प्रशासन ने सभी अभिभावकों के नाम एक पत्र जारी किया है जिसमें उनसे कहा गया है कि 1 जनवरी 2016 से 31 मार्च 2019 तक का एरियर ट्यूशन फीस में जोड़कर जो अमाउंट कैलकुलेट हुआ है. वह मैनजमेंट की मीटिंग में पास कर दिया गया है और नए सत्र से अभिभावकों को येएरियर अमाउंट फीस के साथ ही जमा कराना होगा. स्कूल प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि किसी भी अभिभावक को यह पूरी राशि एक बार में देने के लिए बाध्य नहीं किया है बल्कि तीन किस्तों में यह राशि अभिभावक चुका सकेंगे.

बात यहीं खत्म नहीं होती स्कूल प्रशासन ने यह भी कहा है कि अप्रैल 2019 के बाद तिमाही जमा होने वाली ट्यूशन फीस बिल में एरियर के साथ साथ 575 रुपए का अतिरिक्त शुल्क भी अभिभावकों को देना होगा जिसे मैनेजमेंट कमिटी ने पारित कर दिया है.

दबाव बनाने पर होगी सख्त कार्रवाई
निजी स्कूलों के मनमाने ढंग से बढ़ाए जाने वाली फीस को लेकर अभिभावकों में खासी नाराजगी है. एकदम से फीस का इतना बोझ अभिभावकों के लिए वहन करना बहुत ही मुश्किल हो रहा है. इसको लेकर दिल्ली पेरेंट्स एसोसिएशन की अध्यक्ष अपराजिता गौतम ने शिक्षा निदेशालय के अधिकारियों से बात की है और उनसे अपील की है कि निजी स्कूलों की मनमानी पर रोक लगाने के लिए कोई रास्ता निकाला जाए. शिक्षा निदेशालय ने आश्वासन दिया है कि जल्द ही कोई उपाय करेंगे.

साथ ही स्पष्ट किया है कि यदि कोई स्कूल किसी भी तरीके से अभिभावकों को किसी भी तरह से परेशान करते हैं या फीस को लेकर उन पर दबाव बनाते हैं तो उनपर सख्त कार्रवाई करने से शिक्षा निदेशालय नहीं चूकेगा.

Intro: दिल्ली के निजी स्कूलों में फीस बढ़ाने का सिलसिला लगातार जारी है. वहीं एक ताजा मामला सामने आया है दक्षिणी दिल्ली के शेख सराय में स्थित एपीजे स्कूल का जहां पर स्कूल प्रशासन की तरफ से अभिभावकों के लिए एक सूचना पत्र जारी किया गया है जिसमें उन्हें इस बात से अवगत कराया गया है कि नए सत्र 2019-20 से अभिभावकों को 2016 से 2019 तक का एरियर भी फीस के साथ ही चुकाना होगा. स्कूल के इस निर्णय से अभिभावकों पर फीस का बोझ बहुत ज्यादा बढ़ गया है. बता दें कि स्कूलों ने जो एरियर कैलकुलेट किया है उसके हिसाब से अभिभावकों को फीस के अलावा 3407 से लेकर 33215 रुपए तक अतिरिक्त राशि जमा करनी पड़ सकती है.

अचानक बढ़ी इस राशि को लेकर अभिभावकों में किसी तरह का रोष ना हो इसको लेकर स्कूल प्रशासन ने अभिभावकों को इस पूरी राशि को एक साथ जमा करने के बजाए तीन किश्तों में देने की सहूलियत दी है. साथ ही अभिभावकों को दिए गए सूचना पत्र में यह साफ किया है कि यदि किसी अभिभावक को किसी भी तरह की परेशानी होती है तो लिखित में वह अपनी परेशानी स्कूल प्रशासन को दे सकते हैं जिसे संज्ञान में लेकर जो उचित होगा वह अभिभावकों के लिए किया जाएगा.


Body:दिल्ली के निजी स्कूलों में कार्यरत शिक्षकों के वेतन को बढ़ाने के लिए दिल्ली शिक्षा निदेशालय द्वारा 2017 में आदेश जारी किया गया था जिसके तहत निजी स्कूलों के सभी शिक्षकों को सातवें वेतन आयोग के अनुसार ही वेतन दिया जाना निश्चित हुआ था जिसको लेकर निजी स्कूलों ने फीस बढ़ाने की मांग सामने रखी थी. वहीं अभिभावकों द्वारा फीस बढाने को लेकर मिली शिकायत के बाद शिक्षा निदेशालय ने फीस बढ़ाने के आदेश पर रोक लगा दी थी और कोर्ट में अपील फाइल कर दी गई थी. 15 मार्च को हुई सुनवाई में कोर्ट ने फीस बढ़ाने की मांग पर लगी रोक के आदेश को अमान्य कर स्कूलों को फीस में इजाफा करने की छूट दे दी है. कोर्ट के इसी आदेश का हवाला देते हुए दक्षिणी दिल्ली के शेख सराय में स्थित एपीजे स्कूल के प्रशासन ने सभी अभिभावकों के नाम एक पत्र जारी किया है जिसमें उनसे कहा गया है कि 1 जनवरी 2016 से 31 मार्च 2019 तक का एरियर ट्यूशन फीस में जोड़कर जो अमाउंट कैलकुलेट हुआ है वह मैनजमेंट की मीटिंग में पास कर दिया गया है और नए सत्र से अभिभावकों को यह एरियर अमाउंट फीस के साथ ही जमा कराना होगा. स्कूल प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि किसी भी अभिभावक को यह पूरी राशि एक बार में देने के लिए बाध्य नहीं किया है बल्कि तीन किस्तों में यह राशि अभिभावक चुका सकेंगे.

बात यहीं खत्म नहीं होती स्कूल प्रशासन ने यह भी कहा है कि अप्रैल 2019 के बाद तिमाही जमा होने वाली ट्यूशन फीस बिल में एरियर के साथ साथ 575 रुपए का अतिरिक्त शुल्क भी अभिभावकों को देना होगा जिसे मैनेजमेंट कमिटी ने पारित कर दिया है.

निजी स्कूलों के मनमाने ढंग से बढ़ाए जाने वाली फीस को लेकर अभिभावकों में खासी नाराजगी है. एकदम से फीस का इतना बोझ अभिभावकों के लिए वहन करना बहुत ही मुश्किल हो रहा है. इसको लेकर दिल्ली पेरेंट्स एसोसिएशन की अध्यक्ष अपराजिता गौतम ने शिक्षा निदेशालय के अधिकारियों से बात की है और उनसे अपील की है कि निजी स्कूलों की मनमानी पर रोक लगाने के लिए कोई रास्ता निकाला जाए. शिक्षा निदेशालय ने आश्वासन दिया है कि जल्द ही कोई उपाय करेंगे. साथ ही स्पष्ट किया है कि यदि कोई स्कूल किसी भी तरीके से अभिभावकों को किसी भी तरह से परेशान करते हैं या फीस को लेकर उन पर दबाव बनाते हैं तो उनके विरुद्ध सख्त कार्यवाही करने में शिक्षा निदेशालय नहीं चूकेगा.


Conclusion:
Last Updated : Mar 29, 2019, 11:09 PM IST
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