नई दिल्ली: हर साल की तरह इस बार भी 26 जनवरी 2024 को दिल्ली के कर्तव्य पथ पर गणतंत्र दिवस मनाया जाएगा. कर्तव्य पथ पर इसकी तैयारियां भी शुरू हो चुकी है. परेड की रिहर्सल हो रही है, लेकिन इस साल गणतंत्र दिवस की परेड में दिल्ली और पंजाब की झांकी नजर नहीं आएगी. रक्षा मंत्रालय की स्क्रीनिंग कमिटी ने इस साल भी दिल्ली और पंजाब सरकार की तरफ से झांकी के लिए भेजे गए प्रस्ताव को रिजेक्ट कर दिया है. इसे लेकर आम आदमी पार्टी की मुख्य राष्ट्रीय प्रवक्ता प्रियंका कक्कड़ ने कहा कि," गणतंत्र दिवस की परेड में दिल्ली और पंजाब की झाकी को शामिल नहीं करना दुर्भाग्यपूर्ण है."
यह लगातार दूसरी बार गणतंत्र दिवस होगा, जब दिल्ली की झांकी देश के मुख्य समारोह का हिस्सा नहीं होगी. आखिरी बार 2021 में दिल्ली की झांकी गणतंत्र दिवस परेड में शामिल हुई थी. उस साल चांदनी चौक में किए गए री-डिवेलपमेंट की थीम पर आधारित झांकी निकाली गई थी. प्रियंका कक्कड़ ने कहा कि, "इस बार दिल्ली के विकास माडल को प्रस्तुत करने की तैयारी थी, जिसमें एजुकेशन और हेल्थ मॉडल में हुए विकास कार्यों को प्रदर्शित करना था. यह भाजपा की गंदी राजनीति है कि दूसरी बार भी दिल्ली और पंजाब को झांकी निकालने का मौका नहीं दिया गया. क्योंकि भाजपा चाहती है कि आम आदमी पार्टी सरकार अपने विकास कार्यों को देश के सामने न रख सके."
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#WATCH दिल्ली: AAP नेता सौरभ भारद्वाज ने कहा, "26 जनवरी एक राष्ट्रीय पर्व है, इस पर सभी का अधिकार है। बार-बार दिल्ली की झांकी को 26 जनवरी की परेड के लिए रोकना अच्छी बात नहीं है। दिल्ली देश की राजधानी है इसे और प्राथमिकता मिलनी चाहिए... पंजाब के साथ केंद्र सरकार दोहरा रवैया अपना… pic.twitter.com/v4Dt49M2Qz
— ANI_HindiNews (@AHindinews) December 28, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
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प्रियंका का कहना है कि, "अरविंद केजरीवाल ने देश के सामने दिल्ली मॉडल रखा. इस दिल्ली मॉडल में देश में सबसे कम महंगाई और हाईएस्ट पर कैपिटा इनकम है. इसमें 200 यूनिट बिजली फ्री है. इसके ऊपर देश की सबसे सस्ती बिजली है. दिल्ली मॉडल में 10 साल में 30 फ्लाईओवर बने हैं. ये एस्टीमेटेड कॉस्ट से नीचे बने हैं. इससे 557 करोड़ रुपये की बचत हुई है. इस माडल में इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए देश में सबसे अधिक चार्जिंग प्वाइंट और चार्जिंग स्टेशन बने हैं. देश में सबसे अधिक 17 प्रतिशत इलेक्ट्रिक वाहनों का रजिस्ट्रेशन हुआ है. अब तक दिल्ली में देश में सबसे अधिक 1300 इलेक्ट्रिक बसें चल रही हैं."
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प्रियंका कक्कड़ ने कहा कि दिल्ली सरकार की ओर से जिस झांकी का प्रस्ताव केंद्र सरकार को भेजा गया था, उसमें दिल्ली के विकास की नई तस्वीरें पेश करने का विचार प्रस्तुत किया गया था. झांकी में दिल्ली के सरकारी स्कूलों, अस्पतालों और मोहल्ला क्लीनिक के मॉडल को दर्शाया जाने वाला था, जिसने दिल्ली को एक नई पहचान दिलाई है, लेकिन केंद्र सरकार की स्क्रीनिंग कमिटी ने दिल्ली सरकार के प्रस्ताव को रिजेक्ट कर दिया है. इसका कोई कारण नहीं बताया गया. इससे जाहिर है कि यह राजनीति से प्रेरित है.