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NGT का UPPCB को आदेश, सदर तालाब की एक्शन टेकन रिपोर्ट करें दाखिल

यूपी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को नेशनल ग्रीन ट्रिब्युनल ने उत्तर प्रदेश के जालौन जिले के सदर तालाब को पुनर्जीवित करने के लिए 1 दिसबंर तक एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया.

NGT order upccb to give action taken report of sadar talab
सदर तालाब की एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करने के आदेश जारी
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Published : Jun 24, 2020, 10:06 PM IST

नई दिल्ली: नेशनल ग्रीन ट्रिब्युनल (एनजीटी) ने उत्तरप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को निर्देश दिया है कि वो उत्तर प्रदेश के जालौन जिले के एक जल निकाय को पुनर्जीवित करने के मामले पर एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करें. एनजीटी चेयरपर्सन जस्टिस आदर्श कुमार गोयल ने उत्तरप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की रिपोर्ट पर गौर करने के बाद कहा कि जल निकाय की स्थिति काफी दयनीय है और इसे पुनर्जीवित करने की जरूरत है.

सदर तालाब की एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करने का आदेश जारी
कचरा डालने से निकलती है जहरीली गैसे

याचिका पुष्पेंद्र कुमार ने दायर की है. याचिका में कहा गया है कि जालौन जिले के कदरुआ टाउन के सदर तालाब की स्थिति काफी खराब है. याचिका में कहा गया है कि इस तालाब में ठोस प्लास्टिक कचरा, इलेक्ट्रॉनिक्स कचरा, शीशे जैसे कचरे डाले जाते हें. इससे तालाब से जहरीली गैसे निकलती हैं, जिससे उसके आसपास रहने वाले लोगों को काफी परेशानी होती है.


एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश


पिछले 17 फरवरी को एनजीटी ने जालौन के डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट और उत्तरप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया था. 18 जून को दाखिल रिपोर्ट में कहा गया था कि सदर तालाब पूरे तरीके से जलकुंभी से पटा हुआ है. कदरुआ नगर पंचायत का सीवेज भी सदर तालाब में डाला जाता है. इससे सदर तालाब के पानी की गुणवत्ता पर बुरा असर पड़ता है. तालाब के पानी के सैंपल की जांच रिपोर्ट में पाया गया कि वो उसमें तय मानक से काफी ज्यादा मात्रा में प्रदूषण है.



गांव के लोगों की भी लें मदद

रिपोर्ट पर गौर करने के बाद एनजीटी ने यूपी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को निर्देश दिया कि वो अपने अधिकारों का उपयोग करते हुए सदर तालाब को पुनर्जीवित करने के लिए दिशानिर्देश जारी करें. इसके लिए अगर जरूरत पड़े तो गांव के लोगों की भी मदद लें. एनजीटी ने यूपी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को 1 दिसंबर तक एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया.

नई दिल्ली: नेशनल ग्रीन ट्रिब्युनल (एनजीटी) ने उत्तरप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को निर्देश दिया है कि वो उत्तर प्रदेश के जालौन जिले के एक जल निकाय को पुनर्जीवित करने के मामले पर एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करें. एनजीटी चेयरपर्सन जस्टिस आदर्श कुमार गोयल ने उत्तरप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की रिपोर्ट पर गौर करने के बाद कहा कि जल निकाय की स्थिति काफी दयनीय है और इसे पुनर्जीवित करने की जरूरत है.

सदर तालाब की एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करने का आदेश जारी
कचरा डालने से निकलती है जहरीली गैसे

याचिका पुष्पेंद्र कुमार ने दायर की है. याचिका में कहा गया है कि जालौन जिले के कदरुआ टाउन के सदर तालाब की स्थिति काफी खराब है. याचिका में कहा गया है कि इस तालाब में ठोस प्लास्टिक कचरा, इलेक्ट्रॉनिक्स कचरा, शीशे जैसे कचरे डाले जाते हें. इससे तालाब से जहरीली गैसे निकलती हैं, जिससे उसके आसपास रहने वाले लोगों को काफी परेशानी होती है.


एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश


पिछले 17 फरवरी को एनजीटी ने जालौन के डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट और उत्तरप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया था. 18 जून को दाखिल रिपोर्ट में कहा गया था कि सदर तालाब पूरे तरीके से जलकुंभी से पटा हुआ है. कदरुआ नगर पंचायत का सीवेज भी सदर तालाब में डाला जाता है. इससे सदर तालाब के पानी की गुणवत्ता पर बुरा असर पड़ता है. तालाब के पानी के सैंपल की जांच रिपोर्ट में पाया गया कि वो उसमें तय मानक से काफी ज्यादा मात्रा में प्रदूषण है.



गांव के लोगों की भी लें मदद

रिपोर्ट पर गौर करने के बाद एनजीटी ने यूपी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को निर्देश दिया कि वो अपने अधिकारों का उपयोग करते हुए सदर तालाब को पुनर्जीवित करने के लिए दिशानिर्देश जारी करें. इसके लिए अगर जरूरत पड़े तो गांव के लोगों की भी मदद लें. एनजीटी ने यूपी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को 1 दिसंबर तक एक्शन टेकन रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया.

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