नई दिल्ली: दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने टेरर फंडिंग के मामले में लश्कर-ए-तैयबा प्रमुख हाफिज सईद के खिलाफ गैरजमानती वारंट जारी किया है. स्पेशल जज प्रवीण सिंह ने हाफिज सईद के अलावा बिजनेसमैन जहूर अहमद वताली, अल्ताफ अहमद शाह और संयुक्त अरब अमीरात के बिजनेसमैन नवल किशोर कपूर के खिलाफ भी गैरजमानती वारंट जारी किया है.
ईडी की चार्जशीट पर संज्ञान लिया
कोर्ट ने इन आरोपियों के खिलाफ मनी लाउंड्रिंग के मामले में ईडी की ओर से दाखिल चार्जशीट पर संज्ञान लेते हुए गैरजमानती वारंट जारी किया है. इस मामले में वताली की कंपनी मेसर्स ट्राईसन फार्म्स एंड कंस्ट्रक्शन कंपनी लिमिटेड को आरोपी बनाया गया है.
पत्थरबाजी के लिए धन भेजने का आरोप
सुनवाई के दौरान ईडी की ओर से वकील नीतेश राणा ने कहा कि वताली को हाफिज सईद, लश्कर-ए-तैयबा, आईएसआई और दिल्ली स्थित पाकिस्तानी दूतावास के जरिए धन मिलता था. वताली इस धन को जम्मू-कश्मीर के हुर्रियत और अलगाववादी नेताओं को पत्थरबाजी के लिए देता था. नवल किशोर कपूर दुबई से अज्ञात स्रोतों से धन वसूलकर वताली और उसकी कंपनी को धन भेजता था.
पाकिस्तान के एक पूर्व प्रधानमंत्री का नाम
एनआईए की ओर से 2018 में दाखिल चार्जशीट में कहा गया था कि पाकिस्तान के एक पूर्व प्रधानमंत्री ने वताली को पत्र लिखा था. ये पत्र वताली के घर से छापे के दौरान बरामद किया गया था. वताली के घर से आईएसआई के अफसरों की सूची बरामद की गई थी. जहूर वताली पर आरोप है कि उसका संबध आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा और उसके प्रमुख हाफिज सईद से है. ईडी और एनआईए दोनों वताली से जुड़े आरोपों की जांच कर रही हैं.
जम्मू-कश्मीर के अलगाववादी नेताओं के खिलाफ चार्जशीट
ईडी ने 8 अगस्त 2019 को वताली की 1.73 करोड़ रुपए की संपत्ति जब्त की है. यह जब्ती मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत की गई. एनआईए ने 4 अक्टूबर 2019 को पांच अलगवावादियों के खिलाफ पूरक चार्जशीट दाखिल की थी. जिसमें राशिद इंजीनियर भी शामिल था. पूरक चार्जशीट में अलगाववादी नेता यासिन मलिक, आसिया अंद्राबी, मशरत आलम, इंजीनियर राशिद और शब्बीर अहमद शाह को आरोपी बनाया गया था. पूरक चार्जशीट पर कोर्ट ने 23 अक्टूबर 2019 को संज्ञान लिया था.