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Cleaning Yamuna River: यमुना की सफाई को लेकर सौरभ भारद्वाज और LG के बीच ठनी, कह दी ऐसी बातें

यमुना नदी की सफाई को लेकर एक बार फिर उपराज्यपाल और दिल्ली सरकार के बीच ठन गई है. दिल्ली सरकार में मंत्री सौरभ भारद्वाज ने एलजी पर निशाना साधते हुए कहा कि एलजी केजरीवाल सरकार के कार्यों का श्रेय ले रहे हैं. उपराज्यपाल की अध्यक्षता वाली उच्च स्तरीय समिति ने बैठक में बताया कि यमुना में गाद निकालने और नाले की सफाई से नजफगढ़ ड्रेन में पानी की गुणवत्ता में सुधार हुआ है.

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यमुना पर उपराज्यपाल और दिल्ली सरकार
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Published : Jun 12, 2023, 6:31 PM IST

नई दिल्ली: दिल्ली में यमुना नदी की कायाकल्प को लेकर उपराज्यपाल और दिल्ली सरकार के बीच ठन गई है. पिछले सप्ताह यमुना को लेकर गठित उच्च स्तरीय समिति की बैठक उपराज्यपाल की अध्यक्षता में हुई थी. इसके बाद दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने इस बैठक पर सवाल उठाए थे. उन्होंने कहा था कि दिल्ली के उपराज्यपाल अरविंद केजरीवाल सरकार द्वारा किए गए कार्यों का क्रेडिट लेते हैं.

सौरभ भारद्वाज के बयान पर एलजी ऑफिस की प्रतिक्रिया: सोमवार को दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज के इस बयान को उपराज्यपाल कार्यालय ने जनविरोधी बताया है. उपराज्यपाल कार्यालय की तरफ से कहा गया है कि सौरभ भारद्वाज की तरफ से जारी किया गया बयान निंदनीय है, खुद को धोखा देने वाला, हास्यास्पद और जनविरोधी है.

विज्ञापन जारी करने और बैनर फहराने के अलावा दिल्ली सरकार ने पिछले 8 सालों के दौरान यमुना की सफाई के संबंध में एक भी ठोस काम किया होता तो एनजीटी दिल्ली सरकार को इस मोर्चे पर निष्क्रियता के लिए फटकार नहीं लगाता और एक आयोग का गठन नहीं करता. गत 9 जनवरी 2023 को एनजीटी के आदेश के बाद यमुना नदी की सफाई के संबंध में एक उच्च स्तरीय समिति का गठन करने का आदेश दिया था. इस समिति के अध्यक्ष उपराज्यपाल को बनाया गया था.

उपराज्यपाल की टिप्पणी पर सौरभ भारद्वाज का हमला: उपराज्यपाल की अध्यक्षता वाली उच्च स्तरीय समिति की बैठक बीते शुक्रवार को हुई थी. इसमें यमुना को बेहतर बनाने की दिशा में चल रहे कार्यों के बारे में अलग-अलग एजेंसियों ने रिपोर्ट कार्ड दिया, तो इस पर उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने संतोष जताया और टिप्पणी की.

उन्होंने कहा कि सभी विभागों के प्रयासों का फल मिलना अब शुरू हो गया है. गत एक वर्ष में यमुना में शाहदरा और आईएसबीटी की तरफ पानी की गुणवत्ता में सुधार हुआ है. उपराज्यपाल की बैठक और टिप्पणी पर शनिवार को दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि यमुना को बेहतर बनाने की दिशा में दिल्ली सरकार बहुत पहले से काम कर रही है. उपराज्यपाल श्रेय लेने का काम कर रहे हैं.

ये भी पढ़ें : रामवीर सिंह बिधूड़ी बोले- बीते 8 सालों में यमुना दो सौ प्रतिशत हुई प्रदूषित

उन्होंने उपराज्यपाल की अध्यक्षता वाली उच्च स्तरीय समिति की बैठक पर निशाना साधते हुए कहा कि यमुना के कायाकल्प के लिए दिल्ली सरकार की तरफ से किए गए कार्यों का श्रेय लेने की कोशिश की जा रही है. हर कोई जानता है कि उपराज्यपाल के पास दिल्ली जल बोर्ड और उद्धार के लिए किसी भी परियोजना को मंजूरी देने का कोई अधिकार नहीं है. सौरभ भारद्वाज ने सवाल उठाया कि क्या उपराज्यपाल साहब कोई भी नया काम दिखा सकते हैं जो उन्होंने किया हो?

नजफगढ़ ड्रेन में पानी की गुणवत्ता में हुआ सुधार: बता दें, उपराज्यपाल की अध्यक्षता वाली उच्च स्तरीय समिति ने बैठक में बताया कि यमुना में गाद निकालने और नाले की सफाई से नजफगढ़ ड्रेन में पानी की गुणवत्ता में लगातार सुधार हुआ है. यमुना के कायाकल्प के लिए किए गए प्रयासों पर संतोष जताते हुए उन्होंने कहा कि निर्धारित लक्ष्यों के साथ समिति ने 8 विशिष्ट कार्य क्षेत्रों के तहत यमुना के कायाकल्प की निगरानी कर रहा है. इसके तहत सभी सीवरेज का ट्रीटमेंट किया गया और पानी यमुना में गिराए जाएंगे, सभी नालों की ट्रैपिंग, अनधिकृत कॉलोनियों और जेजे क्लस्टर में सीवरेज नेटवर्क का निर्माण, औद्योगिक प्रदूषण प्रबंधन, यमुना बाढ़ क्षेत्र का जीर्णोद्धार, उपचारित अपशिष्ट जल का उपयोग, नजफगढ़ झील की पर्यावरण प्रबंधन योजना आदि शामिल है.

ये भी पढ़ें : 2025 तक यमुना को साफ करना केजरीवाल का ड्रीम प्रोजेक्ट: AAP

नई दिल्ली: दिल्ली में यमुना नदी की कायाकल्प को लेकर उपराज्यपाल और दिल्ली सरकार के बीच ठन गई है. पिछले सप्ताह यमुना को लेकर गठित उच्च स्तरीय समिति की बैठक उपराज्यपाल की अध्यक्षता में हुई थी. इसके बाद दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने इस बैठक पर सवाल उठाए थे. उन्होंने कहा था कि दिल्ली के उपराज्यपाल अरविंद केजरीवाल सरकार द्वारा किए गए कार्यों का क्रेडिट लेते हैं.

सौरभ भारद्वाज के बयान पर एलजी ऑफिस की प्रतिक्रिया: सोमवार को दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज के इस बयान को उपराज्यपाल कार्यालय ने जनविरोधी बताया है. उपराज्यपाल कार्यालय की तरफ से कहा गया है कि सौरभ भारद्वाज की तरफ से जारी किया गया बयान निंदनीय है, खुद को धोखा देने वाला, हास्यास्पद और जनविरोधी है.

विज्ञापन जारी करने और बैनर फहराने के अलावा दिल्ली सरकार ने पिछले 8 सालों के दौरान यमुना की सफाई के संबंध में एक भी ठोस काम किया होता तो एनजीटी दिल्ली सरकार को इस मोर्चे पर निष्क्रियता के लिए फटकार नहीं लगाता और एक आयोग का गठन नहीं करता. गत 9 जनवरी 2023 को एनजीटी के आदेश के बाद यमुना नदी की सफाई के संबंध में एक उच्च स्तरीय समिति का गठन करने का आदेश दिया था. इस समिति के अध्यक्ष उपराज्यपाल को बनाया गया था.

उपराज्यपाल की टिप्पणी पर सौरभ भारद्वाज का हमला: उपराज्यपाल की अध्यक्षता वाली उच्च स्तरीय समिति की बैठक बीते शुक्रवार को हुई थी. इसमें यमुना को बेहतर बनाने की दिशा में चल रहे कार्यों के बारे में अलग-अलग एजेंसियों ने रिपोर्ट कार्ड दिया, तो इस पर उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने संतोष जताया और टिप्पणी की.

उन्होंने कहा कि सभी विभागों के प्रयासों का फल मिलना अब शुरू हो गया है. गत एक वर्ष में यमुना में शाहदरा और आईएसबीटी की तरफ पानी की गुणवत्ता में सुधार हुआ है. उपराज्यपाल की बैठक और टिप्पणी पर शनिवार को दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि यमुना को बेहतर बनाने की दिशा में दिल्ली सरकार बहुत पहले से काम कर रही है. उपराज्यपाल श्रेय लेने का काम कर रहे हैं.

ये भी पढ़ें : रामवीर सिंह बिधूड़ी बोले- बीते 8 सालों में यमुना दो सौ प्रतिशत हुई प्रदूषित

उन्होंने उपराज्यपाल की अध्यक्षता वाली उच्च स्तरीय समिति की बैठक पर निशाना साधते हुए कहा कि यमुना के कायाकल्प के लिए दिल्ली सरकार की तरफ से किए गए कार्यों का श्रेय लेने की कोशिश की जा रही है. हर कोई जानता है कि उपराज्यपाल के पास दिल्ली जल बोर्ड और उद्धार के लिए किसी भी परियोजना को मंजूरी देने का कोई अधिकार नहीं है. सौरभ भारद्वाज ने सवाल उठाया कि क्या उपराज्यपाल साहब कोई भी नया काम दिखा सकते हैं जो उन्होंने किया हो?

नजफगढ़ ड्रेन में पानी की गुणवत्ता में हुआ सुधार: बता दें, उपराज्यपाल की अध्यक्षता वाली उच्च स्तरीय समिति ने बैठक में बताया कि यमुना में गाद निकालने और नाले की सफाई से नजफगढ़ ड्रेन में पानी की गुणवत्ता में लगातार सुधार हुआ है. यमुना के कायाकल्प के लिए किए गए प्रयासों पर संतोष जताते हुए उन्होंने कहा कि निर्धारित लक्ष्यों के साथ समिति ने 8 विशिष्ट कार्य क्षेत्रों के तहत यमुना के कायाकल्प की निगरानी कर रहा है. इसके तहत सभी सीवरेज का ट्रीटमेंट किया गया और पानी यमुना में गिराए जाएंगे, सभी नालों की ट्रैपिंग, अनधिकृत कॉलोनियों और जेजे क्लस्टर में सीवरेज नेटवर्क का निर्माण, औद्योगिक प्रदूषण प्रबंधन, यमुना बाढ़ क्षेत्र का जीर्णोद्धार, उपचारित अपशिष्ट जल का उपयोग, नजफगढ़ झील की पर्यावरण प्रबंधन योजना आदि शामिल है.

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