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1 करोड़ में कारोबारी को बेची जमीन, छानबीन हुई तो मालिक कोई और निकला

नई दिल्ली: खोसला का घोसला फिल्म की तर्ज पर मध्य प्रदेश के रहने वाले 3 युवकों ने दिल्ली के कारोबारी को जमीन दिखाई. यह जमीन एक करोड़ रुपए में उन्होंने कारोबारी को बेच दी, लेकिन जब कारोबारी ने बाद में छानबीन की तो पता चला इसका मालिक कोई और है.

जमीन बेचने के नाम पर घोटाला
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Published : Feb 19, 2019, 2:17 PM IST

बीते 4 साल से फरार चल रहे इन तीन ठगों को दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने भोपाल से गिरफ्तार किया है. इनकी गिरफ्तारी पर 50-50 हजार रुपये का इनाम घोषित था.

तीनों आरोपी गिरफ्तार
अतिरिक्त आयुक्त राजीव रंजन के अनुसार क्राइम ब्रांच के इंस्पेक्टर उपेंद्र कुमार सिंह की टीम को सूचना मिली थी कि कपिल शर्मा, सतीश मकोड़ा और बीरम सिंह राजपूत मंगोलपुरी में दर्ज ठगी के एक मामले में फरार चल रहे हैं. तीनों की गिरफ्तारी पर 50-50 हजार रुपये का इनाम घोषित है. वह मध्यप्रदेश के भोपाल में छुपे हुए हैं. इस जानकारी पर इंस्पेक्टर एसीपी संदीप लांबा की देखरेख में इंस्पेक्टर उपेंद्र की टीम ने वहां छापेमारी की और भोपाल से तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया.

2015 से चल रहे थे फरार
पुलिस के अनुसार मंगोलपुरी थाने में वर्ष 2015 में ठगी का एक मामला दर्ज किया गया था. इसमें पीड़ित राजेश कुमार ने बताया था कि आरोपियों ने उनसे मध्य प्रदेश में 110 एकड़ जमीन बेचने की बात कही थी. उन्हें जमीन दिखाई गई और आरोपियों ने खुद को इस जमीन के बड़े टुकड़े का मालिक बताया. उन्होंने इनसे एक करोड़ रुपये में यह जमीन खरीद ली, लेकिन बाद में उन्हें पता चला कि यह जमीन फर्जी दस्तावेज पर उन्हें बेची गई है.

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अदालत से भगोड़ा घोषित करने की चल रही कार्यवाही
मंगोल पुरी में पीड़ित की शिकायत पर वर्ष 2015 में ठगी का मामला दर्ज किया गया था. पुलिस ने इस मामले में आरोप पत्र तो दाखिल कर दिया था लेकिन यह तीनों आरोपी फरार चल रहे थे. इसके चलते पुलिस कमिश्नर की तरफ से इनकी गिरफ्तारी पर 50-50 हजार रुपये का इनाम घोषित किया गया था. तीनों आरोपी मध्य प्रदेश के रहने वाले हैं.

बीते 4 साल से फरार चल रहे इन तीन ठगों को दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने भोपाल से गिरफ्तार किया है. इनकी गिरफ्तारी पर 50-50 हजार रुपये का इनाम घोषित था.

तीनों आरोपी गिरफ्तार
अतिरिक्त आयुक्त राजीव रंजन के अनुसार क्राइम ब्रांच के इंस्पेक्टर उपेंद्र कुमार सिंह की टीम को सूचना मिली थी कि कपिल शर्मा, सतीश मकोड़ा और बीरम सिंह राजपूत मंगोलपुरी में दर्ज ठगी के एक मामले में फरार चल रहे हैं. तीनों की गिरफ्तारी पर 50-50 हजार रुपये का इनाम घोषित है. वह मध्यप्रदेश के भोपाल में छुपे हुए हैं. इस जानकारी पर इंस्पेक्टर एसीपी संदीप लांबा की देखरेख में इंस्पेक्टर उपेंद्र की टीम ने वहां छापेमारी की और भोपाल से तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया.

2015 से चल रहे थे फरार
पुलिस के अनुसार मंगोलपुरी थाने में वर्ष 2015 में ठगी का एक मामला दर्ज किया गया था. इसमें पीड़ित राजेश कुमार ने बताया था कि आरोपियों ने उनसे मध्य प्रदेश में 110 एकड़ जमीन बेचने की बात कही थी. उन्हें जमीन दिखाई गई और आरोपियों ने खुद को इस जमीन के बड़े टुकड़े का मालिक बताया. उन्होंने इनसे एक करोड़ रुपये में यह जमीन खरीद ली, लेकिन बाद में उन्हें पता चला कि यह जमीन फर्जी दस्तावेज पर उन्हें बेची गई है.

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अदालत से भगोड़ा घोषित करने की चल रही कार्यवाही
मंगोल पुरी में पीड़ित की शिकायत पर वर्ष 2015 में ठगी का मामला दर्ज किया गया था. पुलिस ने इस मामले में आरोप पत्र तो दाखिल कर दिया था लेकिन यह तीनों आरोपी फरार चल रहे थे. इसके चलते पुलिस कमिश्नर की तरफ से इनकी गिरफ्तारी पर 50-50 हजार रुपये का इनाम घोषित किया गया था. तीनों आरोपी मध्य प्रदेश के रहने वाले हैं.

Intro:नई दिल्ली
खोसला का घोसला फिल्म की तर्ज पर मध्य प्रदेश के रहने वाले तीन युवकों ने दिल्ली के कारोबारी को जमीन दिखाई. यह जमीन एक करोड़ रुपए में उन्होंने कारोबारी को बेच दी, लेकिन जब कारोबारी ने बाद में छानबीन की तो पता चला इसका मालिक कोई और है. बीते 4 साल से फरार चल रहे इन तीन ठगों को दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने भोपाल से गिरफ्तार किया है. इनकी गिरफ्तारी पर 50-50 हजार रुपये का इनाम घोषित था.


Body:अतिरिक्त आयुक्त राजीव रंजन के अनुसार क्राइम ब्रांच के इंस्पेक्टर उपेंद्र कुमार सिंह की टीम को सूचना मिली थी कि कपिल शर्मा, सतीश मकोड़ा और बीरम सिंह राजपूत मंगोलपुरी में दर्ज ठगी के एक मामले में फरार चल रहे हैं. तीनों की गिरफ्तारी पर 50-50 हजार रुपये का इनाम घोषित है. वह मध्यप्रदेश के भोपाल में छुपे हुए हैं. इस जानकारी पर इंस्पेक्टर एसीपी संदीप लांबा की देखरेख में इंस्पेक्टर उपेंद्र की टीम ने वहां छापेमारी की और भोपाल से तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया.

2015 से चल रहे थे फरार
पुलिस के अनुसार मंगोलपुरी थाने में वर्ष 2015 में ठगी का एक मामला दर्ज किया गया था. इसमें पीड़ित राजेश कुमार ने बताया था कि आरोपियों ने उनसे मध्य प्रदेश में 110 एकड़ जमीन बेचने की बात कही थी. उन्हें जमीन दिखाई गई और आरोपियों ने खुद को इस जमीन के बड़े टुकड़े का मालिक बताया. उन्होंने इनसे एक करोड़ रुपये में यह जमीन खरीद ली, लेकिन बाद में उन्हें पता चला कि यह जमीन फर्जी दस्तावेज पर उन्हें बेची गई है.


अदालत से भगोड़ा घोषित करने की चल रही कार्यवाही
मंगोल पुरी में पीड़ित की शिकायत पर वर्ष 2015 में ठगी का मामला दर्ज किया गया था. पुलिस ने इस मामले में आरोप पत्र तो दाखिल कर दिया था लेकिन यह तीनों आरोपी फरार चल रहे थे. इसके चलते पुलिस कमिश्नर की तरफ से इनकी गिरफ्तारी पर 50-50 हजार रुपये का इनाम घोषित किया गया था. तीनों आरोपी मध्य प्रदेश के रहने वाले हैं.


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