नई दिल्लीः नीट पीजी 2021 की परीक्षा को लेकर अनिश्चितता की स्थिति बनीं हुई है, वहीं डॉक्टरों की ओर से लगातार परीक्षाएं कराए जाने की मांग की जा रही है. फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया मेडिकल एसोसिएशन (FAIMA) की ओर से जल्द से जल्द परीक्षाओं की तारीखों का ऐलान किए जाने की मांग की गई है. फेमा की ओर से कहा गया है कि परीक्षाएं नहीं होने से डॉक्टरों के सामने करियर को लेकर सवाल बना हुआ है और कई डॉक्टर परीक्षाएं नहीं होने से मानसिक तनाव से गुजर रहे हैं.
फेमा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और सीनियर रेजिडेंट डॉक्टर रोहन कृष्णा ने बताया कि हर साल नीट पीजी का एग्जाम दिसंबर से जनवरी के महीने में आयोजित किया जाता है. लेकिन महामारी के चलते पिछले साल एग्जाम में लेट किया गया. वहीं नीट पीजी 2021 एग्जाम अप्रैल महीने में कराए जाने को कहा गया था, लेकिन दो दिन पहले ही एग्जाम को पोस्टपोन कर दिया गया. जिसके बाद अभी तक एग्जाम की तारीखों का ऐलान नहीं किया गया है.
इसके साथ ही डॉक्टर रोहन ने बताया कि इस साल अप्रैल महीने में जब नीट पीजी की तारीख निकाली गई थी, तो परीक्षार्थी एग्जाम देने के लिए अपने-अपने सेंटर के पास पहुंच गए थे. अलग-अलग राज्यों में इस एग्जाम का सेंटर पड़ता है. इसलिए छात्र एग्जाम सेंटर पहुंच गए थे, लेकिन दो दिन पहले ही सरकार की ओर से नोटिफिकेशन जारी करते हुए अप्रैल महीने में भी एग्जाम को स्थगित कर दिया गया.
डॉक्टर रोहन ने बताया कि हर साल इस एग्जाम में करीब दो लाख जूनियर डॉक्टर बैठते हैं और 3 साल की पढ़ाई करने के बाद वह सीनियर रेजिडेंट बनते हैं. हर एग्जाम के बाद 30,000 सीटों पर डॉक्टर आते हैं, लेकिन एग्जाम में देरी के चलते डॉक्टर की कमी देखने को मिल रही है, जबकि नेशनल मेडिकल कमीशन ने एग्जाम कराए जाने को कहा है.
इसके साथ ही अलग-अलग यूनिवर्सिटी द्वारा नीट पीजी थर्ड ईयर का भी एग्जिट एग्जाम कराए जाने को कहा गया है. लेकिन सरकार द्वारा नीट पीजी 2021 एग्जाम को लेकर अभी भी कोई फैसला नहीं लिया गया है. नीट पीजी थर्ड ईयर के एग्जाम होने के बाद भी 30,000 डॉक्टर मिलेंगे, जिससे कि कुल 60,000 डॉक्टर तैयार हो जाएंगे. लेकिन एग्जाम नहीं होने के चलते डॉक्टरों की कमी भी देखने को मिल रही है.