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दर्द भरा रहा महिलाओं के लिए लॉकडाउन!, घरेलू हिंसा के मामलों में हुई वृद्धि

लॉकडाउन शुरू होने से अब तक देश और दिल्ली में महिलाओं के खिलाफ घरेलू हिंसा की शिकायतों में वृद्धि हुई है. वहीं कुछ मामलों में अपराधिक मुकदमे भी दर्ज हुए हैं.

domestic violence cases increased in lockdown
घरेलू हिंसा
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Published : Jul 26, 2020, 7:30 PM IST

नई दिल्ली: भारत में लंबे समय तक चलता रहा लॉकडाउन घरेलू हिंसा के लिए महिलाओं पर भारी साबित हुआ. राजधानी दिल्ली की बात करें, तो लॉकडाउन के कारण लोगों के कारोबार और रोजगार पर काफी असर पड़ा है. लोग घरों में हैं और उन्हें घरेलू हिंसा का शिकार होना पड़ा है. कुछ मामलों में अपराधिक मुकदमे भी दर्ज हुए, जिनमें महिला और पुरुष के बीच झगड़े हुए और मारपीट के दौरान चोटें भी आई हैं.

लॉकडाउन के समय घरेलू हिंसा के मामलों में हुई वृद्धि

दिल्ली पुलिस के अधिकारियों ने बताया कि घरेलू हिंसा की कोई कॉल अगर पुलिस को मिलती है, तो पुलिस की पहली कोशिश यही रहती है कि परिजनों के बीच में बैठ कर मामले को शांत कर दिया जाए. कई बार परिवार और परिजनों के गुस्से को देखते हुए उन्हें थाने तक लाया जाता है और वरिष्ठ अधिकारियों की देखरेख में मामले का निष्पादन होता है.

उत्तर-पूर्वी जिला सबसे ज्यादा प्रभावित

राजधानी दिल्ली की थाने की बात करें, तो लॉकडाउन के दौरान प्रत्येक थाने में एक से डेढ़ दर्जन कॉल इस बात के लिए होते हैं कि घर में छोटी-छोटी बातों पर झगड़ा हो रहा है. उत्तर-पूर्वी पुलिस जिले की बात करें, तो यहां लॉकडाउन से अब तक घरेलू झगड़े और हिंसा की लगभग 750 के करीब कॉल आई है. जिनमें अधिकतर मामलों को वरिष्ठ अधिकारियों की देखरेख में समझा-बुझाकर शांत कर दिया गया है.

छोटी-छोटी बातों पर हुए झगड़े

पुलिस अधिकारियों की मानें तो लॉकडाउन के दौरान परिवार के बीच छोटी-छोटी बातों को लेकर झगड़े हुए, जिन्हें पुलिस ने परिजनों को समझा-बुझाकर शांत कराया. अधिकारी बताते हैं कि हर्ष विहार में एक ऐसा ही मामला सामने आया था, जहां एक महिला के पति और बेटे का काम लॉकडाउन के दौरान छूट गया था. बेटा शराब पीने का आदी था और आए दिन घर से पैसा लेकर चला जाता था.

एक बार जब उसने पैसे की मांग की, तो महिला ने उसे पैसे देने से मना कर दिया. इस बात पर बेटे ने अपनी मां के साथ बुरी तरह मारपीट की. जिसके बाद यह मामला पुलिस तक पहुंचा. वहीं एक दूसरा मामला खजूरी श्री राम कॉलोनी निवासी शांति देवी से जुड़ा है. पुलिस अधिकारियों ने बताया कि उन्हें पीसीआर पर कॉल मिली की पीने के पानी को लेकर पिता-पुत्र में मारपीट हुई है. इसके बाद पुलिसकर्मी घर पर पहुंचे और दोनों को समझाया.


मारपीट और घरेलू हिंसा के जिलेवार आंकड़े

नार्थ ईस्ट डिस्ट्रिक्ट 650
आउटर दिल्ली डिस्ट्रिक्ट512
ईस्ट डिस्ट्रिक्ट534
साउथ डिस्ट्रिक्ट 223
साउथ ईस्ट225
साउथ वेस्ट 314
सेंट्रल डिस्ट्रिक्ट 11
नॉर्थ डिस्ट्रिक्ट101
नॉर्थ वेस्ट डिस्ट्रिक्ट232

नई दिल्ली: भारत में लंबे समय तक चलता रहा लॉकडाउन घरेलू हिंसा के लिए महिलाओं पर भारी साबित हुआ. राजधानी दिल्ली की बात करें, तो लॉकडाउन के कारण लोगों के कारोबार और रोजगार पर काफी असर पड़ा है. लोग घरों में हैं और उन्हें घरेलू हिंसा का शिकार होना पड़ा है. कुछ मामलों में अपराधिक मुकदमे भी दर्ज हुए, जिनमें महिला और पुरुष के बीच झगड़े हुए और मारपीट के दौरान चोटें भी आई हैं.

लॉकडाउन के समय घरेलू हिंसा के मामलों में हुई वृद्धि

दिल्ली पुलिस के अधिकारियों ने बताया कि घरेलू हिंसा की कोई कॉल अगर पुलिस को मिलती है, तो पुलिस की पहली कोशिश यही रहती है कि परिजनों के बीच में बैठ कर मामले को शांत कर दिया जाए. कई बार परिवार और परिजनों के गुस्से को देखते हुए उन्हें थाने तक लाया जाता है और वरिष्ठ अधिकारियों की देखरेख में मामले का निष्पादन होता है.

उत्तर-पूर्वी जिला सबसे ज्यादा प्रभावित

राजधानी दिल्ली की थाने की बात करें, तो लॉकडाउन के दौरान प्रत्येक थाने में एक से डेढ़ दर्जन कॉल इस बात के लिए होते हैं कि घर में छोटी-छोटी बातों पर झगड़ा हो रहा है. उत्तर-पूर्वी पुलिस जिले की बात करें, तो यहां लॉकडाउन से अब तक घरेलू झगड़े और हिंसा की लगभग 750 के करीब कॉल आई है. जिनमें अधिकतर मामलों को वरिष्ठ अधिकारियों की देखरेख में समझा-बुझाकर शांत कर दिया गया है.

छोटी-छोटी बातों पर हुए झगड़े

पुलिस अधिकारियों की मानें तो लॉकडाउन के दौरान परिवार के बीच छोटी-छोटी बातों को लेकर झगड़े हुए, जिन्हें पुलिस ने परिजनों को समझा-बुझाकर शांत कराया. अधिकारी बताते हैं कि हर्ष विहार में एक ऐसा ही मामला सामने आया था, जहां एक महिला के पति और बेटे का काम लॉकडाउन के दौरान छूट गया था. बेटा शराब पीने का आदी था और आए दिन घर से पैसा लेकर चला जाता था.

एक बार जब उसने पैसे की मांग की, तो महिला ने उसे पैसे देने से मना कर दिया. इस बात पर बेटे ने अपनी मां के साथ बुरी तरह मारपीट की. जिसके बाद यह मामला पुलिस तक पहुंचा. वहीं एक दूसरा मामला खजूरी श्री राम कॉलोनी निवासी शांति देवी से जुड़ा है. पुलिस अधिकारियों ने बताया कि उन्हें पीसीआर पर कॉल मिली की पीने के पानी को लेकर पिता-पुत्र में मारपीट हुई है. इसके बाद पुलिसकर्मी घर पर पहुंचे और दोनों को समझाया.


मारपीट और घरेलू हिंसा के जिलेवार आंकड़े

नार्थ ईस्ट डिस्ट्रिक्ट 650
आउटर दिल्ली डिस्ट्रिक्ट512
ईस्ट डिस्ट्रिक्ट534
साउथ डिस्ट्रिक्ट 223
साउथ ईस्ट225
साउथ वेस्ट 314
सेंट्रल डिस्ट्रिक्ट 11
नॉर्थ डिस्ट्रिक्ट101
नॉर्थ वेस्ट डिस्ट्रिक्ट232
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