नई दिल्ली: बेरोजगार को अच्छी कंपनी में नौकरी का झांसा देकर ठगी करने वाली बंटी-बबली की जोड़ी को साइबर सेल ने गिरफ्तार किया है. वह स्पूफ (फर्जी) मेल भेजकर लोगों से पिछले कुछ समय में एक करोड़ रुपये से ज्यादा की ठगी कर चुके थे. साइबर सेल द्वारा गिरफ्तार किए गए, आरोपी की पहचान राहुल के रूप में की गई है. उसकी महिला मित्र को भी गिरफ्तार किया गया है.
डीसीपी अन्येश रॉय के अनुसार हैवेल्स इंडिया लिमिटेड की तरफ से एक शिकायत पुलिस में की गई थी. इसमें बताया गया था कि बेरोजगारों को नौकरी देने के नाम पर उनसे जालसाजी की जा रही है. इसके लिए उनकी कंपनी से मिलती-जुलती फर्जी ईमेल आईडी बनाई गई है और उससे लोगों को मेल भेजे जा रहे हैं. लोगों को नौकरी देने की बात कह उनसे वह हजारों रुपये सिक्योरिटी डिपॉजिट और वेरिफिकेशन के नाम पर ले रहे हैं. इस शिकायत को लेकर वर्ष 2017 में एफआईआर दर्ज की गई थी. इस मामले की जांच इंस्पेक्टर प्रवीण द्वारा शुरू की गई जो लगातार इस केस में लगे हुए थे.
गाजियाबाद से महिला मित्र सहित हुआ गिरफ्तार
डीसीपी अन्येश रॉय के अनुसार छानबीन के दौरान साइबर सेल को पता चला कि इस तरह से कुछ अन्य कंपनियों के नाम पर भी ठगी की गई है. टेक्निकल जांच से पता चला कि इन जालसाजी के पीछे देहरादून निवासी राहुल कुमार है. वह लंबे समय से गिरफ्तारी से बचने के लिए लगातार अपनी लोकेशन और मोबाइल नंबर बदल रहा था. इंस्पेक्टर प्रवीण कुमार की टीम लगातार इस मामले की जांच में जुटी रही और आखिरकार राहुल को गाज़ियाबाद से गिरफ्तार कर लिया. उसके साथ उसकी एक महिला दोस्त भी गिरफ्तार की गई है. इनके पास से मेल भेजने में इस्तेमाल किये जाने वाले उपकरण बरामद हो गए हैं.
कॉल सेंटर से सीखा जालसाजी, सैकड़ों को बनाया निशाना
पूछताछ में आरोपी राहुल ने पुलिस को बताया कि वह एक कॉल सेंटर में नौकरी करता था. वहां उसने देखा कि किस तरीके से कॉल सेंटर चलाया जाता है. यहां उसने सीखा कि किस तरीके से ऐप और वेबसाइट के जरिए लोगों को फर्जी मेल भेजे जाते हैं. इसके बाद उसने अपना कॉल सेंटर खोल लिया जिसमें कई महिला कर्मचारी शामिल थीं. वह बेरोजगारों को निशाना बनाते थे. वह लोगों को हैवेल्स, एलएनटी, अमूल एवं अन्य कंपनियों में नौकरी दिलाने के नाम पर ठगते थे.
एक करोड़ से ज्यादा की ठगी
आरोपी के साथ गिरफ्तार की गई युवती ने पुलिस को बताया कि वह राहुल के साथ पहले कॉल सेंटर में काम करती थी. राहुल ने जब अपना फर्जी कॉल सेंटर शुरू किया तो वह उसके साथ काम करने लगी. उसने पुलिस को बताया है कि वह अब तक 500 से ज्यादा लोगों से एक करोड़ रुपये की ठगी पिछले कुछ सालों में कर चुके थे.