नई दिल्ली : उत्तरी एमसीडी के 3 किराड़ी और मुबारकपुर डबास गांव में इन दिनों लोग भारी जलभराव की समस्या से जूझ रहे हैं. बता दें कि इन क्षेत्रों में जलभराव इतना ज्यादा हो चुका है कि सड़क पर पानी दो से 3 फीट तक जमा हो गया है और साथ ही सीवर का पानी लोगों के घरों के अंदर तक घुस गया है.
जलभराव की समस्या अपने चरम
बता दें कि इन इलाकों में समस्या इतनी संगीन है कि कभी भी इन क्षेत्रों में मानसून जनित बीमारियों की महामारी फैल सकती है और हजारों की तादात में लोग बीमार पड़ सकते हैं. जिसके बाद हालातों को संभालना और ज्यादा मुश्किल हो जाएगा.
बता दें कि दिल्ली जल बोर्ड ने इस पूरे क्षेत्र में लगभग सभी सड़कें पर पाइप लाइन डालने के नाम पर सड़क को खोद दी थी और बाद में उन्हें रिपेयर तक नहीं कराया गया है. जिसकी वजह से अब जलभराव की समस्या अपने चरम पर है.
लोग रोज विधायक ऋतुराज के घर बाहर लगाते हैं डेरा
बता दें कि यह पूरा क्षेत्र दिल्ली सरकार के फ्लड कंट्रोल डिपार्टमेंट और डीएसआईडीसी के अंतर्गत आता है. उत्तरी दिल्ली नगर निगम की देखरेख की सिर्फ 10 प्रतिशत की जिम्मेदारी है, बाकी 90 प्रतिशत की जिम्मेदारी दिल्ली सरकार के विभागों की है. जो बिल्कुल भी सही तरीके से काम नहीं कर रहे हैं. बता दें कि लोग इसको लेकर इतने परेशान हैं कि रोजाना क्षेत्रीय विधायक ऋतुराज के घर के बाहर डेरा लगाते हैं लेकिन सुनवाई नहीं होती है.
वहीं भाजपा की निगम पार्षद पूनम पराशर भी संसाधनों की कमी होने की वजह से कहीं ना कहीं मजबूर दिखाई दी, जिसके बाद उन्होंने सदन में पुरजोर तरीके से अपने क्षेत्र के अंदर हो रही समस्याओं को उठाया था. वहीं कमिश्नर तथा स्टैंडिंग कमिटी के चेयरमैन को क्षेत्र के दौरे के लिए आमंत्रण दिया था.
स्टैंडिंग कमेटी के चेयरमैन ने क्षेत्र का दौरा किया
बता दें कि आज लगभग 3 घंटे तक स्टैंडिंग कमेटी के चेयरमैन और वार्ड नंबर 44 की निगम पार्षद पूनम पराशर ने पूरे क्षेत्र का दौरा किया और लोगों की परेशानियां न सिर्फ सुनी, बल्कि उनका हल निकालने का भी प्रयास किया.
वहीं स्टैंडिंग कमेटी के चेयरमैन जयप्रकाश दौरे के बाद इतने गुस्से में थे कि उन्होंने क्षेत्र में हो रही अव्यवस्था को लेकर आम आदमी पार्टी को खरी-खरी सुनाई और कहा दिल्ली सरकार अपनी जिम्मेदारी को सही तरीके से नहीं निभा रही है. जिसकी वजह से लोगों को परेशानी हो रही है.
दरअसल वार्ड नंबर 44 की बात की जाए तो यहां पर अनाधिकृत कॉलोनियां हैं, जिसकी वजह से जलभराव की समस्या मुख्य तौर पर अब उभर कर सामने आ रही है लेकिन इसके पीछे दिल्ली सरकार के तमाम विभागों ओर एमसीडी के कर्मचारियों की कामचोरी भी एक मुख्य कारण है.