नई दिल्ली/गाजियाबाद: दिल्ली से सटे गाजियाबाद में मादक पदार्थों की बिक्री और तस्करी के विरुद्ध कार्यवाही कराने के लिए जिलाधिकारी राकेश कुमार सिंह ने नार्को कोऑर्डिनेशन सेंटर को लेकर अधिकारियों के साथ बैठक की. इसमें जिलाधिकारी ने कहा कि जनपद में मादक पदार्थों के अवैध कारोबार, खरीद-फरोख्त और ड्रग ट्रैफिकिंग के विरुद्ध अभियान को और तेज करने की आवश्यकता है. सतर्कता और इंटेलिजेंस को बेहतर करना होगा.
डीएम ने कहा कि जनपद के विकास और सुरक्षा की दृष्टि से सीमा प्रबंधन अत्यन्त महत्वपूर्ण विषय है. इसे एक मुहिम का रूप देना होगा. डीएम ने कहा कि नशा कारोबारियों पर शिकंजा कसने के लिए पुलिस को अपने मुखबिर तंत्र से समन्वय स्थापित कर और अधिक सक्रिय करने की आवश्यकता है. जिलाधिकारी ने सभी संबंधित अधिकारियों को जनपद में ऐसी बस्तियों, स्कूल, कॉलेज, तकनीकी संस्थानों को चिन्हित करने के लिए कहा है, जहां मादक पदार्थों की खरीद फरोख्त करने व तस्करी करने वाले गिरोह सक्रिय हैं.
जिलाधिकारी ने कहा कि नशा परिवार के पतन का सबसे बड़ा दुश्मन है. उससे भी बड़ा खतरा हैं नशे के सौदागर जो ड्रग्स का काला कारोबार कर न सिर्फ देश की आर्थिक हानि कर रहे है, बल्कि लोगों की हंसती खेलती जिंदगी को तबाह कर रहे हैं. जिलाधिकारी ने निर्देशित किया कि रेलवे स्टेशन, बस स्टेशन जैसे स्थानों पर विशेष निगरानी रखी जाए, ताकि जो लोग मादक पदार्थों की तस्करी कर रहे हैं. उनको पकड़ा जा सके. इसके लिए जीआरपी, आरटीओ, परिवहन विभाग को निर्देशित किया गया है. वह विशेष अभियान चलाकर तस्करी कर रहे लोगों को पकड़ने की कार्रवाई सुनिश्चित करेंगी.
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जिले में संचालित नशा मुक्ति केंद्रों के विरुद्ध विशेष अभियान चलाकर उन में रह रहे लोगों का वेरिफिकेशन किया जाए और चिन्हित किया जाए कि कोई व्यक्ति नशे के कारोबार में शामिल तो नहीं है. ड्रग इंस्पेक्टर को सभी दवा की दुकानों का निरीक्षण करने को निर्देशित किया गया है. इस दौरान बगैर लाइसेंस के नारकोटिक्स रखने वाले मेडिकल स्टोरों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी.
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