ETV Bharat / state

दिल्ली की हवा में सुधार, डीजल वाहनों पर लगे प्रतिबंध हटे, पढ़ें सरकार की नई गाइडलाइन

दिल्‍ली में वायु की गुणवत्ता में सुधार को देखते हुए ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (Graded Response Action Plan-GRAP) के चौथे चरण को वापस ले लिया गया है. हालांकि ग्रैप के एक से लेकर तीन तक के चरण लागू रहेंगे. यानी अब निजी डीजल कारें और दिल्ली से बाहर के डीजल वाहन राजधानी में प्रवेश कर सकेंगे.

Etv Bharat
Etv Bharat
author img

By

Published : Nov 6, 2022, 8:35 PM IST

नई दिल्लीः दिल्‍ली में वायु की गुणवत्ता में सुधार को देखते हुए ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (Graded Response Action Plan-GRAP) के चौथे चरण को वापस ले लिया गया है. ग्रैप का एक से लेकर तीन तक का चरण लागू रहेगा. ग्रेप 4 के मद्देनजर निजी डीजल कारों और बाहर से आने वाले भारी डीजल वाहनों पर लगे प्रतिबंध को हटा लिया गया है. 4 नवंबर से यह प्रतिबंध लागू था.

दिल्‍ली एनसीआर में एयर क्‍वालिटी पर नजर रखने वाली एजेंसियां इस बात को सुनिश्चित करेंगी क‍ि वायु की गुणवत्ता का स्तर 'गंभीर या बहुत गंभीर' श्रेणी में नहीं पहुंच पाए. अब सोमवार से पहले की तरह दिल्ली में बीएस (भारत स्टैण्डर्ड) 3 और बीएस 4 डीजल की कार चला सकेंगे. दरअसल, दिल्ली में प्रदूषण के बदतर हालात को देखते हुए वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (CAQM) ने उक्त स्टेज की डीजल गाड़ियों पर प्रतिबंध लगाने की जो सिफारिशें की थी, उसे रविवार को वापस ले लिया है. अब दिल्ली सरकार के कार्यालय भी 100 प्रतिशत क्षमता से खुलेंगे.

हालांकि, ग्रेप के तीसरे चरण के तहत लगे प्रतिबंधों को ठीक तरह से लागू कराने के लिए स्पेशल कमिश्नर ट्रांसपोर्ट के नेतृत्व में 6 सदस्यीय कमेटी बनाई गई है. इस कमेटी में 2 सदस्य परिवहन विभाग, दो दिल्ली ट्रैफिक पुलिस तथा दो डीपीसीसी के होंगे. यह कमेटी सुनिश्चित करेगी कि इन प्रतिबंधों का कड़ाई से पालन हो सके. साथ-साथ हरियाणा तथा उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री को पत्र लिख कर यह अनुरोध कर रहे हैं कि वे आवश्यक सेवाओं से जुड़े वाहनों को ही दिल्ली बार्डर तक आने दें.

उन्हें पहले ही ईस्टर्न और वेस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेस वे पर डायवर्ट करने की व्यवस्था करें. ऐसा न होने पर दिल्ली के बार्डर से उन्हें वापस भेजना बहुत ही कठिन हो जाता है. इसके अलावा भयंकर जाम की स्थिति उत्पन्न हो जाती है. पिछली बार विशेष रूप से गुड़गांव बार्डर पर इस प्रकार की समस्या का सामना करना पड़ा था. निर्माण कार्यों पर पहले की तरह प्रतिबंध लगा रहेगा.

ये भी पढ़ेंः Pollution in Delhi: 30 प्रतिशत बढ़े सांस के मरीज, बुजुर्गों और बच्चों को अधिक परेशानी

दिल्ली के अंदर जितने उद्योग हैं वहां कोई चोरी-छिपे प्रदूषित ईंधन पर अपने इंडस्ट्री को न चलाए, इसकी मॉनिटरिंग के लिए डीपीसीसी की 33 टीमें गठित की गई हैं. एसडीएम दिल्ली के अंदर जितने आरडब्लूए हैं उनके साथ बैठक कर के सिक्योरिटी गार्डों को इलेक्ट्रिक की हीटर देने की व्यवस्था करेंगे. राजस्व विभाग के कमिश्नर को आदेश दिया गया है कि वे मार्केट एसोशिएशन के साथ बैठक कर लोकल मार्केट और कार्यालयों की टाईमिंग अलग-अलग करने का एक सिस्टम तैयार करें.

नई दिल्लीः दिल्‍ली में वायु की गुणवत्ता में सुधार को देखते हुए ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (Graded Response Action Plan-GRAP) के चौथे चरण को वापस ले लिया गया है. ग्रैप का एक से लेकर तीन तक का चरण लागू रहेगा. ग्रेप 4 के मद्देनजर निजी डीजल कारों और बाहर से आने वाले भारी डीजल वाहनों पर लगे प्रतिबंध को हटा लिया गया है. 4 नवंबर से यह प्रतिबंध लागू था.

दिल्‍ली एनसीआर में एयर क्‍वालिटी पर नजर रखने वाली एजेंसियां इस बात को सुनिश्चित करेंगी क‍ि वायु की गुणवत्ता का स्तर 'गंभीर या बहुत गंभीर' श्रेणी में नहीं पहुंच पाए. अब सोमवार से पहले की तरह दिल्ली में बीएस (भारत स्टैण्डर्ड) 3 और बीएस 4 डीजल की कार चला सकेंगे. दरअसल, दिल्ली में प्रदूषण के बदतर हालात को देखते हुए वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (CAQM) ने उक्त स्टेज की डीजल गाड़ियों पर प्रतिबंध लगाने की जो सिफारिशें की थी, उसे रविवार को वापस ले लिया है. अब दिल्ली सरकार के कार्यालय भी 100 प्रतिशत क्षमता से खुलेंगे.

हालांकि, ग्रेप के तीसरे चरण के तहत लगे प्रतिबंधों को ठीक तरह से लागू कराने के लिए स्पेशल कमिश्नर ट्रांसपोर्ट के नेतृत्व में 6 सदस्यीय कमेटी बनाई गई है. इस कमेटी में 2 सदस्य परिवहन विभाग, दो दिल्ली ट्रैफिक पुलिस तथा दो डीपीसीसी के होंगे. यह कमेटी सुनिश्चित करेगी कि इन प्रतिबंधों का कड़ाई से पालन हो सके. साथ-साथ हरियाणा तथा उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री को पत्र लिख कर यह अनुरोध कर रहे हैं कि वे आवश्यक सेवाओं से जुड़े वाहनों को ही दिल्ली बार्डर तक आने दें.

उन्हें पहले ही ईस्टर्न और वेस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेस वे पर डायवर्ट करने की व्यवस्था करें. ऐसा न होने पर दिल्ली के बार्डर से उन्हें वापस भेजना बहुत ही कठिन हो जाता है. इसके अलावा भयंकर जाम की स्थिति उत्पन्न हो जाती है. पिछली बार विशेष रूप से गुड़गांव बार्डर पर इस प्रकार की समस्या का सामना करना पड़ा था. निर्माण कार्यों पर पहले की तरह प्रतिबंध लगा रहेगा.

ये भी पढ़ेंः Pollution in Delhi: 30 प्रतिशत बढ़े सांस के मरीज, बुजुर्गों और बच्चों को अधिक परेशानी

दिल्ली के अंदर जितने उद्योग हैं वहां कोई चोरी-छिपे प्रदूषित ईंधन पर अपने इंडस्ट्री को न चलाए, इसकी मॉनिटरिंग के लिए डीपीसीसी की 33 टीमें गठित की गई हैं. एसडीएम दिल्ली के अंदर जितने आरडब्लूए हैं उनके साथ बैठक कर के सिक्योरिटी गार्डों को इलेक्ट्रिक की हीटर देने की व्यवस्था करेंगे. राजस्व विभाग के कमिश्नर को आदेश दिया गया है कि वे मार्केट एसोशिएशन के साथ बैठक कर लोकल मार्केट और कार्यालयों की टाईमिंग अलग-अलग करने का एक सिस्टम तैयार करें.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.