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पैरालंपिक में भाग लेना ख्वाहिश थी, पदक जीतना सपने की तरह : नागर

राजस्थान के बैडमिंटन खिलाड़ी कृष्णा नागर ने अपने शानदार खेल से पैरालंपिक में स्वर्ण पदक जीतकर दुनिया में अपनी एक अलग पहचान बना ली है.

बैडमिंटन खिलाड़ी कृष्णा नागर
बैडमिंटन खिलाड़ी कृष्णा नागर
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Published : Sep 5, 2021, 8:54 PM IST

टोक्यो : भारतीय बैडमिंटन खिलाड़ी और गोल्ड मेडलिस्ट कृष्णा नागर ने कहा कि वह पैरालंपिक खेलों में भाग लेकर पहले ही बहुत खुश थे. गोल्ड पदक जीतना उनके लिए किसी सपने से कम नहीं है.

नागर ने हांगकांग के चू मैन काई को पुरुषों की एकल एसएच 6 क्लास के तीन गेम तक चले रोमांचक फाइनल में शिकस्त दी. नागर को छोटे कद का विकार है. जयपुर के नागर ने अपने प्रतिद्वंद्वी को 21-17 16-21 21-17 से हराया. इस तरह वह बैडमिंटन में स्वर्ण पदक जीतने की सूची में हमवतन प्रमोद भगत के साथ शामिल हो गए.

इस 22 साल के खिलाड़ी ने कहा ओलंपिक या पैरालंपिक में पदक बहुत बड़ी चीज है. हमने वादा किया था कि हम पांच-छह पदक जीतेंगे और हमने चार पदक जीते हैं. एक या दो प्रदर्शन थोड़ा ऊपर और नीचे रहा लेकिन हम आने वाले प्रतियोगिताओं में उस मोर्चे पर सुधार करेंगे.

इसे भी पढे़ं-टोक्यो पैरालंपिक : 24वें स्थान पर रहा भारत, 19 मेडल जीत रचा इतिहास

उन्होंने कहा, पैरालंपिक में प्रतिस्पर्धा एक बड़ी उपलब्धि है और हमने पहले सत्र (बैडमिंटन को पहली बार पैरालंपिक खेलों में शामिल किया गया है) में ही पदक जीते है. हम भाग्यशाली है और यह एक बड़ी उपलब्धि है.

फाइनल मैच के बारे में उन्होंने कहा, मेरी मानसिकता थी कि मुझे सकारात्मक रहना है. मैंने मैच के दौरान ज्यादा गलतियां नहीं की लेकिन दूसरे गेम में जब थोड़ा नकारात्मक हो गया था तब दबाव में आ गया था. कृष्णा नागर ने कहा, दूसरा गेम गंवाने के बाद मैं तीसरे गेम में मैंने वापसी की और फिर मेरे लिए चीजों ठीक रही.

(पीटीआई-भाषा)

टोक्यो : भारतीय बैडमिंटन खिलाड़ी और गोल्ड मेडलिस्ट कृष्णा नागर ने कहा कि वह पैरालंपिक खेलों में भाग लेकर पहले ही बहुत खुश थे. गोल्ड पदक जीतना उनके लिए किसी सपने से कम नहीं है.

नागर ने हांगकांग के चू मैन काई को पुरुषों की एकल एसएच 6 क्लास के तीन गेम तक चले रोमांचक फाइनल में शिकस्त दी. नागर को छोटे कद का विकार है. जयपुर के नागर ने अपने प्रतिद्वंद्वी को 21-17 16-21 21-17 से हराया. इस तरह वह बैडमिंटन में स्वर्ण पदक जीतने की सूची में हमवतन प्रमोद भगत के साथ शामिल हो गए.

इस 22 साल के खिलाड़ी ने कहा ओलंपिक या पैरालंपिक में पदक बहुत बड़ी चीज है. हमने वादा किया था कि हम पांच-छह पदक जीतेंगे और हमने चार पदक जीते हैं. एक या दो प्रदर्शन थोड़ा ऊपर और नीचे रहा लेकिन हम आने वाले प्रतियोगिताओं में उस मोर्चे पर सुधार करेंगे.

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उन्होंने कहा, पैरालंपिक में प्रतिस्पर्धा एक बड़ी उपलब्धि है और हमने पहले सत्र (बैडमिंटन को पहली बार पैरालंपिक खेलों में शामिल किया गया है) में ही पदक जीते है. हम भाग्यशाली है और यह एक बड़ी उपलब्धि है.

फाइनल मैच के बारे में उन्होंने कहा, मेरी मानसिकता थी कि मुझे सकारात्मक रहना है. मैंने मैच के दौरान ज्यादा गलतियां नहीं की लेकिन दूसरे गेम में जब थोड़ा नकारात्मक हो गया था तब दबाव में आ गया था. कृष्णा नागर ने कहा, दूसरा गेम गंवाने के बाद मैं तीसरे गेम में मैंने वापसी की और फिर मेरे लिए चीजों ठीक रही.

(पीटीआई-भाषा)

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