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विंबलडन 2021: सानिया-बेथानी दूसरे दौर में, अंकिता महिला युगल के पहले दौर से बाहर

सानिया मिर्जा और अमेरिका की बेथानी माटेक सैंड्स ने डेसिरे क्राउजिक और एलेक्सा गुआराची की छठी वरीय जोड़ी को हराकर विंबलडन टेनिस टूर्नामेंट के महिला युगल के दूसरे दौर में जगह बनाई.

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सानिया मिर्जा और अंकिता रैना
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Published : Jul 2, 2021, 1:30 PM IST

Updated : Jul 2, 2021, 1:41 PM IST

लंदन: सानिया मिर्जा और अमेरिका की उनकी जोड़ीदार बेथानी माटेक सैंड्स ने डेसिरे क्राउजिक और एलेक्सा गुआराची की छठी वरीय जोड़ी को हराकर उलटफेर करते हुए गुरुवार को विंबलडन टेनिस टूर्नामेंट के महिला युगल के दूसरे दौर में जगह बनाई. सानिया और बेथानी ने धीमी शुरुआत के बाद लय हासिल कर ली. पहले दौर के मुकाबले में अमेरिका और चिली की जोड़ी को एक घंटे 27 मिनट में 2 सेटों तक चले मुकाबले में 7-5, 6-3 से हराया.

बता दें कि मैच की शुरुआत में ही भारत और अमेरिका की जोड़ी पर दबाव रहा. जब तीसरे गेम में बेथानी की सर्विस पर सात बार ड्यूस हुआ. अमेरिकी खिलाड़ी ने तीन डबल फॉल्ट किए, लेकिन तीन ब्रेक प्वाइंट बचाने के बाद अपनी सर्विस भी बचा ली. सानिया और बेथानी को भी विरोधी की सर्विस तोड़ने का मौका मिला, जब अमेरिकी खिलाड़ी ने नेट पर वॉली पर अंक बनाने का मौका गंवा दिया. बायें हाथ की खिलाड़ी डेसिरे ने इसके बाद शानदार सर्विस करते हुए अपनी सर्विस बचाई.

यह भी पढ़ें: माना पटेल ने रचा इतिहास, बनीं ओलंपिक में क्वालीफाई करने वाली पहली भारतीय महिला तैराक

एलेक्सा ने 12वें गेम में 15-30 पर सर्विस करते हुए फोर हैंड बाहर मारकर विरोधी जोड़ी को दो सेट प्वाइंट दिए और सानिया ने स्मैश के साथ पहला सेट जीत लिया. दूसरे सेट में सानिया और बेथानी ने एक बार फिर एलेक्सा की सर्विस तोड़कर 3-1 की बढ़त बनाई, जिसके बाद इस जोड़ी को सेट और मैच जीतने में कोई परेशानी नहीं हुई.

सानिया साल 2005 से ग्रैंड स्लैम टूर्नामेंटों में भारत का प्रतिनिधित्व कर रहीं हैं. इससे पहले भारतीय-अमेरिकी शिखा ओबेरॉय ने साल 2004 में अमेरिकी ओपन के महिला एकल के लिए क्वालीफाई किया था और जापान की साओरी ओबाता के खिलाफ पहले दौर का मुकाबला जीता भी था. लेकिन इसके बाद वीनस विलियम्स से हार गईं.

यह भी पढ़ें: रिजिजू ने दुती चंद और माना पटेल को टोक्यो ओलंपिक में क्वालीफाई करने पर बधाई दी

शिखा इसके बाद कभी ग्रैंड स्लैम के मुख्य ड्रॉ में जगह नहीं बना सकीं. निरूपमा वैद्यनाथन साल 1998 में आस्ट्रेलियाई ओपन में जगह बनाने के बाद ग्रैंड स्लैम मुख्य ड्रॉ में खेलने वाली पहली महिला एकल खिलाड़ी बनी थी. निरूपमा मांकड़ साल 1971 में आनंद अमृतराज के साथ विंबलडन के मिश्रित युगल में खेली थी.

अंकिता महिला युगल के पहले दौर से बाहर

भारत की अंकिता रैना और अमेरिका की उनकी जोड़ीदार लॉरेन डेविस विंबलडन टेनिस टूर्नामेंट के महिला युगल के पहले दौर में आसिया मोहम्मद और जेसिका पेगुला की अमेरिकी जोड़ी से सीधे सेटों में हार गईं.

अमेरिका की 14वीं वरीयता प्राप्त जोड़ी ने अंकिता और डेविस को 70 मिनट तक चले मैच में 6-3, 6-2 से हराया.

यह भी पढ़ें: राजीव गांधी खेल रत्न के लिए शतरंज खिलाड़ी कोनेरू हम्पी का नाम प्रस्तावित

अंकिता ने मिश्रित युगल में हमवतन रामकुमार रामनाथन के साथ जोड़ी बनाई है. जहां उनका मुकाबला सानिया मिर्जा और रोहन बोपन्ना की हमवतन जोड़ी से होगा.

सानिया और अमेरिका की उनकी जोड़ीदार बैथेनी माटेक सैंड्स महिला युगल के दूसरे दौर में पहुंच गई हैं. लेकिन बोपन्ना और दिविज शरण पुरुष युगल के पहले दौर से आगे नहीं बढ़ पाए थे.

लंदन: सानिया मिर्जा और अमेरिका की उनकी जोड़ीदार बेथानी माटेक सैंड्स ने डेसिरे क्राउजिक और एलेक्सा गुआराची की छठी वरीय जोड़ी को हराकर उलटफेर करते हुए गुरुवार को विंबलडन टेनिस टूर्नामेंट के महिला युगल के दूसरे दौर में जगह बनाई. सानिया और बेथानी ने धीमी शुरुआत के बाद लय हासिल कर ली. पहले दौर के मुकाबले में अमेरिका और चिली की जोड़ी को एक घंटे 27 मिनट में 2 सेटों तक चले मुकाबले में 7-5, 6-3 से हराया.

बता दें कि मैच की शुरुआत में ही भारत और अमेरिका की जोड़ी पर दबाव रहा. जब तीसरे गेम में बेथानी की सर्विस पर सात बार ड्यूस हुआ. अमेरिकी खिलाड़ी ने तीन डबल फॉल्ट किए, लेकिन तीन ब्रेक प्वाइंट बचाने के बाद अपनी सर्विस भी बचा ली. सानिया और बेथानी को भी विरोधी की सर्विस तोड़ने का मौका मिला, जब अमेरिकी खिलाड़ी ने नेट पर वॉली पर अंक बनाने का मौका गंवा दिया. बायें हाथ की खिलाड़ी डेसिरे ने इसके बाद शानदार सर्विस करते हुए अपनी सर्विस बचाई.

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एलेक्सा ने 12वें गेम में 15-30 पर सर्विस करते हुए फोर हैंड बाहर मारकर विरोधी जोड़ी को दो सेट प्वाइंट दिए और सानिया ने स्मैश के साथ पहला सेट जीत लिया. दूसरे सेट में सानिया और बेथानी ने एक बार फिर एलेक्सा की सर्विस तोड़कर 3-1 की बढ़त बनाई, जिसके बाद इस जोड़ी को सेट और मैच जीतने में कोई परेशानी नहीं हुई.

सानिया साल 2005 से ग्रैंड स्लैम टूर्नामेंटों में भारत का प्रतिनिधित्व कर रहीं हैं. इससे पहले भारतीय-अमेरिकी शिखा ओबेरॉय ने साल 2004 में अमेरिकी ओपन के महिला एकल के लिए क्वालीफाई किया था और जापान की साओरी ओबाता के खिलाफ पहले दौर का मुकाबला जीता भी था. लेकिन इसके बाद वीनस विलियम्स से हार गईं.

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शिखा इसके बाद कभी ग्रैंड स्लैम के मुख्य ड्रॉ में जगह नहीं बना सकीं. निरूपमा वैद्यनाथन साल 1998 में आस्ट्रेलियाई ओपन में जगह बनाने के बाद ग्रैंड स्लैम मुख्य ड्रॉ में खेलने वाली पहली महिला एकल खिलाड़ी बनी थी. निरूपमा मांकड़ साल 1971 में आनंद अमृतराज के साथ विंबलडन के मिश्रित युगल में खेली थी.

अंकिता महिला युगल के पहले दौर से बाहर

भारत की अंकिता रैना और अमेरिका की उनकी जोड़ीदार लॉरेन डेविस विंबलडन टेनिस टूर्नामेंट के महिला युगल के पहले दौर में आसिया मोहम्मद और जेसिका पेगुला की अमेरिकी जोड़ी से सीधे सेटों में हार गईं.

अमेरिका की 14वीं वरीयता प्राप्त जोड़ी ने अंकिता और डेविस को 70 मिनट तक चले मैच में 6-3, 6-2 से हराया.

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अंकिता ने मिश्रित युगल में हमवतन रामकुमार रामनाथन के साथ जोड़ी बनाई है. जहां उनका मुकाबला सानिया मिर्जा और रोहन बोपन्ना की हमवतन जोड़ी से होगा.

सानिया और अमेरिका की उनकी जोड़ीदार बैथेनी माटेक सैंड्स महिला युगल के दूसरे दौर में पहुंच गई हैं. लेकिन बोपन्ना और दिविज शरण पुरुष युगल के पहले दौर से आगे नहीं बढ़ पाए थे.

Last Updated : Jul 2, 2021, 1:41 PM IST
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