उलाने उदे (रूस) : मैरी कॉम ने क्वार्टर फाइनल में कोलंबिया की इंगोट वालेंसिया को 5-0 से मात दी. सेमीफाइनल में जाकर मैरी ने भारत के लिए एक पदक पक्का कर लिया है.
51 किलोग्राम भार वर्ग में विश्व चैम्पियनशिप में पहला पदक होगा
48 किलोग्राम भारवर्ग में छह बार विश्व चैम्पियन रह चुकीं मैरी का ये 51 किलोग्राम भार वर्ग में विश्व चैम्पियनशिप में पहला पदक होगा. वो हालांकि, इस भारवर्ग में 2014-एशियाई खेलों में स्वर्ण और 2018 एशियाई खेलों में कांस्य पदक भी जीत चुकी हैं, साथ ही इसी भार वर्ग में मैरी ने लंदन ओलम्पिक-2012 में कांस्य जीता था.
मैरी की रणनीति समझ रही थीं इंगोट
मैरी कॉम ने शुरुआत अच्छी की और दूरी बनाए रखते हुए दाएं जैब का इस्तेमाल किया. साथ ही वो दाएं हाथ से हुक भी लगा रही थीं. हल्के से बदले हुए स्टांस के साथ खेल रही मैरी बीच-बीच में चकमा दे बाएं जैब से सटीक पंच लगाने में भी सफल रहीं. उनकी विपक्षी मैरी की रणनीति समझ रही थीं और इसलिए एहतियात के साथ खेल रही थीं. अंत में दोनों खिलाड़ी आक्रामक हो गईं.
मैरी ने जीता
दूसरे दौर में दोनों मुक्केबाजों ने अच्छा किया, लेकिन मैरी अपनी विपक्षी से थोड़ा आगे रहीं. वो इंगोट के पास आते ही हुक का अच्छा इस्तेमाल कर रही थीं और यहीं वो इंगोट पर हावी रही थीं. तीसरे दौर में भी मैरी ने यही किया और जीत अपने नाम की.