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मप्र में खेलों के बुरे हाल पर महिला पहलवान अर्पणा बिश्नोई का दर्द उभरा - Arpana Bishnoi

अपर्णा बिश्नोई ने खिलाड़ियों के हक के लिए जबलपुर हाईकोर्ट कोर्ट से गुहार लगाते हुए मध्य प्रदेश खेल नीति में सुधार करने की भी अपील की है.

Arpana Bishnoi
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Published : Oct 13, 2020, 10:29 PM IST

इंदौर: राष्ट्रमण्डल कुश्ती चैम्पियनशिप में भारत की ओर से रजत पदक प्राप्त करने वाली मध्य प्रदेश की पहली महिला पहलवान अर्पणा बिश्नोई ने मंगलवार को कहा कि मध्य प्रदेश में खेलों और खिलाड़ियों के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है.

राजस्थान में खिलाड़ियों को ग्रेड-वन ऑफिसर बनाए जाने को लेकर अर्पणा ने राजस्थान सरकार के खेल मंत्री अशोक चांदना को धन्यवाद दिया और कहा कि काश वे मध्य प्रदेश के खेल मंत्री होते.

अपर्णा बिश्नोई ने खिलाड़ियों के हक के लिए जबलपुर हाईकोर्ट कोर्ट से गुहार लगाते हुए मध्य प्रदेश खेल नीति में सुधार करने की भी अपील की है.

Pro Wrestling
प्रो रेसलिंग

दरअसल, अर्पणा सिंगापुर में आयोजित राष्ट्रमण्डल कुश्ती चैम्पियनशिप 2016 में भारत की ओर से रजत पदक प्राप्त करने वाली मध्य प्रदेश की पहली महिला पहलवान हैं और मध्य प्रदेश की खेल नीति के अनुसार राष्ट्रमण्डल कुश्ती चैम्पियनशिप को अधिकृत चैंपियनशिप नहीं माना जाता है.

अर्पणा बिश्नोई ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय और राष्ट्रीय स्तर पर खेलों में लगातार पदक हासिल करने के बाद भी प्रदेश में खिलाड़ियों को नौकरी और अन्य सुविधाओ से वंचित रहना पड़ता है. प्रदेश सरकार कई वर्षो से हर बार बड़े-बड़े बयान देती है और भोले-भाले खिलाड़ियों से खेल के नाम कर खिलवाड़ करती रहती है.

उन्होंने कहा कि, "कभी नई खेल नीति में यह व्यवस्था की जाती है कि शासकीय नौकरी में खिलाड़ियों को 5 प्रतिशत आरक्षण का लाभ मिल सके तो कभी गोल मोल खेल नीति बनाकर अकादमियों को लाभ पहुंचाने के लिए खेल अवॉर्ड की बंदर बाट करती है. सरकार राष्ट्रीय खेलों मे बाहरी खिलाड़ियों के बलबूते पर कब तक मेडल जीतकर इठलाती रहेगी? अर्पणा कहती है आखिर कब तक हमारी सरकार पराए पूतों के यश पर छाती चौड़ी करके घूमती रहेगी?"

अपर्णा के अनुसार हरियाणा सरकार की तर्ज पर अब राजस्थान में भी खिलाड़ियों को डीएसपी व ग्रेड-वन अधिकारी बनाया जा रहा है. यह खुशखबरी राजस्थान से हैं, जहां राजस्थान सरकार दीवाली से पहले 2 बार के पैरालिंपिक गोल्ड मेडलिस्ट और राजीव गांधी खेलरत्न से नवाजे जा चुके देवेंद्र झाझड़िया समेत कई अन्य खिलाड़ियों को ग्रेड-वन ऑफिसर बना रही है.

Pro Wrestling
प्रो रेसलिंग

राजस्थान में खिलाड़ियों को आउट ऑफ टर्न नौकरी देने के लिए खेल विभाग ने 30 खिलाड़ियों (ए और बी ग्रेड) की लिस्ट मुख्य सचिव को भेजी है. खेल मंत्री अशोक चांदना ने मुख्य सचिव को उनकी अध्यक्षता में गठित कमेटी की बैठक आयोजित करने के लिए भी लिखा है ताकि जल्द से जल्द खिलाड़ियों को नौकरी मिल सके.

पैरा में राजस्थान के 5 खिलाड़ियों को मिलेगी ग्रेड-वन नौकरी : ग्रेड-वन के लिए देवेंद्र झाझड़िया सहित कुल 5 पैरा खिलाड़ी एलिजिबल हैं. इनमें 2018 एशि?न पैरा में रजत जीतने वाले सुंदर गुर्जर, कांस्य जीतने वाले संदीप मान, कांस्य जीतने वाले बैडमिंटन खिलाड़ी कृष्णा नागर और निशा कंवर (विश्व पैरा शूटिंग गोल्ड मेडलिस्ट) शामिल हैं. सूत्रों के अनुसार, ए ग्रेड में 11 और बी ग्रेड में 19 खिलाड़ी शामिल हैं.

इंदौर: राष्ट्रमण्डल कुश्ती चैम्पियनशिप में भारत की ओर से रजत पदक प्राप्त करने वाली मध्य प्रदेश की पहली महिला पहलवान अर्पणा बिश्नोई ने मंगलवार को कहा कि मध्य प्रदेश में खेलों और खिलाड़ियों के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है.

राजस्थान में खिलाड़ियों को ग्रेड-वन ऑफिसर बनाए जाने को लेकर अर्पणा ने राजस्थान सरकार के खेल मंत्री अशोक चांदना को धन्यवाद दिया और कहा कि काश वे मध्य प्रदेश के खेल मंत्री होते.

अपर्णा बिश्नोई ने खिलाड़ियों के हक के लिए जबलपुर हाईकोर्ट कोर्ट से गुहार लगाते हुए मध्य प्रदेश खेल नीति में सुधार करने की भी अपील की है.

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दरअसल, अर्पणा सिंगापुर में आयोजित राष्ट्रमण्डल कुश्ती चैम्पियनशिप 2016 में भारत की ओर से रजत पदक प्राप्त करने वाली मध्य प्रदेश की पहली महिला पहलवान हैं और मध्य प्रदेश की खेल नीति के अनुसार राष्ट्रमण्डल कुश्ती चैम्पियनशिप को अधिकृत चैंपियनशिप नहीं माना जाता है.

अर्पणा बिश्नोई ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय और राष्ट्रीय स्तर पर खेलों में लगातार पदक हासिल करने के बाद भी प्रदेश में खिलाड़ियों को नौकरी और अन्य सुविधाओ से वंचित रहना पड़ता है. प्रदेश सरकार कई वर्षो से हर बार बड़े-बड़े बयान देती है और भोले-भाले खिलाड़ियों से खेल के नाम कर खिलवाड़ करती रहती है.

उन्होंने कहा कि, "कभी नई खेल नीति में यह व्यवस्था की जाती है कि शासकीय नौकरी में खिलाड़ियों को 5 प्रतिशत आरक्षण का लाभ मिल सके तो कभी गोल मोल खेल नीति बनाकर अकादमियों को लाभ पहुंचाने के लिए खेल अवॉर्ड की बंदर बाट करती है. सरकार राष्ट्रीय खेलों मे बाहरी खिलाड़ियों के बलबूते पर कब तक मेडल जीतकर इठलाती रहेगी? अर्पणा कहती है आखिर कब तक हमारी सरकार पराए पूतों के यश पर छाती चौड़ी करके घूमती रहेगी?"

अपर्णा के अनुसार हरियाणा सरकार की तर्ज पर अब राजस्थान में भी खिलाड़ियों को डीएसपी व ग्रेड-वन अधिकारी बनाया जा रहा है. यह खुशखबरी राजस्थान से हैं, जहां राजस्थान सरकार दीवाली से पहले 2 बार के पैरालिंपिक गोल्ड मेडलिस्ट और राजीव गांधी खेलरत्न से नवाजे जा चुके देवेंद्र झाझड़िया समेत कई अन्य खिलाड़ियों को ग्रेड-वन ऑफिसर बना रही है.

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राजस्थान में खिलाड़ियों को आउट ऑफ टर्न नौकरी देने के लिए खेल विभाग ने 30 खिलाड़ियों (ए और बी ग्रेड) की लिस्ट मुख्य सचिव को भेजी है. खेल मंत्री अशोक चांदना ने मुख्य सचिव को उनकी अध्यक्षता में गठित कमेटी की बैठक आयोजित करने के लिए भी लिखा है ताकि जल्द से जल्द खिलाड़ियों को नौकरी मिल सके.

पैरा में राजस्थान के 5 खिलाड़ियों को मिलेगी ग्रेड-वन नौकरी : ग्रेड-वन के लिए देवेंद्र झाझड़िया सहित कुल 5 पैरा खिलाड़ी एलिजिबल हैं. इनमें 2018 एशि?न पैरा में रजत जीतने वाले सुंदर गुर्जर, कांस्य जीतने वाले संदीप मान, कांस्य जीतने वाले बैडमिंटन खिलाड़ी कृष्णा नागर और निशा कंवर (विश्व पैरा शूटिंग गोल्ड मेडलिस्ट) शामिल हैं. सूत्रों के अनुसार, ए ग्रेड में 11 और बी ग्रेड में 19 खिलाड़ी शामिल हैं.

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