जिनेवा: अंतराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (IOC) ने कहा है कि फुटबॉल की वैश्विक संस्था फीफा की प्रत्येक दो साल में विश्व कप के आयोजन की योजना को लेकर उसकी 'चिंताएं' हैं.
आईओसी अध्यक्ष थॉमस बाक ने पिछले महीने कहा था वे इस चर्चा में हस्तक्षेप नहीं करेंगे लेकिन शनिवार को एथेंस में बैठक के बाद उन आपत्तियों की जानकारी दी गई जो फुटबॉल के हितधारकों के साथ साझा की गई हैं.
कार्यकारी बोर्ड की बैठक के बाद आईओसी ने बयान में जिन चिंताओं का हवाला दिया है उनमें अन्य खेलों के कार्यक्रम के साथ टकराव, पुरुष विश्व कप का महिला टूर्नामेंट पर हावी होना और खिलाड़ियों पर गहरा असर भी शामिल हैं.
आईओसी ने अपने बयान में भविष्य में विश्व कप और ओलंपिक के संभावित टकराव का जिक्र नहीं किया है क्योंकि ऐसा लॉस एंजिलिस में 2028 में होने वाले ओलंपिक से पहले नहीं होगा.
आईओसी ने हालांकि यह कहते हुए प्रत्येक दो साल में विश्व कप के आयोजन की योजना की आलोचना की है कि इस योजना को तैयार करने से पहले सभी हितधारकों के साथ विस्तृत सलाह मशविरा नहीं किया गया.
फीफा ने संन्यास ले चुके खिलाड़ियों के साथ बैठक के बाद पिछले महीने अंतरराष्ट्रीय फुटबॉल प्रतियोगिताओं के कैलेंडर को पुन: तैयार करने की विस्तृत योजना का खुलासा किया था जिसका केंद्र पुरुष और महिला विश्व कप का प्रत्येक दो साल में आयोजन था.
फीफा अध्यक्ष जियानी इनफेंटिनो के समर्थन वाले इस प्रस्ताव की घोषणा इस खेल में दबदबा बनाने वाले यूरोप और दक्षिण अफ्रीका के सदस्य महासंघों से औपचारिक सलाह मशविरे के बिना की गई थी.
यूरोपीय संचालन संस्था यूएफा और दक्षिण अमेरिका की संचालन संस्था कोनमेबोल ने चेतावनी दी है कि अगर फीफा अपनी योजना पर आगे बढ़ता है तो वे विश्व कप का बहिष्कार करेंगे क्योंकि इससे उनकी महाद्वीपीय प्रतियोगिता का महत्व कम होगा जिसका आयोजन प्रत्येक चार साल में ओलंपिक वर्ष में किया जाता है.
आईओसी ने कहा है कि अधिक विश्व कप के आयोजन से टेनिस, साइकिलिंग, गोल्फ, जिम्नास्टिक, तैराकी, एथलेटिक्स, फार्मूला वन सहित कई अन्य खेल प्रभावित होंगे.