हैदराबाद : भारतीय क्रिकेट बोर्ड (बीसीसीआई) के कोषाध्यक्ष अरुण धूमल ने कोविड-19 महामारी से बनी स्थिति पर कहा कि क्रिकेट के फिर से शुरू होने पर कुछ कहना जल्दबाजी होगी लेकिन इस बात की संभावना अधिक है कि साल के आखिर में भारतीय टीम का ऑस्ट्रेलिया दौरा होगा. वहीं उन्होंने इस बात पर जोर दिया है कि निकट भविष्य में कई बोर्ड आईसीसी टूर्नामेंट में हिस्सा लेने की बजाय द्विपक्षीय सीरीज खेलने पर सहमति जताए.
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द्विपक्षीय सीरीज खेलने पर विचार करेंगे?
ये देखते हुए कि बहुत सारे बोर्ड वित्तीय रूप से प्रभावित होंगे, क्या वे निकट भविष्य में आईसीसी टूर्नामेंटों में भाग लेने के बजाय द्विपक्षीय सीरीज खेलने पर विचार करेंगे?
इस सवाल के जवाब में बीसीसीआई के कोषाध्यक्ष अरुण धूमल ने कहा, ''हां, आसानी से इसी वजह से कोई भी क्रिकेट बोर्ड अधिक पैसा जोड़ता है. इसीलिए प्राथमिकता सभी को होती है और पता चलता है कि सबसे अच्छा क्या है. अगर व्यक्तिगत क्रिकेट बोर्ड संकट से जूझेगा तो आईसीसी भी इससे प्रभावित होगा.''
खेल से जुड़े हर व्यक्ति का प्रयास यही होगा
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उन्होंने कहा, ''ऐसा नहीं है कि ICC अपने दम पर सभी क्रिकेट बोर्ड की जरूरत और उन्हें खिला सकता है. यदि हम खुद पर अपने पैरे पर खड़े हो जाए, तो ही हम एक दूसरे की मदद कर पाएंगे. मुझे लगता है कि खेल से जुड़े हर व्यक्ति का प्रयास यही होगा. विश्व क्रिकेट को पुनर्जीवित करने के लिए ये बहुत महत्वपूर्ण है कि सभी बोर्ड एक अच्छे वित्तीय स्थिति में हों.
धूमल ने कहा कि अगर इंडियन प्रीमियर लीग (आइपीएल) नहीं हुआ तो बोर्ड को 4000 करोड़ रुपये का नुकसान होगा।उन्होंने कहा, ''अगर आईपीएल नहीं होता है तो राजस्व घाटा 4000 करोड़ रुपये होगा. अगर हम घरेलू सत्र कराने में नाकाम रहे तो ये काफी बड़ी रकम होगी. बीसीसीआई को भी भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है. अगर आईपीएल नहीं होता है तो हम बहुत बड़ी समस्या में फंस जाऐंगे.