ढाका : ऑलराउंडर शाकिब अल हसन का इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) में लंबे समय तक बने रहने के आग्रह को बांग्लादेश क्रिकेट बोर्ड (बीसीबी) ने निराशाजनक करार दिया और उसने भविष्य में ऐसी स्थिति से बचने के लिए खिलाड़ियों के केंद्रीय अनुबंध में नया नियम जोड़ने का फैसला किया.
शाकिब अप्रैल में श्रीलंका के खिलाफ राष्ट्रीय टीम की तरफ से टेस्ट मैच खेलने के बजाय भारत में आईपीएल में खेलना चाहते हैं लेकिन यह बीसीबी के अध्यक्ष नजमुल हसन को नागवार गुजरा. नये नियमों वाला वार्षिक अनुबंध खिलाड़ियों की बांग्लादेश से खेलने की प्रतिबद्धता सुनिश्चित करेगा.
नजमुल ने पत्रकारों से कहा, "हम खिलाड़ियों के साथ (2021 के लिये) नया अनुबंध करेंगे. इसमें इसका स्पष्ट जिक्र होगा कि कौन किस प्रारूप में खेलना चाहता है. उन्हें हमें सूचित करना होगा. अगर वह किसी अन्य टूर्नामेंट में व्यस्त हैं तो उन्हें अपनी उपलब्धता के बारे में स्पष्ट बताना होगा. यह बहुत खुला है."
उन्होंने कहा, "पहले यह व्यक्ति पर निर्भर करता था लेकिन अब हम इसकी लिखित में पुष्टि कर रहे हैं ताकि कोई यह नहीं कह सके कि उन्हें अनुमति नहीं दी गयी या हमने उन्हें जबर्दस्ती रोके रखा."
बीसीबी प्रमुख ने कहा कि शाकिब को आईपीएल में खेलने से रोकने का कोई मतलब नहीं बनता जबकि उन्होंने हाल में बोर्ड को भेजे गये पत्र में अपना मंतव्य स्पष्ट कर दिया था.
उन्होंने कहा, "क्या हम शाकिब को आईपीएल में जाने से नहीं रोक सकते? वह खेल सकता है लेकिन हम ऐसा नहीं चाहते हैं. हम चाहते हैं कि वे ही खेलें जो वास्तव में खेल को चाहते हैं. हमने उसकी दिलचस्पी बनाये रखने की कोशिश की. जब शाकिब ने तीन साल पहले टेस्ट खेलने से इन्कार कर दिया था तो हमने उसे कप्तान बना दिया था."
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शाकिब एक साल का प्रतिबंध पूरा करने के बाद आईपीएल में वापसी करेंगे. खिलाड़ियों की हाल की नीलामी में कोलकाता नाइटराइडर्स ने उन्हें 3.2 करोड़ रुपये में खरीदा था.