हैदराबाद. ढोल, मजीरे, शंखनाद के साथ माहौल तब भक्तिमय हो गया, जब नाथों के नाथ भगवान जगन्नाथ भाई बलभद्र और बहन सुभद्रा संग (Jagannath Puri Ratha Yatra 2021) रथ पर सवार होकर भक्तों को आशीष देने के लिए निकले. फिर तो हरि बोल के उद्घोष से नभ गूंज उठा. आप यही सोच रहे होंगे कि हम बात पुरी की विश्वप्रसिद्ध रथ यात्रा की कर रहे हैं. पर नहीं! ये माहौल सात समंदर पार बसे पराए देश बहरीन का है.
पराए देश में भी उड़िया समाज और इस्कॉन के संयुक्त सहयोग से रथ यात्रा का आयोजन किया गया. यह काबिल-ए-तारीफ ही है कि बहरीन जैसे इस्लामिक देश में स्थानीय प्रशासन ने प्रभु के जुलूस की अनुमति दी. रथयात्रा में बहरीन के मूल निवासियों के साथ ही सभी प्रभु प्रेमियों के मन में खुशी की लहर देखी गई. आयोजकों ने स्थानीय प्रशासन का सहयोग करते हुए प्रभु की रथ यात्रा में कोविड प्रोटोकॉल का विशेष रूप से पालन किया.
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जैसा कि पुरी श्रीक्षेत्र में यात्रा का आयोजन किया गया उसी तरह से बहरीन में सफल आयोजन में सहयोग करने के लिए उड़िया समाज बहरीन के संस्थापक नीतिकांति ने बहरीन सरकार, उड़िया समाज के सदस्यों और इस्कॉन मंदिर ट्रस्ट के अधिकारियों को धन्यवाद दिया.
आयोजकों ने बताया कि शाम को डिजिटल माध्यम से रथ यात्रा पर्व के शुभ अवसर पर सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा. आयोजन में इस्कॉन मंदिर के अध्यक्ष बर्धराजन प्रभु, उड़िया समाज बहरीन के संस्थापक डॉ अरुण कुमार प्रहराज, भारतीय राजदूत पीयूष श्रीवास्तव, अन्य गणमान्य व्यक्ति, उड़िया समुदाय के सदस्य, इस्कॉन के अधिकारी उपस्थित थे.