कीव : रूस ने मंगलवार को यूक्रेन पर फिर से हवाई हमले किए. इससे एक दिन पहले किए गए हमलों में कम से कम 19 लोगों की मौत हो गई थी. संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार दफ्तर ने इन हमलों को 'स्तब्धकारी' बताया और कहा कि यह युद्ध अपराध के समान हो सकते हैं. समूचे यूक्रेन में मंगलवार को सुबह हवाई हमलों की चेतावनी जारी की गई और कीव और कई अन्य शहरों में कुछ महीनों की शांति के बाद कुछ निवासियों को वापस पनाहगाहों में भेजा गया.(Russia Ukraine war)
यूक्रेन की राजधानी और 12 क्षेत्रों पर सोमवार को रूस ने बमबारी की थी. राजधानी कीव के 67 वर्षीय निवासी वोलोदीमीर वसीलेंको ने कहा कि इन हमलों से डर नहीं लग रहा है बल्कि गुस्सा आ रहा है. उन्होंने कहा, 'हम इसके आदी हो चुके हैं और हम लड़ना जारी रखेंगे.' रूस ने मंगलवार को बिजली संयंत्रों और असैन्य इलाकों पर बमबारी की. उसने सोमवार को भी ऐसा ही किया था. राज्य आपात सेवा ने बताया कि दक्षिणी शहर ज़ापोरिज्जिया में सार्वजनिक स्थानों पर 12 मिसाइलें गिरने के बाद एक शख्स की मौत हो गई और भीषण आग लग गई.
300 से ज्यादा शहरों में बिजली गुल : एक स्थानीय अधिकारी ने बताया कि मिसाइलें, स्कूल, आवासीय इमारतों और अस्पतालों पर गिरी हैं. पश्चिमी ल्वीव और विन्नीत्सया क्षेत्रों में बिजली संयंत्रों को निशाना बनाया गया है. इस वजह से देश के 300 से ज्यादा शहरों में बिजली गुल हो गई. अधिकारियों ने बताया कि यूक्रेन के बलों ने रूस की एक मिसाइल को कीव पहुंचने से पहले ही हवा में मार गिराया.
राज्य आपात सेवा ने कहा कि सोमवार को किए गए हमलों में 19 लोगों की मौत हो गई और 105 लोग जख्मी हुए हैं. रूस को क्रीमिया प्रायद्वीप से जोड़ने वाले एक पुल पर सप्ताहांत पर किए गए विस्फोट के जवाब में रूस ने ये हमले किए हैं. रूस ने 2014 में यूक्रेन से इस क्षेत्र को लेकर अपने देश में मिला लिया था.
संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार आयुक्त के दफ्तर की प्रवक्ता रवीना शमदासानी ने जिनेवा में मंगलवार को पत्रकारों से कहा कि बिजली संयंत्र और अन्य असैन्य ठिकानों पर हमले करना युद्ध अपराध की श्रेणी में आ सकता है. वहीं, यूक्रेन पर परमाणु हमले को लेकर रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव ने कहा कि मॉस्को तब ही परमाणु हथियारों का सहारा लेगा जब रूस को तबाही का सामना करना पड़ेगा. सरकारी टीवी से बातचीत करते हुए उन्होंने आरोप लगाया कि पश्चिमी देश रूस की मंशा को लेकर झूठी अटकलों को बढ़ावा दे रहे हैं.
इस बीच रूस के उप विदेश मंत्री सर्गेई रयाबकोव ने मंगलवार को चेताया कि यूक्रेन को पश्चिमी देशों की सैन्य सहायता, नाटो के सदस्य देशों में उसके सैनिकों को प्रशिक्षित करना, यूक्रेन को उपग्रह का डेटा उपलब्ध कराना, पश्चिमी देशों को कीव की तरफ से संघर्ष में तेज़ी से शामिल कर रहा है. सरकारी समाचार एजेंसी आरआईए-नोवोस्ती की खबर के मुताबिक, रयाबकोव ने कहा कि रूस इसके मद्देनजर उपाय करने के लिए मजबूर होगा. उन्होंने कहा कि रूस की मंशा अमेरिका या नाटो के साथ सीधे टकराव की नहीं है.
उन्होंने कहा कि उनका देश आशा करता हैं कि अमेरिका और अन्य पश्चिमी देश तनाव के बढ़ने के खतरों से वाकिफ होंगे. रयाबकोब की चेतावनी के बाद बेलारूस के राष्ट्रपति अलेक्जेंडर लुकाशेंको ने कहा है कि वह और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन सैनिकों का एक संयुक्त क्षेत्रीय समूह बनाने पर सहमत हुए. उन्होंने दावा किया है कि इसका मकसद बेलारूस पर यूक्रेन के संभावित हमले को नाकाम करना है.
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(पीटीआई-भाषा)