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Jaishankar Meets Blinken: निज्जर की हत्या मामले में अमेरिकी विदेश मंत्री बोले, भारत-कनाडा करें मिलकर काम - विदेश मंत्री एस जयशंकर

भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन से मुलाकात की. इस दौरान ब्लिंकन ने भारत से सिख अलगाववादियों की हत्या के मामले में कनाडा के साथ मिलकर काम करने की अपील की.

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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Sep 29, 2023, 8:11 PM IST

Updated : Sep 29, 2023, 10:40 PM IST

नई दिल्ली: एक बड़े घटनाक्रम के रूप में देखा गया कि अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने गुरुवार को वाशिंगटन डीसी में अपनी बैठक के दौरान विदेश मंत्री जयशंकर के साथ सिख अलगाववादियों की हत्या का मामला उठाया. सूत्रों के मुताबिक, ब्लिंकन ने भारत से निज्जर की हत्या की जांच में कनाडा के साथ सहयोग करने का आग्रह किया है, जिससे दोनों देशों के बीच राजनयिक विवाद छिड़ गया है.

जयशंकर ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर कहा, 'आज विदेश विभाग में अपने मित्र अमेरिकी विदेश मंत्री ब्लिंकन से मिलकर बहुत अच्छा लगा. प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी की जून यात्रा के बाद व्यापक चर्चा. वैश्विक विकास पर नोट्स का आदान-प्रदान भी किया. बहुत जल्द हमारी 2+2 बैठक के लिए आधार तैयार कर लिया गया.'

  • Great to meet my friend US Secretary of State @SecBlinken at State Department today.

    A wide ranging discussion, following up on PM @narendramodi’s June visit. Also exchanged notes on global developments.

    Laid the groundwork of our 2+2 meeting very soon. pic.twitter.com/mOw9SIX1dO

    — Dr. S. Jaishankar (@DrSJaishankar) September 28, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

उन्होंने वाशिंगटन डीसी में हडसन इंस्टीट्यूट में बातचीत के दौरान एस जयशंकर ने कहा, 'यह कनाडा के साथ कई वर्षों से बड़ा विवाद का मुद्दा रहा है. लेकिन पिछले कुछ वर्षों में, यह फिर से चलन में आ गया है, क्योंकि हम इसे आतंकवादियों, चरमपंथी लोगों के प्रति एक बहुत ही उदार कनाडाई रवैया मानते हैं जो खुले तौर पर हिंसा की वकालत करते हैं और कनाडा की राजनीति की मजबूरियों के कारण उन्हें कनाडा में परिचालन की जगह दी गई है...'

उन्होंने आगे बताया कि कनाडाई प्रधान मंत्री जस्टिन ट्रूडो ने शुरू में निजी तौर पर और फिर हाउस ऑफ कॉमन्स से सार्वजनिक रूप से आरोप लगाए थे, जबकि भारत ने भी उसी तरीके से आरोपों का जवाब दिया था. जयशंकर ने आगे कहा कि यदि उनके (पीएम ट्रूडो) या उनकी सरकार के पास कुछ भी प्रासंगिक और विशिष्ट है जिसे वे चाहते हैं कि हम देखें, तो हम उस पर गौर करने के लिए तैयार हैं. अब, यह बातचीत इस बिंदु पर है.'

ओटावा भारत से संगठित अपराध का केंद्र बन गया है और यह अब मानव तस्करी, अलगाववाद, हिंसा और आतंकवाद के साथ मिल गया है. उन्होंने आगे जोड़ते हुए कहा, 'कनाडा का रवैया आतंकवादियों और चरमपंथियों के प्रति उदारवादी रहा है. कनाडा की राजनीति की मजबूरियों के कारण उन्हें कनाडा में परिचालन की जगह दी गई है. आज मैं ऐसी स्थिति में हूं जहां मेरे राजनयिक कनाडा में दूतावास या वाणिज्य दूतावास में जाने में असुरक्षित हैं. उन्हें सार्वजनिक रूप से डराया जाता है. इसने मुझे वीज़ा परिचालन को निलंबित करने के लिए मजबूर किया है.'

  • Washington, DC: On India- Canada row, EAM Dr S Jaishankar says, "This has been an issue of great, friction for many years with Canada. But in the last few years, it has come back, very much into play, because of what we consider to be a very permissive Canadian attitude towards… https://t.co/gpInEWeNnF pic.twitter.com/E0X7WRFzka

    — ANI (@ANI) September 29, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

28 सितंबर, गुरुवार को, कनाडाई प्रधान मंत्री जस्टिन ट्रूडो ने क्यूबेक में प्रेस को बताया कि उन्हें विश्वास है कि संयुक्त राज्य अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन दिन में अपने भारतीय समकक्ष एस जयशंकर के साथ बातचीत के दौरान खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या का मामला उठाएंगे.

उनकी यह टिप्पणी दोनों देशों के बीच तनावपूर्ण राजनयिक संबंधों के बीच आई है. ट्रूडो ने दावा किया कि उनकी सरकार के पास विश्वसनीय आरोप हैं कि भारतीय सरकारी एजेंट निज्जर की हत्या से जुड़े हो सकते हैं. यह पूछे जाने पर कि क्या ब्लिंकन इस मुद्दे को जयशंकर के सामने उठाएंगे, ट्रूडो ने कहा, 'अमेरिकी निश्चित रूप से इस मामले पर भारत सरकार से चर्चा करेंगे.'

भारत के विदेश मंत्रालय ने अभी तक इस तथ्य पर आधिकारिक तौर पर प्रतिक्रिया नहीं दी है कि यह मुद्दा विदेश मंत्री जयशंकर के समक्ष उठाया गया था. यह ध्यान रखना उचित है कि अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और ब्रिटेन सहित अन्य 'फाइव आई' वाले देश इस मामले पर बहुत सतर्क रुख अपना रहे हैं, क्योंकि वे भारत को क्षेत्र में चीन की बढ़ती आक्रामकता के प्रतिकार के रूप में देखते हैं. इस बीच, नई दिल्ली ने भारत के खिलाफ कनाडा के आरोपों को बेतुका और प्रेरित बताते हुए खारिज कर दिया है.

नई दिल्ली: एक बड़े घटनाक्रम के रूप में देखा गया कि अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने गुरुवार को वाशिंगटन डीसी में अपनी बैठक के दौरान विदेश मंत्री जयशंकर के साथ सिख अलगाववादियों की हत्या का मामला उठाया. सूत्रों के मुताबिक, ब्लिंकन ने भारत से निज्जर की हत्या की जांच में कनाडा के साथ सहयोग करने का आग्रह किया है, जिससे दोनों देशों के बीच राजनयिक विवाद छिड़ गया है.

जयशंकर ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर कहा, 'आज विदेश विभाग में अपने मित्र अमेरिकी विदेश मंत्री ब्लिंकन से मिलकर बहुत अच्छा लगा. प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी की जून यात्रा के बाद व्यापक चर्चा. वैश्विक विकास पर नोट्स का आदान-प्रदान भी किया. बहुत जल्द हमारी 2+2 बैठक के लिए आधार तैयार कर लिया गया.'

  • Great to meet my friend US Secretary of State @SecBlinken at State Department today.

    A wide ranging discussion, following up on PM @narendramodi’s June visit. Also exchanged notes on global developments.

    Laid the groundwork of our 2+2 meeting very soon. pic.twitter.com/mOw9SIX1dO

    — Dr. S. Jaishankar (@DrSJaishankar) September 28, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

उन्होंने वाशिंगटन डीसी में हडसन इंस्टीट्यूट में बातचीत के दौरान एस जयशंकर ने कहा, 'यह कनाडा के साथ कई वर्षों से बड़ा विवाद का मुद्दा रहा है. लेकिन पिछले कुछ वर्षों में, यह फिर से चलन में आ गया है, क्योंकि हम इसे आतंकवादियों, चरमपंथी लोगों के प्रति एक बहुत ही उदार कनाडाई रवैया मानते हैं जो खुले तौर पर हिंसा की वकालत करते हैं और कनाडा की राजनीति की मजबूरियों के कारण उन्हें कनाडा में परिचालन की जगह दी गई है...'

उन्होंने आगे बताया कि कनाडाई प्रधान मंत्री जस्टिन ट्रूडो ने शुरू में निजी तौर पर और फिर हाउस ऑफ कॉमन्स से सार्वजनिक रूप से आरोप लगाए थे, जबकि भारत ने भी उसी तरीके से आरोपों का जवाब दिया था. जयशंकर ने आगे कहा कि यदि उनके (पीएम ट्रूडो) या उनकी सरकार के पास कुछ भी प्रासंगिक और विशिष्ट है जिसे वे चाहते हैं कि हम देखें, तो हम उस पर गौर करने के लिए तैयार हैं. अब, यह बातचीत इस बिंदु पर है.'

ओटावा भारत से संगठित अपराध का केंद्र बन गया है और यह अब मानव तस्करी, अलगाववाद, हिंसा और आतंकवाद के साथ मिल गया है. उन्होंने आगे जोड़ते हुए कहा, 'कनाडा का रवैया आतंकवादियों और चरमपंथियों के प्रति उदारवादी रहा है. कनाडा की राजनीति की मजबूरियों के कारण उन्हें कनाडा में परिचालन की जगह दी गई है. आज मैं ऐसी स्थिति में हूं जहां मेरे राजनयिक कनाडा में दूतावास या वाणिज्य दूतावास में जाने में असुरक्षित हैं. उन्हें सार्वजनिक रूप से डराया जाता है. इसने मुझे वीज़ा परिचालन को निलंबित करने के लिए मजबूर किया है.'

  • Washington, DC: On India- Canada row, EAM Dr S Jaishankar says, "This has been an issue of great, friction for many years with Canada. But in the last few years, it has come back, very much into play, because of what we consider to be a very permissive Canadian attitude towards… https://t.co/gpInEWeNnF pic.twitter.com/E0X7WRFzka

    — ANI (@ANI) September 29, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

28 सितंबर, गुरुवार को, कनाडाई प्रधान मंत्री जस्टिन ट्रूडो ने क्यूबेक में प्रेस को बताया कि उन्हें विश्वास है कि संयुक्त राज्य अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन दिन में अपने भारतीय समकक्ष एस जयशंकर के साथ बातचीत के दौरान खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या का मामला उठाएंगे.

उनकी यह टिप्पणी दोनों देशों के बीच तनावपूर्ण राजनयिक संबंधों के बीच आई है. ट्रूडो ने दावा किया कि उनकी सरकार के पास विश्वसनीय आरोप हैं कि भारतीय सरकारी एजेंट निज्जर की हत्या से जुड़े हो सकते हैं. यह पूछे जाने पर कि क्या ब्लिंकन इस मुद्दे को जयशंकर के सामने उठाएंगे, ट्रूडो ने कहा, 'अमेरिकी निश्चित रूप से इस मामले पर भारत सरकार से चर्चा करेंगे.'

भारत के विदेश मंत्रालय ने अभी तक इस तथ्य पर आधिकारिक तौर पर प्रतिक्रिया नहीं दी है कि यह मुद्दा विदेश मंत्री जयशंकर के समक्ष उठाया गया था. यह ध्यान रखना उचित है कि अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और ब्रिटेन सहित अन्य 'फाइव आई' वाले देश इस मामले पर बहुत सतर्क रुख अपना रहे हैं, क्योंकि वे भारत को क्षेत्र में चीन की बढ़ती आक्रामकता के प्रतिकार के रूप में देखते हैं. इस बीच, नई दिल्ली ने भारत के खिलाफ कनाडा के आरोपों को बेतुका और प्रेरित बताते हुए खारिज कर दिया है.

Last Updated : Sep 29, 2023, 10:40 PM IST
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