न्यूयॉर्क: विदेश मंत्री एस. जयशंकर संयुक्त राष्ट्र महासभा (United Nations General Assembly) के उच्च स्तरीय सत्र के लिए न्यूयॉर्क पहुंच चुके हैं. इस यात्रा पर वह द्विपक्षीय एवं बहुपक्षीय बैठकों समेत 50 से अधिक आधिकारिक कार्यक्रमों में भाग लेंगे. संयुक्त राष्ट्र (United Nations) में भारत की स्थायी प्रतिनिधि रुचिरा कम्बोज ने रविवार को ट्विटर पर लिखा कि ‘संयुक्त राष्ट्र महासभा के 77वें सत्र में भाग लेने के लिए यहां आए हमारे विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर (External Affairs Minister Dr. S Jaishankar) का स्वागत करके खुशी हुई. वह इस सप्ताह के दौरान कई द्विपक्षीय एवं बहुपक्षीय बैठकों में भाग लेंगे या उनकी सह-अध्यक्षता करेंगे.’
संयुक्त राष्ट्र महासभा के इस सप्ताह यहां शुरू हो रहे उच्च स्तरीय सत्र में भारत मुख्य रूप से आतंकवाद पर अंकुश, शांति रक्षा, जलवायु परिवर्तन रोकने संबंधी कार्यक्रम और कोविड-19 टीके का समान वितरण जैसे मुद्दों पर ध्यान केंद्रित करेगा. जयशंकर संयुक्त राष्ट्र महासभा के 77वें वार्षिक सत्र में हिस्सा लेने के लिए रविवार को न्यूयॉर्क पहुंचे (Jaishankar arrives in New York) जो खुली बहस के साथ 20 सितंबर को शुरू होगा.
पढ़ें: महारानी एलिजाबेथ-II का अंतिम संस्कार आज, दुनियाभर से शामिल होंगे वीआईपी
जयशंकर सत्र से अलग सप्ताह में 50 से अधिक द्विपक्षीय और बहुपक्षीय आधिकारिक बैठकों के बाद 24 सितंबर को विश्व नेताओं को संयुक्त राष्ट्र महासभा के मंच से संबोधित करेंगे. वह अल्बानिया, मालटा, मिस्र और इंडोनेशिया के अपने समकक्षों, संयुक्त राष्ट्र महासभा के 77वें सत्र के अध्यक्ष साबा कोरोसी और कई अन्य नेताओं के साथ द्विपक्षीय बैठकों के साथ अपनी यात्रा की शुरुआत करेंगे. वह फ्रांस-भारत-संयुक्त अरब अमीरात त्रिपक्षीय बैठक में भी हिस्सा लेंगे.
संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी मिशन ने ट्विटर पर पोस्ट किए एक वीडियो में कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा दिए पांच ‘एस’-सम्मान, संवाद, सहयोग, शांति और समृद्धि का मंत्र महासभा के 77वें सत्र में भारत का ‘मार्गदर्शक’ होगा. जयशंकर की 18 से 28 सितंबर की अमेरिकी यात्रा में संयुक्त राष्ट्र महासभा सत्र के बाद वाशिंगटन डीसी की भी एक यात्रा शामिल होगी, जबकि न्यूयॉर्क में वह संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस से मुलाकात करेंगे. संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में भारत का मौजूदा दो साल का कार्यकाल इस साल दिसंबर में समाप्त हो जाएगा, जब भारत परिषद की अध्यक्षता करेगा.
(पीटीआई-भाषा)