इस्लामाबाद : पाकिस्तान के एक शीर्ष अधिकारी ने कहा है कि उनका देश अपने नागरिकों को कोरोना वायरस से बचाने की कोशिश में जुटा है और जरूरत पड़ने पर वह अपने पड़ोसियों को भी सहायता प्रदान करने के लिए तैयार है. देश में कोरोना वायरस के अब तक 21 सत्यापित मामले सामने आये हैं.
विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता आयशा फारूकी ने बुधवार को कहा कि सरकार कोरोना वायरस के प्रसार को सीमित करने के लिए स्थिति पर नजर रख रही है.
उन्होंने कहा, 'कोरोना वायरस के सिलसिले में जैसा कि मैंने पहले कहा था कि पाकिस्तान सरकार स्थिति पर नजर बनाए हुए है और वह पाकिस्तान के अंदर नागरिकों के लिए जरूरी कदम कठाएगी एवं अपने पड़ोसियों को कोई भी जरूरी सहायता प्रदान कर सकती है.'
फारूकी ने हालांकि इस सवाल का जवाब नहीं दिया कि क्या पाकिस्तान इस घातक विषाणु का मुकाबला करने के लिए भारत के साथ मिलकर काम करने को तैयार है.
जब उनसे यह पूछा गया कि अन्य देशों की तरह पाकिस्तान भी विषाणु को काबू में करने के लिए यात्रा परामर्श जारी करने जैसे ठोस कदम क्यों नहीं उठा रहा है तो उन्होंने कहा कि हर देश अपने नागरिकों की सुरक्षा के लिए कदम उठा रहा है.
उन्होंने कहा, 'कोरोना वायरस को फैलने से रोकने के लिए उपयुक्त कदम उठाना उन देशों की प्राथमिक जिम्मेदारी है. पाकिस्तान भी अपने लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करने और कोरोनो वायरस को फैलने से रोकने के लिए अपनी सीमाओं और हवाई अड्डे पर जरूरी कदम उठा रहा है.'
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने कोरोना वायरस के खतरे पर चर्चा करने के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा समिति की बैठक बुलाई है.
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शुक्रवार को गिल्गिट बाल्टिस्तान के 31 वर्षीय एक बाशिंदे में कोरोना वायरस संक्रमण की पुष्टि होने के साथ ही पाकिस्तान में इस रोग के कुल 21 मामले हो गये हैं.