ETV Bharat / international

भारत ने मानवाधिकार परिषद में पाक को 'आतंकवाद की घातक पोषण स्थली' बताया - मानवाधिकार पर भारत का पाकिस्तान को जवाब

मानवाधिकार परिषद के 43वें सत्र में जम्मू-कश्मीर को लेकर पाकिस्तान द्वारा उठाई गई चिंता पर भारत ने कड़ा जवाब दिया है. पाकिस्तान को 'आतंकवाद की घातक पोषण स्थली' भारत ने बताया है. जानें विस्तार से...

etv bharat
भारत के स्थायी मिशन में प्रथम सचिव विमर्श आर्यन
author img

By

Published : Feb 28, 2020, 10:03 AM IST

Updated : Mar 2, 2020, 8:15 PM IST

जिनेवा : पाकिस्तान को 'आतंकवाद की घातक पोषण स्थली' भारत ने बताया है. दरअसल जम्मू-कश्मीर में मानवाधिकार को लेकर पाकिस्तान द्वारा उठाई गई चिंताओं की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि उसे खुद यह याद रखना चाहिए कि आतंकवाद मानवाधिकार के उल्लंघन का सबसे खतरनाक चेहरा है.

मानवाधिकार परिषद के 43वें सत्र में जम्मू-कश्मीर को लेकर पाकिस्तान द्वारा उठाई गई चिंता पर भारत ने जवाब देने के अधिकार का इस्तेमाल किया. यहां पर भारत के स्थायी मिशन में प्रथम सचिव विमर्श आर्यन ने कहा कि पिछले सात महीनों से भारत ने जम्मू-कश्मीर में कई लोकतांत्रिक और प्रगतिशील विधायी सुधार किए हैं.

उन्होंने कहा कि इस सुधार का लक्ष्य भारत के नागरिकों के संपूर्ण मानवाधिकार को संरक्षण देना है और भारतीय समाज के ताने-बाने को क्षति पहुंचाने की पाकिस्तान की कोशिश को रोकना है.

इसे भी पढ़ें- भारत ने तुर्की को उसके आंतरिक मामलों पर टिप्पणी करने से बचने की सलाह दी

आर्यन ने कहा, 'जम्मू-कश्मीर भारत का अभिन्न अंग रहा है, अभिन्न अंग है और आगे भी रहेगा और पाकिस्तान को इस पर ललचाना बंद कर देना चाहिए.'

उन्होंने कहा कि पाकिस्तान को दूसरों को मानवाधिकार पर ज्ञान देना बंद कर देना चाहिए और याद रखना चाहिए कि आतंकवाद मानवाधिकार उल्लंघन का सबसे भयावह रूप है.

जिनेवा : पाकिस्तान को 'आतंकवाद की घातक पोषण स्थली' भारत ने बताया है. दरअसल जम्मू-कश्मीर में मानवाधिकार को लेकर पाकिस्तान द्वारा उठाई गई चिंताओं की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि उसे खुद यह याद रखना चाहिए कि आतंकवाद मानवाधिकार के उल्लंघन का सबसे खतरनाक चेहरा है.

मानवाधिकार परिषद के 43वें सत्र में जम्मू-कश्मीर को लेकर पाकिस्तान द्वारा उठाई गई चिंता पर भारत ने जवाब देने के अधिकार का इस्तेमाल किया. यहां पर भारत के स्थायी मिशन में प्रथम सचिव विमर्श आर्यन ने कहा कि पिछले सात महीनों से भारत ने जम्मू-कश्मीर में कई लोकतांत्रिक और प्रगतिशील विधायी सुधार किए हैं.

उन्होंने कहा कि इस सुधार का लक्ष्य भारत के नागरिकों के संपूर्ण मानवाधिकार को संरक्षण देना है और भारतीय समाज के ताने-बाने को क्षति पहुंचाने की पाकिस्तान की कोशिश को रोकना है.

इसे भी पढ़ें- भारत ने तुर्की को उसके आंतरिक मामलों पर टिप्पणी करने से बचने की सलाह दी

आर्यन ने कहा, 'जम्मू-कश्मीर भारत का अभिन्न अंग रहा है, अभिन्न अंग है और आगे भी रहेगा और पाकिस्तान को इस पर ललचाना बंद कर देना चाहिए.'

उन्होंने कहा कि पाकिस्तान को दूसरों को मानवाधिकार पर ज्ञान देना बंद कर देना चाहिए और याद रखना चाहिए कि आतंकवाद मानवाधिकार उल्लंघन का सबसे भयावह रूप है.

Last Updated : Mar 2, 2020, 8:15 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.