ETV Bharat / international

रिपब्लिकन पार्टी ने डेमोक्रेटिक दल के मतदान विधेयक को अटकाया - Democratic Party voting bill

विपक्षी रिपब्लिकन पार्टी के विरोध की वजह से 'फॉर दी पीपल एक्ट' विधेयक चर्चा के लिए जरूरी समर्थन भी नहीं जुटा सका. यह सीनेट में अटक गया.

capitol
capitol
author img

By

Published : Jun 23, 2021, 4:52 PM IST

वाशिंगटन : अमेरिका में डेमोक्रेटिक पार्टी का चुनाव और मतदान कानून में व्यापक बदलाव का प्रयास मंगलवार को सीनेट में अटक गया. विपक्षी रिपब्लिकन पार्टी के विरोध की वजह से यह विधेयक चर्चा के लिए जरूरी समर्थन भी नहीं जुटा सका.

विधेयक को 'फॉर दी पीपल एक्ट' के नाम से जाना जाता है, जिसमें चुनाव के करीब करीब सभी पहलुओं को छुआ गया, मसलन चुनाव कैसे कराएं जाएं, मतदान में आने वाली बाधाओं को दूर करना, राजनीति में धन के प्रभाव पर नकेल कसना आदि.

रिपब्लिकन पार्टी के कई सदस्यों का कहना है कि यह उपाय राज्य द्वारा बिना धोखाधड़ी के, अपने चुनाव कराने के अधिकार पर संघीय ढांचे का उल्लंघन करता है और इससे अंत: डेमोक्रेटिक पार्टी को फायदा होगा.

सदन में इस विधेयक पर चर्चा शुरू कराने के लिए डेमोक्रेटिक सदस्यों को 60 वोट की दरकार थी लेकिन रिपब्लिकन पार्टी के विरोध की वजह से यह विधेयक बहस के लिए जरूरी समर्थन नहीं जुटा सका. यह विधेयक उस वक्त गिरा जब उपराष्ट्रपति कमला हैरिस पीठासीन अधिकारी थीं.

सीनेट में बहुमत के नेता चक शूमर ने कहा, हमें जब तक कामयाबी हासिल नहीं हो जाती है, हम तब तक लड़ते रहेंगे. सीनेट में मतदान से पहले राष्ट्रपति जो बाइडन ने ट्वीट किया था, डेमोक्रेटिक पार्टी एकजुट है और मतदान के अधिकार की रक्षा करने वाले, हमारे चुनाव की विश्वसनीयता सुनिश्चित करने वाले तथा हमारे लोकतंत्र को दुरुस्त और मजबूत करने वाले इस विधेयक को पारित कराने के लिए प्रतिबद्ध हैं.

पढ़ें :- 'भारत-अमेरिका के लिए महत्त्वपूर्ण भागीदार, दोनों के बीच रक्षा संबंध हुए हैं मजबूत'

डेमोक्रेटिक पार्टी जो भी तय करे, लेकिन उसे उन्हीं चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा जिससे वह मंगलवार को गुजरी है. रिपब्लिकन पार्टी ने जिस तरीके का इस्तेमाल किया है, यह वही है जिसका इस्तेमाल डेमोक्रेटिक पार्टी के सदस्य डोनाल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति रहने के दौरान किसी विधेयक पर चर्चा रोकने के लिए करते थे.

रिपब्लिकन पार्टी ने अपने रुख में नरसी का कोई संकेत नहीं दिया है. पार्टी नेता मिच मैककोनेल ने विधेयक को एक ऐसा समाधान बताया है जो समस्या की तलाश में है. उन्होंने इसे पारित नहीं होने देने का संकल्प जताया.

(एपी)

वाशिंगटन : अमेरिका में डेमोक्रेटिक पार्टी का चुनाव और मतदान कानून में व्यापक बदलाव का प्रयास मंगलवार को सीनेट में अटक गया. विपक्षी रिपब्लिकन पार्टी के विरोध की वजह से यह विधेयक चर्चा के लिए जरूरी समर्थन भी नहीं जुटा सका.

विधेयक को 'फॉर दी पीपल एक्ट' के नाम से जाना जाता है, जिसमें चुनाव के करीब करीब सभी पहलुओं को छुआ गया, मसलन चुनाव कैसे कराएं जाएं, मतदान में आने वाली बाधाओं को दूर करना, राजनीति में धन के प्रभाव पर नकेल कसना आदि.

रिपब्लिकन पार्टी के कई सदस्यों का कहना है कि यह उपाय राज्य द्वारा बिना धोखाधड़ी के, अपने चुनाव कराने के अधिकार पर संघीय ढांचे का उल्लंघन करता है और इससे अंत: डेमोक्रेटिक पार्टी को फायदा होगा.

सदन में इस विधेयक पर चर्चा शुरू कराने के लिए डेमोक्रेटिक सदस्यों को 60 वोट की दरकार थी लेकिन रिपब्लिकन पार्टी के विरोध की वजह से यह विधेयक बहस के लिए जरूरी समर्थन नहीं जुटा सका. यह विधेयक उस वक्त गिरा जब उपराष्ट्रपति कमला हैरिस पीठासीन अधिकारी थीं.

सीनेट में बहुमत के नेता चक शूमर ने कहा, हमें जब तक कामयाबी हासिल नहीं हो जाती है, हम तब तक लड़ते रहेंगे. सीनेट में मतदान से पहले राष्ट्रपति जो बाइडन ने ट्वीट किया था, डेमोक्रेटिक पार्टी एकजुट है और मतदान के अधिकार की रक्षा करने वाले, हमारे चुनाव की विश्वसनीयता सुनिश्चित करने वाले तथा हमारे लोकतंत्र को दुरुस्त और मजबूत करने वाले इस विधेयक को पारित कराने के लिए प्रतिबद्ध हैं.

पढ़ें :- 'भारत-अमेरिका के लिए महत्त्वपूर्ण भागीदार, दोनों के बीच रक्षा संबंध हुए हैं मजबूत'

डेमोक्रेटिक पार्टी जो भी तय करे, लेकिन उसे उन्हीं चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा जिससे वह मंगलवार को गुजरी है. रिपब्लिकन पार्टी ने जिस तरीके का इस्तेमाल किया है, यह वही है जिसका इस्तेमाल डेमोक्रेटिक पार्टी के सदस्य डोनाल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति रहने के दौरान किसी विधेयक पर चर्चा रोकने के लिए करते थे.

रिपब्लिकन पार्टी ने अपने रुख में नरसी का कोई संकेत नहीं दिया है. पार्टी नेता मिच मैककोनेल ने विधेयक को एक ऐसा समाधान बताया है जो समस्या की तलाश में है. उन्होंने इसे पारित नहीं होने देने का संकल्प जताया.

(एपी)

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.