श्रीनगर: जम्मू कश्मीर के राजौरी में गर्भवती महिला की मौत के बाद सरकारी मेडिकल कॉलेज (GMC) के पांच डॉक्टरों को सस्पेंड कर दिया गया है. इस घटना से कथित चिकित्सा लापरवाही की चिंताएं पैदा हो गई हैं. अधिकारियों ने मंगलवार को यह जानकारी दी.
रिपोर्ट के मुताबिक बदहाल कोटरंका निवासी रजीम अख्तर (35) की रविवार दोपहर जीएमसी राजौरी में मौत हो गई थी. वह साढ़े पांच महीने की गर्भवती थी और उन्हें जटिलताओं के चलते अस्पताल भर्ती कराया गया था. शुरुआत में उनका इलाज कंडी के एक अस्पताल में किया गया, बाद में उन्हें विशेष देखभाल के लिए जीएमसी राजौरी रेफर कर दिया गया.
पांच डॉक्टर सस्पेंड
अधिकारियों ने बताया कि मामले में पांच डॉक्टरों को निलंबित कर दिया गया है, जबकि दो डॉक्टरों और पैरामेडिक्स और सहायक कर्मचारियों सहित आठ अन्य कर्मचारियों को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है. निलंबित डॉक्टरों में डॉ वीनू भारती और डॉ नीतू , डॉ शकीर अहमद पार्रे, डॉ शफकत उल्ला और डॉ अनीफ सलीम राथर शामिल हैं.
कारण बताओ नोटिस जारी
रिपोर्ट के मुताबिक जिस वक्त महिला का इलाज चल रहा था, उस समय ये डॉक्टर इमरजेंसी वार्ड में नाइट ड्यूटी पर थे. मामले में दो डॉक्टरों और आठ अन्य स्टाफ सदस्यों को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है. उन्होंने कहा कि उन्हें कथित लापरवाही के बारे में जीएमसी राजौरी के प्रिंसिपल को स्पष्टीकरण देने का निर्देश दिया गया है.
इस घटना की राजनीतिक नेताओं ने आलोचना की है. बुधल के विधायक जावेद इकबाल चौधरी ने महिला की मौत पर चिंता व्यक्त की, जबकि राजौरी के पूर्व विधायक चौधरी कमर हुसैन ने मंगलवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर जवाबदेही की मांग की.
अपनी मृत्यु से पहले, महिला को एक दुखद क्षति हुई थी, पिछले सप्ताह ही एक रहस्यमय बीमारी के कारण उसके तीन बच्चे मर गए थे. जीएमसी राजौरी प्रशासन ने आश्वासन दिया है कि गहन जांच चल रही है, और निष्कर्षों के आधार पर उचित कार्रवाई की जाएगी.