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अमेरिका में भारतीय ने बनाया पैनिक चैम्बर, सार्वजिनक स्थानों पर हो सकता है उपयोग - अत्यधिक घबराहट महसूस

अमेरिका में एक भारतीय ने ऐसा पैनिक चैम्बर तैयार किया है, जिसका इस्तेमाल सार्वजनिक स्थान पर अत्यधिक घबराहट महसूस होने पर किया जा सकता है. इस कक्ष को विश्वविद्यालय परिसर, अस्पतालों, हवाईअड्डों, मॉल और भीड़ वाले अन्य स्थानों पर लगाया जा सकता है.

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Published : Nov 17, 2020, 4:12 PM IST

वॉशिंगटन : अमेरिका में एक भारतीय ने ऐसा अनूठा कक्ष (चैम्बर) तैयार किया है, जिसका इस्तेमाल लोग सार्वजनिक स्थान पर अत्यधिक घबराहट महसूस होने पर अपनी स्थिति पर काबू पाने के लिए कर सकते हैं.

सोमवार को जारी एक बयान के अनुसार, न्यूयॉर्क स्थित 'प्रैट इंस्टीट्यूट' से इंडस्ट्रियल डिजाइन में स्नातकोत्तर की डिग्री प्राप्त कर चुके कार्तिकेय मित्तल (32) ने 'पोस्ट ट्रॉमैटिक स्ट्रैस डिसऑर्डर' (पीटीएसडी यानी किसी त्रासदीपूर्ण घटना के बाद तनाव के कारण पैदा होने वाले मानसिक विकार) से निपटने में मदद करने के लिए यह कक्ष तैयार किया है.

इस विकार के कारण व्यक्ति के सामाजिक जीवन में कई समस्याएं पैदा हो सकती हैं और उसे रोजाना के काम करने में भी दिक्कत आ सकती हैं.

बयान के अनुसार, मित्तल ने डिजाइन और इंजीनियरिंग में अपने ज्ञान और मनोचिकित्सा के क्षेत्र में अपने अनुसंधान की मदद से 'रीबूट' नामक यह कक्ष बनाया है, जिसे विश्वविद्यालय परिसरों, अस्पतालों, हवाईअड्डों, मॉल और भीड़ वाले अन्य स्थानों पर लगाया जा सकता है.

यह कक्ष संवेदी उद्दीपन को नियंत्रित करता है और ऐसा माहौल मुहैया कराता है, जिसमें व्यक्ति बिना किसी बाधा के अपनी भावनाओं पर काबू पा सकता है.

बयान में कहा गया है कि यह कक्ष व्यक्ति को ऐसा स्थान मुहैया कराया है, जहां वह आवश्यकता पड़ने पर अपने चिकित्सक की सलाह के अनुसार उपचारात्मक पद्धति का इस्तेमाल कर सकता है.

कार्तिकेय ने रीबूट के लिए अपने अनुसंधान के तहत न्यूयार्क में पीटीएसडी सहायता समूहों से मुलाकात की और मनोचिकित्सकों से विचार-विमर्श किया.

पढ़ें - कोरोना टीका : मॉडर्ना का दावा, इसका टीका 94 फीसदी से अधिक प्रभावकारी

दिल्ली के 'कॉलेज ऑफ आर्ट' के पूर्व छात्र कार्तिकेय ने पाया कि किसी त्रासद घटना के बाद अत्यधिक घबराहट की समस्या से पीड़ित लोगों को किसी भी समय, खासकर ऐसे सार्वजनिक स्थानों पर दौरा पड़ सकता है, जहां वह अपने चिकित्सक से तत्काल संपर्क नहीं कर सकते. इसी समस्या के समाधान के लिए कार्तिकेय ने यह कक्ष बनाया.

बयान में कहा गया है कि इस कक्ष की चौड़ाई पांच फीट और ऊंचाई 7.5 फुट है और इसे चार फुट तक गहरा किया जा सकता है. इसे आवश्यकता के अनुसार छोटा या बड़ा किया जा सकता है. इसे इस तरह से डिजाइन किया गया है कि इसमें से कोई आवाज बाहर नहीं जा सकती.

वॉशिंगटन : अमेरिका में एक भारतीय ने ऐसा अनूठा कक्ष (चैम्बर) तैयार किया है, जिसका इस्तेमाल लोग सार्वजनिक स्थान पर अत्यधिक घबराहट महसूस होने पर अपनी स्थिति पर काबू पाने के लिए कर सकते हैं.

सोमवार को जारी एक बयान के अनुसार, न्यूयॉर्क स्थित 'प्रैट इंस्टीट्यूट' से इंडस्ट्रियल डिजाइन में स्नातकोत्तर की डिग्री प्राप्त कर चुके कार्तिकेय मित्तल (32) ने 'पोस्ट ट्रॉमैटिक स्ट्रैस डिसऑर्डर' (पीटीएसडी यानी किसी त्रासदीपूर्ण घटना के बाद तनाव के कारण पैदा होने वाले मानसिक विकार) से निपटने में मदद करने के लिए यह कक्ष तैयार किया है.

इस विकार के कारण व्यक्ति के सामाजिक जीवन में कई समस्याएं पैदा हो सकती हैं और उसे रोजाना के काम करने में भी दिक्कत आ सकती हैं.

बयान के अनुसार, मित्तल ने डिजाइन और इंजीनियरिंग में अपने ज्ञान और मनोचिकित्सा के क्षेत्र में अपने अनुसंधान की मदद से 'रीबूट' नामक यह कक्ष बनाया है, जिसे विश्वविद्यालय परिसरों, अस्पतालों, हवाईअड्डों, मॉल और भीड़ वाले अन्य स्थानों पर लगाया जा सकता है.

यह कक्ष संवेदी उद्दीपन को नियंत्रित करता है और ऐसा माहौल मुहैया कराता है, जिसमें व्यक्ति बिना किसी बाधा के अपनी भावनाओं पर काबू पा सकता है.

बयान में कहा गया है कि यह कक्ष व्यक्ति को ऐसा स्थान मुहैया कराया है, जहां वह आवश्यकता पड़ने पर अपने चिकित्सक की सलाह के अनुसार उपचारात्मक पद्धति का इस्तेमाल कर सकता है.

कार्तिकेय ने रीबूट के लिए अपने अनुसंधान के तहत न्यूयार्क में पीटीएसडी सहायता समूहों से मुलाकात की और मनोचिकित्सकों से विचार-विमर्श किया.

पढ़ें - कोरोना टीका : मॉडर्ना का दावा, इसका टीका 94 फीसदी से अधिक प्रभावकारी

दिल्ली के 'कॉलेज ऑफ आर्ट' के पूर्व छात्र कार्तिकेय ने पाया कि किसी त्रासद घटना के बाद अत्यधिक घबराहट की समस्या से पीड़ित लोगों को किसी भी समय, खासकर ऐसे सार्वजनिक स्थानों पर दौरा पड़ सकता है, जहां वह अपने चिकित्सक से तत्काल संपर्क नहीं कर सकते. इसी समस्या के समाधान के लिए कार्तिकेय ने यह कक्ष बनाया.

बयान में कहा गया है कि इस कक्ष की चौड़ाई पांच फीट और ऊंचाई 7.5 फुट है और इसे चार फुट तक गहरा किया जा सकता है. इसे आवश्यकता के अनुसार छोटा या बड़ा किया जा सकता है. इसे इस तरह से डिजाइन किया गया है कि इसमें से कोई आवाज बाहर नहीं जा सकती.

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