नई दिल्ली /ग्रेटर नोएडा: चुनाव आचार संहिता के खत्म होते ही यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (YIEDA) एक्शन में आ गया है. प्राधिकरण ने अपने क्षेत्र के गांवों को स्मार्ट विलेज बनाने का मास्टर प्लान तैयार कर लिया है.
जेवर में प्रस्तावित नोएडा इंटरनेशनल ग्रीनफील्ड एयरपोर्ट के काम में भी तेजी लाई जाएगी. इसके लिए गुरुवार को ग्लोबल ई-टेंडर जारी किए जा सकते हैं. एयरपोर्ट के निर्माण का काम निर्धारित समय से एक वर्ष पहले यानी 2022 में पूरा करने पर जोर दिया जाएगा.
लोकसभा चुनाव में आचार संहिता के कारण मार्च में हुई बोर्ड बैठक में बजट नहीं आ पाया था. गुरुवार को होने वाली बोर्ड बैठक में बजट पेश किया जाएगा. यह विकासोन्मुखी बजट होगा. बजट में विकास के अन्य कार्यों के साथ ही गांवों के विकास पर विशेष जोर दिया जाएगा.
यमुना प्राधिकरण के सीईओ डॉ. अरुणवीर सिंह ने बताया कि यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण क्षेत्र के गांवों को स्मार्ट विलेज बनाने की परियोजना लाई जाएगी.
अब तक इस बात का आरोप लगता रहा है कि प्राधिकरण गांवों के विकास में रुचि नहीं दिखाता है लेकिन, गुरुवार को पेश होने वाले बजट में यह धारणा गलत साबित हो जाएगी.
डॉ. अरुणवीर सिंह ने बताया कि गांवों का विकास के लिए सीवर, पानी, सड़क, बिजली आदि का मास्टर प्लान तैयार किया गया है.
सीईओ ने बताया कि देश के सबसे बड़े एयरपोर्ट के निर्माण के लिए वर्ष 2023 का समय निर्धारित किया गया है लेकिन, प्राधिकरण की कोशिश होगी कि यह काम 2022 तक पूरा कर लिया जाए.
उन्होंने बताया कि एयरपोर्ट की कनेक्टिविटी के लिए मेट्रो का डीपीआर तैयार हो चुका है. 2025 तक एयरपोर्ट मेट्रो दौडने लगेगी. ग्रेटर नोएडा नॉलेज पार्क दो से एयरपोर्ट तक करीब 35 किमी लंबे मेट्रो ट्रैक का निर्माण होगा. इस पर 5708 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है.