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ट्विन टावर के मलवा को हटाने का काम हो सकता है प्रभावित, नोएडा प्राधिकरण ने अभी तक नहीं दी अनुमति - Edphis Company is removing debris of Twin Tower

ट्विन टावर से मलवा हटाने का काम रूक सकता (work of clearing debris of Twin Towers may stop) है, क्योंकि सेक्टर 80 सी एंड डी प्रोजेक्ट तक भेजने की अनुमति नोएडा प्राधिकरण ने नहीं दी है. इस कारण मलवा डंप की हालत में पड़ा है. जब तक मलवा हटेगा नहीं तो बाकी मलवा हटाने का काम प्रभावित होगा.

ट्विन टावर का मलवा हटाने के काम में बाधा
ट्विन टावर का मलवा हटाने के काम में बाधा
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Published : Sep 26, 2022, 10:55 PM IST

नई दिल्ली/नोएडाः देश की बहुचर्चित बहुमंजिला इमारत ट्विन टावर ध्वस्त होने के बाद भी सुर्खियों में है. दरअसल, मामला ट्विन टावर के मलवा और स्क्रैप हटाने से जुड़ा हुआ है. ईटीवी भारत की टीम जब ट्विन टॉवर्स सेक्टर 93ए पहुंची और ग्राउंड जीरो लेवल पर मलवा हटाने के संबंध में जानकारी जुटाना शुरू किया तो सामने आया कि करीब 200 मजदूरों और एक दर्जन से अधिक मशीनों को लगाकर मलवा और स्क्रैप हटाने का काम हो रहा है. work of clearing debris of Twin Towers may stop

इसमें स्क्रैप हटाने का काम एडिफिस कंपनी द्वारा किया गया है, जिसमें करीब 400 टन स्क्रैप एडिफिस कंपनी बेच चुकी है. वहीं ट्रायल के रूप में महज 200 टन कंक्रीट सी एंड डी मिक्सिंग प्लांट पर लाया गया है. शेष मलवा मौके पर ही डंप की हालत में पड़ा है, क्योंकि मलवा ट्विन टावर से सेक्टर 80 सी एंड डी प्रोजेक्ट तक भेजने की अनुमति नोएडा प्राधिकरण द्वारा नहीं दी गई है. मलवा हटाने का काम करा रहे हैं सुपरवाइजर पंकज सिंह ने बताया कि काम को रोका जा सकता है क्योंकि ट्विन टावर की मलवा स्क्रैप से अलग करने के बाद रखने का कोई स्थान मौके पर मौजूद नहीं है और जब मलवा मौके से नहीं हटाया जाएगा तो ऐसी स्थिति में काम करने की दशा में नहीं रहेगी.

ट्विन टावर का मलवा हटाने के काम में बाधा
सुप्रीम कोर्ट द्वारा जब 28 अगस्त को ट्विन टावर को ध्वस्त करने का आदेश दिया गया था, तो वहीं मलवा को हटाने का समय एडिफिस कंपनी द्वारा तीन महीने का मांगा गया था. जिसमें कहा गया था कि तीन महीने के अंदर स्क्रैप और मलवा दोनों ही पूरी तरीके से ट्विन टॉवर की जमीन से हटा दिया जाएगा, पर जिस तरह से पिछले 28 अगस्त के बाद से मालवा यथास्थिति डंप होता जा रहा है, उसे देखकर कहा जा सकता है कि तीन महीने के अंदर पूरी तरीके से मलवा हटा पाना संभव नहीं है.
ट्विन टावर का मलवा हटाने के काम में बाधा
ट्विन टावर का मलवा हटाने के काम में बाधा

ये भी पढ़ेंः Twin Towers demolition के बाद एनसीआर के प्रदूषण में नहीं हुई बढ़ोतरी, जानें क्या है हाल

एडिफिस कंपनी के सुपरवाइजर पंकज सिंह ने बताया कि मौके पर करीब 5000 टन मलवा जमा हो गया है, पर उसे सेक्टर 93ए से सेक्टर 80 सी एंड डी मिक्सिंग प्लांट तक भेजने की अनुमति नोएडा प्राधिकरण द्वारा अभी तक नहीं दी गई है. इसके चलते मलवा डंप होता जा रहा है. ऐसी ही स्थिति आगे भी बनती रही तो जल्द काम को रोकना पड़ सकता है, क्योंकि मलवा अत्यधिक होने पर आगे का काम प्रभावित होंगे.

मौके पर मौजूद 75,000 टन मलबे से स्क्रैप को अलग और कंक्रीट को अलग करना संभव नहीं हो पाएगा. उन्होंने बताया कि नोएडा प्राधिकरण द्वारा कंक्रीट को भेजने की एनओसी देने की बात कही गई है. वहीं यह भी प्रकाश में आया है कि नोएडा प्राधिकरण का करीब 46 लाख रुपया बकाया है जिसके चलते भी यह समस्या उत्पन्न हुई है.

नई दिल्ली/नोएडाः देश की बहुचर्चित बहुमंजिला इमारत ट्विन टावर ध्वस्त होने के बाद भी सुर्खियों में है. दरअसल, मामला ट्विन टावर के मलवा और स्क्रैप हटाने से जुड़ा हुआ है. ईटीवी भारत की टीम जब ट्विन टॉवर्स सेक्टर 93ए पहुंची और ग्राउंड जीरो लेवल पर मलवा हटाने के संबंध में जानकारी जुटाना शुरू किया तो सामने आया कि करीब 200 मजदूरों और एक दर्जन से अधिक मशीनों को लगाकर मलवा और स्क्रैप हटाने का काम हो रहा है. work of clearing debris of Twin Towers may stop

इसमें स्क्रैप हटाने का काम एडिफिस कंपनी द्वारा किया गया है, जिसमें करीब 400 टन स्क्रैप एडिफिस कंपनी बेच चुकी है. वहीं ट्रायल के रूप में महज 200 टन कंक्रीट सी एंड डी मिक्सिंग प्लांट पर लाया गया है. शेष मलवा मौके पर ही डंप की हालत में पड़ा है, क्योंकि मलवा ट्विन टावर से सेक्टर 80 सी एंड डी प्रोजेक्ट तक भेजने की अनुमति नोएडा प्राधिकरण द्वारा नहीं दी गई है. मलवा हटाने का काम करा रहे हैं सुपरवाइजर पंकज सिंह ने बताया कि काम को रोका जा सकता है क्योंकि ट्विन टावर की मलवा स्क्रैप से अलग करने के बाद रखने का कोई स्थान मौके पर मौजूद नहीं है और जब मलवा मौके से नहीं हटाया जाएगा तो ऐसी स्थिति में काम करने की दशा में नहीं रहेगी.

ट्विन टावर का मलवा हटाने के काम में बाधा
सुप्रीम कोर्ट द्वारा जब 28 अगस्त को ट्विन टावर को ध्वस्त करने का आदेश दिया गया था, तो वहीं मलवा को हटाने का समय एडिफिस कंपनी द्वारा तीन महीने का मांगा गया था. जिसमें कहा गया था कि तीन महीने के अंदर स्क्रैप और मलवा दोनों ही पूरी तरीके से ट्विन टॉवर की जमीन से हटा दिया जाएगा, पर जिस तरह से पिछले 28 अगस्त के बाद से मालवा यथास्थिति डंप होता जा रहा है, उसे देखकर कहा जा सकता है कि तीन महीने के अंदर पूरी तरीके से मलवा हटा पाना संभव नहीं है.
ट्विन टावर का मलवा हटाने के काम में बाधा
ट्विन टावर का मलवा हटाने के काम में बाधा

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एडिफिस कंपनी के सुपरवाइजर पंकज सिंह ने बताया कि मौके पर करीब 5000 टन मलवा जमा हो गया है, पर उसे सेक्टर 93ए से सेक्टर 80 सी एंड डी मिक्सिंग प्लांट तक भेजने की अनुमति नोएडा प्राधिकरण द्वारा अभी तक नहीं दी गई है. इसके चलते मलवा डंप होता जा रहा है. ऐसी ही स्थिति आगे भी बनती रही तो जल्द काम को रोकना पड़ सकता है, क्योंकि मलवा अत्यधिक होने पर आगे का काम प्रभावित होंगे.

मौके पर मौजूद 75,000 टन मलबे से स्क्रैप को अलग और कंक्रीट को अलग करना संभव नहीं हो पाएगा. उन्होंने बताया कि नोएडा प्राधिकरण द्वारा कंक्रीट को भेजने की एनओसी देने की बात कही गई है. वहीं यह भी प्रकाश में आया है कि नोएडा प्राधिकरण का करीब 46 लाख रुपया बकाया है जिसके चलते भी यह समस्या उत्पन्न हुई है.

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