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महिला डॉक्टरों की लापरवाही से नवजात की मौत, पीड़ित ने NCPCR में की शिकायत

ग्रेटर नोएडा के एक निजी अस्पताल में डॉक्टरों की लापरवाही से नवजात की मौत होने के मामले में पीड़ित ने राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग में शिकायत दर्ज कराई है.

क्लाउड नाइन अस्पताल, etv bharat
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Published : Aug 8, 2019, 12:21 PM IST

नई दिल्ली/नोएडा : राजधानी दिल्ली से सटे ग्रेटर नोएडा के एक निजी अस्पताल में डॉक्टरों की लापरवाही से नवजात की मौत की जांच करने के लिए बुधवार को राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की टीम नोएडा पहुंची.

नोएडा में डॉक्टरों की लापरवाही से नवजात की मौत

राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की टीम ने बताया की ग्रेटर नोएडा निवासी अंकित गर्ग ने राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग में शिकायत दर्ज कराई थी.
जिसकी जांच करने के लिए आयोग के सदस्य डॉ. आरजे आनंद और आयोग की सीनियर टेक्निकल एक्सपर्ट शाइस्ता के. शाह को भेजा है.

'महिला डॉक्टरों की लापरवाही से हुई नवजात की मौत'
शिकायत के अनुसार 9 मार्च 2019 को पत्नी श्वेता कश्यप को प्रसव के लिए सेक्टर-51 स्थित क्लाउड नाइन अस्पताल में भर्ती कराया था. वहां प्रसव के बाद अस्पताल की दो महिला डॉक्टरों की लापरवाही से नवजात की मौत हो गई थी.

पीड़ित ने कराया मुकद्दमा दर्ज
इस बाबत पीड़ित ने अस्पताल प्रबंधन और महिला डॉक्टर को जिम्मेदार मानते हुए सेक्टर-49 कोतवाली में लापरवाही का मुकदमा दर्ज कराया था.
जिलाधिकारी ने जांच के लिए सीएमओ की अध्यक्षता में कमेटी बनाई और डॉक्टरों की लापरवाही मामले की जांच मुख्य चिकित्सा अधिकारी के साथ तीन सदस्यीय टीम ने की थी.

'डॉक्टरों को बचाने का प्रयास किया जा रहा है'
जांच की रिपोर्ट से पीड़ित संतुष्ट नहीं हुआ. पीड़ित का आरोप है कि विभाग की ओर से अस्पताल प्रबंधन और आरोपी डॉक्टरों को बचाने का प्रयास किया जा रहा है.
जांच के दौरान उससे किसी भी तरह की कोई पूछताछ नहीं की गई.

'दोषी के खिलाफ होगी सख्त कार्रवाई'
शिकायत दर्ज होने के बाद राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने जिलाधिकारी से जांच रिपोर्ट तलब की. उस रिपोर्ट का अध्ययन करने के बाद आयोग के सदस्य डॉ. आरजे आनंद बुधवार को आयोग की सीनियर टेक्निकल एक्सपर्ट शाइस्ता के.

शाह के साथ सेक्टर-51 स्थित क्लाउड नाइन अस्पताल गए और वहां बारीकी से जांच की. डॉ. आरजी आनंद ने बताया कि इस मामले गंभीरता से जांच की जा रही है. जो भी दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ शासन से कार्रवाई करने की सिफारिश की जाएगी.

नई दिल्ली/नोएडा : राजधानी दिल्ली से सटे ग्रेटर नोएडा के एक निजी अस्पताल में डॉक्टरों की लापरवाही से नवजात की मौत की जांच करने के लिए बुधवार को राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की टीम नोएडा पहुंची.

नोएडा में डॉक्टरों की लापरवाही से नवजात की मौत

राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की टीम ने बताया की ग्रेटर नोएडा निवासी अंकित गर्ग ने राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग में शिकायत दर्ज कराई थी.
जिसकी जांच करने के लिए आयोग के सदस्य डॉ. आरजे आनंद और आयोग की सीनियर टेक्निकल एक्सपर्ट शाइस्ता के. शाह को भेजा है.

'महिला डॉक्टरों की लापरवाही से हुई नवजात की मौत'
शिकायत के अनुसार 9 मार्च 2019 को पत्नी श्वेता कश्यप को प्रसव के लिए सेक्टर-51 स्थित क्लाउड नाइन अस्पताल में भर्ती कराया था. वहां प्रसव के बाद अस्पताल की दो महिला डॉक्टरों की लापरवाही से नवजात की मौत हो गई थी.

पीड़ित ने कराया मुकद्दमा दर्ज
इस बाबत पीड़ित ने अस्पताल प्रबंधन और महिला डॉक्टर को जिम्मेदार मानते हुए सेक्टर-49 कोतवाली में लापरवाही का मुकदमा दर्ज कराया था.
जिलाधिकारी ने जांच के लिए सीएमओ की अध्यक्षता में कमेटी बनाई और डॉक्टरों की लापरवाही मामले की जांच मुख्य चिकित्सा अधिकारी के साथ तीन सदस्यीय टीम ने की थी.

'डॉक्टरों को बचाने का प्रयास किया जा रहा है'
जांच की रिपोर्ट से पीड़ित संतुष्ट नहीं हुआ. पीड़ित का आरोप है कि विभाग की ओर से अस्पताल प्रबंधन और आरोपी डॉक्टरों को बचाने का प्रयास किया जा रहा है.
जांच के दौरान उससे किसी भी तरह की कोई पूछताछ नहीं की गई.

'दोषी के खिलाफ होगी सख्त कार्रवाई'
शिकायत दर्ज होने के बाद राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने जिलाधिकारी से जांच रिपोर्ट तलब की. उस रिपोर्ट का अध्ययन करने के बाद आयोग के सदस्य डॉ. आरजे आनंद बुधवार को आयोग की सीनियर टेक्निकल एक्सपर्ट शाइस्ता के.

शाह के साथ सेक्टर-51 स्थित क्लाउड नाइन अस्पताल गए और वहां बारीकी से जांच की. डॉ. आरजी आनंद ने बताया कि इस मामले गंभीरता से जांच की जा रही है. जो भी दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ शासन से कार्रवाई करने की सिफारिश की जाएगी.

Intro:नोएडा -- नोएडा के एक निजी अस्पताल में डाक्टरों की लापरवाही से नवजात की मौत की जांच करने के लिए बुधवार को राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की टीम नोएडा पहुंची। आयोग के सदस्य डॉ. आरजे आनंद सीनियर टेक्निकल एक्सपर्ट शाइस्ता के. शाह के साथ सेक्टर-38 स्थित विद्युत गेस्ट हाउस में मीडिया से रूबरू हुए। डॉ. आनंद ने बताया कि उन्होंने अस्पताल जाकर देखा कि वहां किस स्तर पर लापरवाही हुई है। इस मामले में जो भी दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ कार्रवाई के लिए शासन से सिफारिश की जाएगी।


Body: राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की टीम ने मीडिया से रूबरू होकर बताया की ग्रेटर नोएडा निवासी अंकित गर्ग ने राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग में शिकायत दर्ज कराई थी। जिसकी जांच करने के लिए आयोग के सदस्य डॉ. आरजे आनंद और आयोग की सीनियर टेक्निकल एक्सपर्ट शाइस्ता के. शाह को भेजा है। शिकायत के अनुसार 9 मार्च 2019 को पत्नी श्वेता कश्यप को प्रसव के लिए सेक्टर-51 स्थित क्लाउड नाइन अस्पताल में भर्ती कराया था। वहां प्रसव के बाद अस्पताल की दो महिला डॉक्टरों की लापरवाही से नवजात की मौत हो गई थी। इस बाबत पीड़ित ने अस्पताल प्रबंधन और महिला डॉक्टर को जिम्मेदार मानते हुए सेक्टर-49 कोतवाली में लापरवाही का मुकदमा दर्ज कराया था।

बाइट -- डॉ. आरजे आनंद

इस मामले के उजागर होने के बाद जिलाधिकारी ने जांच के लिए सीएमओ की अध्यक्षता में कमेटी बनाई थी। क्लाउड नाइन अस्पताल में डॉक्टरों की लापरवाही मामले की जांच मुख्य चिकित्सा अधिकारी के साथ तीन सदस्यीय टीम ने की थी। उस जांच की रिपोर्ट से पीड़ित संतुष्ट नहीं हुआ। उसका आरोप है कि विभाग की ओर से अस्पताल प्रबंधन और आरोपी डॉक्टरों को बचाने का प्रयास किया जा रहा है। जांच के दौरान उससे किसी भी तरह की कोई पूछताछ नहीं की गई। उस रिपोर्ट से असंतुष्ट मृत बच्चे के पिता अंकित गर्ग ने राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग में शिकायत दर्ज कराई।

बाइट - शाइस्ता के. शाह (सीनियर टेक्निकल एक्सपर्ट)


Conclusion: शिकायत दर्ज होने के बाद राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग ने जिलाधिकारी से जांच रिपोर्ट तलब की। उस रिपोर्ट का अध्ययन करने के बाद आयोग के सदस्य डॉ. आरजे आनंद बुधवार को आयोग की सीनियर टेक्निकल एक्सपर्ट शाइस्ता के. शाह के साथ सेक्टर-51 स्थित क्लाउड नाइन अस्पताल गए और वहां बारीकी से जांच की। इस दौरान उन्होंने पीड़ित दंपत्ति से भी मुलाकात और बातचीत की। डॉ. आरजी आनंद ने बताया कि इस मामले गंभीरता से जांच की जा रही है। जो भी दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ शासन से कार्रवाई करने की सिफारिश की जाएगी।
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