नई दिल्ली/गाज़ियाबादः संसद पर हमले की रविवार को 19वीं बरसी है. इसमें गाजियाबाद स्थित टीला गांव के रहने वाले देशराज मावी भी आतंकियों की गोलियों से शहीद हो गए थे. रविवार को गांव में देशराज मावी को श्रद्धांजलि देने के लिए पूजा-हवन का आयोजन किया गया. गांव में देशराज मावी का स्मारक भी बनाया गया है. यहां तक पहुंचने के लिए पक्की सड़क तक नहीं है.
पीडब्ल्यूडी डिपार्टमेंट के कर्मचारी थे देशराज
बता दें कि वर्ष 2001 में संसद भवन पर हुए हमले के दौरान देशराज मावी भी परिसर में मौजूद थे. उनकी ड्यूटी संसद भवन में पीडब्ल्यूडी विभाग के कर्मचारी के तौर पर थी, लेकिन आतंकियों की गोली ने उन्हें भी नहीं छोड़ा.
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परिवार को गुस्सा इस बात का है कि कोई अधिकारी और नेता श्रद्धांजलि में शामिल तक नहीं हुए.
वर्षों से है पक्के रास्ते का इंतजार
शहीद के परिवार वाले पिछले कई सालों से गांव में स्मारक तक पहुंचने के लिए पक्के रास्ते की मांग कर रहे हैं. मांग पूरी नहीं होने से रोष बढ़ता जा रहा है. शहीद देशराज मावी के बेटे देवेंद्र मावी का कहना है कि अब तक स्मारक तक पहुंचने के लिए सरकार ने गांव में कोई पक्का रास्ता भी नहीं बनाया है. संसद भवन हमले में परिवार को छोड़कर जाने वाले शहीद देशराज की अनदेखी हो रही है.