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प्रदूषण में अटकी सांस, अस्पतालों में लगी मरीजों की कतार - अस्पतालों में मरीजों की भीड़

दिल्ली एनसीआर (Delhi NCR) में बढ़ते प्रदूषण (Delhi Pollution) के चलते अब अस्पतालों में मरीजों की भीड़ उमड़ पड़ी है. गाजियाबाद के जिला अस्पताल (Ghaziabad District Hospital) में एक सप्ताह के अन्दर करीब 4500 ऐसे मरीज आ चुके हैं, जिन्हें सांस लेने में दिक्कत हो रही है.

People facing breathing problem due to pollution in ghaziabad
People facing breathing problem due to pollution in ghaziabad
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Published : Nov 18, 2021, 6:26 PM IST

नई दिल्ली/गाजियाबाद : बढ़ते प्रदूषण के चलते गाजियाबाद (Ghaziabad Pollution) के अस्पतालों से मरीजों के चौंकाने वाले आंकड़े सामने आए हैं. आंकड़ों के मुताबिक एक हफ्ते से भी कम समय में जिला अस्पताल (Ghaziabad District Hospital) में करीब 4500 ऐसे मरीज पहुंचे हैं, जिन्हें प्रदूषण के कारण सांस लेने में तकलीफ या इसी तरह की अन्य समस्या है. इनमें बच्चे भी शामिल हैं. बता दें, गाजियाबाद में इस समय यह प्रदूषण स्कूली बच्चों पर कहर बरपा रहा है, लेकिन स्कूलों की छुट्टी घोषित नहीं की गई है.


गाजियाबाद जिला अस्पताल (Ghaziabad District Hospital) के वरिष्ठ चिकित्सक आरपी सिंह ने बताया कि अस्पताल में पहले आने वाले मरीजों की संख्या की तुलना में यह आंकड़ा काफी बढ़ गया है. फिलहाल 500 से 600 मरीज रोजाना आ रहे हैं. इनमें ज्यादातर मरीजों को प्रदूषण की वजह से होने वाले रोग हैं. इस आंकड़े के हिसाब से एक हफ्ते में यह संख्या 4500 तक हो जाती है. मतलब साफ है कि प्रदूषण का कहर लोगों पर बुरी तरह टूट रहा है. डॉक्टर ने बताया कि प्रदूषण के चलते सांस की दिक्कत (Breathing Problem), ब्लड प्रेशर, ब्रोंकाइटिस, एलर्जी, आंखों में जलन, माइल्ड फीवर के मरीजों की संख्या में बढ़ोतरी हुई है. इनमें करीब रोजाना 100 से ज्यादा बच्चे अस्पताल में आ रहे हैं.

अस्पतालों में मरीजों की भीड़ उमड़ पड़ी है.

यह भी पढ़ें- #DelhiPollution: कहीं सड़क पर बिल्डिंग मटेरियल, तो कहीं खोद दी सड़क

डॉक्टर आरपी सिंह (Dr RP Singh) का कहना है कि बच्चों के लिए इस मौसम में विशेष एहतियात रखना जरूरी है. उनके लिए अच्छा खान-पान रखना चाहिए. उनको मास्क लगाकर रखें. घर में खिड़की दरवाजे ज्यादा न खोलें. सुबह के समय खासकर खिड़की दरवाजे बंद रखें. खान-पान में लिक्विड डाइट ज्यादा दें. इम्यूनिटी का ख्याल रखें. बता दें कि अभी तक गाजियाबाद में स्कूली (Ghaziabad School) बच्चों की छुट्टियों का एलान नहीं हुआ है. लेकिन ज्यादातर अभिभावक अपने बच्चों को प्रदूषण के डर से स्कूल नहीं भेज रहे हैं.

जिला अस्पताल में मरीजों की कतार लगी हुई है. इसमें सबसे लंबी कतार त्वचा रोग विशेषज्ञ और जनरल फिजिशियन के पास लगी है. मतलब साफ है कि प्रदूषण के चलते स्थिति गंभीर होती जा रही है. इसी कतार में लगी मरीज शब्बो ने बताया कि सांस लेने में काफी तकलीफ हो रही है. जबसे प्रदूषण बढ़ा है तबसे आंखों में जलन भी काफी ज्यादा हो रही है. वहीं सीमा ने बताया की डॉक्टर तक पहुंचने के लिए इंतजार कर रहे हैं. दिवाली के बाद खांसी और बुखार की समस्या हो गई है.


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नई दिल्ली/गाजियाबाद : बढ़ते प्रदूषण के चलते गाजियाबाद (Ghaziabad Pollution) के अस्पतालों से मरीजों के चौंकाने वाले आंकड़े सामने आए हैं. आंकड़ों के मुताबिक एक हफ्ते से भी कम समय में जिला अस्पताल (Ghaziabad District Hospital) में करीब 4500 ऐसे मरीज पहुंचे हैं, जिन्हें प्रदूषण के कारण सांस लेने में तकलीफ या इसी तरह की अन्य समस्या है. इनमें बच्चे भी शामिल हैं. बता दें, गाजियाबाद में इस समय यह प्रदूषण स्कूली बच्चों पर कहर बरपा रहा है, लेकिन स्कूलों की छुट्टी घोषित नहीं की गई है.


गाजियाबाद जिला अस्पताल (Ghaziabad District Hospital) के वरिष्ठ चिकित्सक आरपी सिंह ने बताया कि अस्पताल में पहले आने वाले मरीजों की संख्या की तुलना में यह आंकड़ा काफी बढ़ गया है. फिलहाल 500 से 600 मरीज रोजाना आ रहे हैं. इनमें ज्यादातर मरीजों को प्रदूषण की वजह से होने वाले रोग हैं. इस आंकड़े के हिसाब से एक हफ्ते में यह संख्या 4500 तक हो जाती है. मतलब साफ है कि प्रदूषण का कहर लोगों पर बुरी तरह टूट रहा है. डॉक्टर ने बताया कि प्रदूषण के चलते सांस की दिक्कत (Breathing Problem), ब्लड प्रेशर, ब्रोंकाइटिस, एलर्जी, आंखों में जलन, माइल्ड फीवर के मरीजों की संख्या में बढ़ोतरी हुई है. इनमें करीब रोजाना 100 से ज्यादा बच्चे अस्पताल में आ रहे हैं.

अस्पतालों में मरीजों की भीड़ उमड़ पड़ी है.

यह भी पढ़ें- #DelhiPollution: कहीं सड़क पर बिल्डिंग मटेरियल, तो कहीं खोद दी सड़क

डॉक्टर आरपी सिंह (Dr RP Singh) का कहना है कि बच्चों के लिए इस मौसम में विशेष एहतियात रखना जरूरी है. उनके लिए अच्छा खान-पान रखना चाहिए. उनको मास्क लगाकर रखें. घर में खिड़की दरवाजे ज्यादा न खोलें. सुबह के समय खासकर खिड़की दरवाजे बंद रखें. खान-पान में लिक्विड डाइट ज्यादा दें. इम्यूनिटी का ख्याल रखें. बता दें कि अभी तक गाजियाबाद में स्कूली (Ghaziabad School) बच्चों की छुट्टियों का एलान नहीं हुआ है. लेकिन ज्यादातर अभिभावक अपने बच्चों को प्रदूषण के डर से स्कूल नहीं भेज रहे हैं.

जिला अस्पताल में मरीजों की कतार लगी हुई है. इसमें सबसे लंबी कतार त्वचा रोग विशेषज्ञ और जनरल फिजिशियन के पास लगी है. मतलब साफ है कि प्रदूषण के चलते स्थिति गंभीर होती जा रही है. इसी कतार में लगी मरीज शब्बो ने बताया कि सांस लेने में काफी तकलीफ हो रही है. जबसे प्रदूषण बढ़ा है तबसे आंखों में जलन भी काफी ज्यादा हो रही है. वहीं सीमा ने बताया की डॉक्टर तक पहुंचने के लिए इंतजार कर रहे हैं. दिवाली के बाद खांसी और बुखार की समस्या हो गई है.


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